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करोड़ों का राजस्व देने वाली बरदहिया में सुविधाओं का अकाल

Santkabir-nagar News - संतकबीरनगर के बरदहिया मोहल्ले में व्यापारियों को कई समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। यहाँ कपड़ों का थोक बाजार लगता है, लेकिन विकास की कमी, जल जमाव, शौचालय और पेयजल सुविधाओं का अभाव, और जाम की समस्या...

Newswrap हिन्दुस्तान, संतकबीरनगरThu, 16 Jan 2025 01:27 PM
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संतकबीरनगर, हिन्दुस्तान टीम। नगर पालिका परिषद खलीलाबाद को करोड़ों का राजस्व देने वाला बरदहिया मोहल्ला भी उपेक्षाओं का दंश झेल रहा है। इस मोहल्ले में मिश्रित संप्रदाय के लोग रहते हैं। सप्ताह में दो दिन कपड़ों के थोक का बाजार लगता है। स्थानीय ही नहीं अपितु प्रदेश के कोने - कोने से कारोबारी यहां पर आकर व्यापार करते हैं और लाखों की आमदनी अर्जित करते हैं। फिर भी पालिका इस मोहल्ले के विकास के प्रति उदासीन बना हुआ है।

पूरब की ओर से आने पर जैसे ही शहर की ओर बढ़े वहीं पर संतकबीर पार्क बना है। यह पार्क पूरी तरह से बरदहिया मोहल्ले में बना हुआ है। पूरब की ओर से यहीं पर बरदहिया मोहल्ला शुरू हो जाता है। पश्चिम दिशा की ओर भेली मंडी तक बरदहिया मोहल्ला माना जाता है। इस मोहल्ले में कपड़े की थोक मंडी भी लगती है। लगभग पांच सौ मीटर हाईवे से यह मोहल्ला सटा हुआ है। बड़े पैमाने पर लोग हाईवे के किनारे कपड़ों का कारोबार करते हैं।

बाहर से आने वाले व्यापारी यहीं से कपड़ों की खरीदारी करते हैं और अपने जिले में ले जाकर बेंचते हैं। लेकिन इन कारोबारियों ने तमाम दुश्वारियों का सामना करना पड़ता है। बरसात के समय में कीचड़ और जल जमाव की समस्या से कारोबारी परेशान हो जाते हैं। इतनी बड़ी बाजार के लिए शौचालय, पेयजल सहित अन्य मूलभूत सुविधाओं की भी व्यवस्था नहीं है। कोरोबार के लिए आने वाले व्यापारी यहां पर बड़ी तादाद में रूपया जमा कर जाते हैं। व्यापारियों का दर्द तब और बढ़ जाता है जब उनकों उनकी उम्मीदों के अनुरूप सुवधिाएं नहीं मिलती है।

शनिवार से सोमवार को लगता है भीषण जाम

बरदहिया वार्ड में लगने वाली बरदहिया बाजार शनिवार से गुलजार हो जाती है और सोमवार तक चलती है। यहां कारोबारियों की भीड़ इतनी होती है कि बरदहिया वासियों को जाम से जूझना पड़ता है। पैदल चलना भी कठिन हो जाता है। बरदहिया बाजार पार होने में दो से तीन घंटे तक का समय कभी -कभी लग जाता है। स्थानीय लोग तो अपने वाहन निकाल हीं नही पाते हैं। इसके लिए पुलिस के जवानों को भारी मशक्कत करनी पड़ती है। जाम का प्रमुख कारण पटरियों तक दुकानों का कब्जा होना है।

इसी मोहल्ले से गुजरता हो गंदानाला

शहर का मुख्य गंदा नाला बरदहिया वार्ड से होकर गुजरता है। शास्त्रीनगर मोहल्ले से निकलने वाला गंदा नाला रेलवे लाइन के उत्तर की ओर बहता है और औद्योगिक नगर मोहल्ले की ओर से निकलने वाला नाला बरदहिया बाजार के पास रेलवे लाइन को क्रास कर एक बड़े नाले में तब्दील हो जाता है। भारी बारिश हो जाए तो यहा नाला उफनाने लगता है। गंदगी की वजह से उठती दुर्गंध लोगों को परेशान करती है। यह नाला बरदहिया बाजार होते हुए इंडस्ट्रियल एरिया की ओर बढ़ जाता है।

नागरिकों को सोने नहीं देती ट्रेनें

बरदहयिा बाजार से सटे हुए रेलवे लाइन गुजरती है। एक दिन में 125 जोड़ी ट्रेनें यहां से गुजरती हैं। दनदनाती हुई ट्रेन यहां के नागरिकों को सोने नहीं देती है। यही रेलवे लाइन इस मोहल्ले के विस्तार में भी बाधा हैं। इसकी वजह से लोग रेलवे लाइन की दक्षिण की ओर बसना नहीं चाहते हैं।

घरों से सटा हुए हैं बिजली के तार

बिजली के तार लोगों के घरों से सटकर ही गुजर रहे हैं। इसकी वजह से लोग हर समय खतरे से जूझते हैं। बरदहिया का जो पुराना मोहल्ला है वहां की गलियां बहुत सकरी हैं। इसमें एक ही ओर से वाहनों का प्रवेश हो सकता है। तंग गलियों में बिजली के तार लोगों को परेशान करते हैं। बिजली विभाग इन समस्याओं को जानते हुए भी निजात के इंतजाम नहीं कर रहा है।

बरदहिया मोहल्ले से विकास के लिए जो प्रस्ताव तैयार किया गया है, उस दिशा में काम किया जा रहा है। यहां के विकास के लिए मुकम्मल व्यवस्था की जा रही है। मोहल्ले के विकास के लिए हर संभव प्रयास किया जा रहा है।

जगत जायसवाल, अध्यक्ष

बरदहिया वार्ड के सभासद अपने मोहल्ले के विकास के लिए प्रस्ताव बना कर दिए हैं। उसे पूरा करने के लिए ग्राउंड स्तर पर काम किया जा रहा है। जल्द ही मोहल्ले की दशा- दिशा बदली - बदली नजर आएगी।

अवधेश कुमार भारती

ईओ, नगरपालिका

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