रमजान में एक नेकी के बदले मिलता है 70 नेकियों का सबाब
Sambhal News - रमजान का महीना शुरू होते ही मुस्लिम समुदाय इबादत में डूब जाता है। रोजा रखना फर्ज है, जो आत्मसंयम और नेकी का संदेश देता है। इस दौरान कुरान की तिलावत और नमाज अदा करने पर सवाब मिलता है। गरीबों की मदद...

रमजान का पाक महीना शुरू होते ही मुस्लिम समाज इबादत में मशगूल हो जाता है। अल्लाह ताला ने सभी मुस्लिम पुरुषों और महिलाओं पर रोजा फर्ज किया है। यह महीना आत्मसंयम, सब्र और नेकी का संदेश देता है। रमजान में पूरे महीने रोजा रखने वालों की नेक दुआएं अल्लाह जरूर कुबूल करता है। इस दौरान कुरान-ए-पाक की तिलावत और पांचों वक्त की नमाज अदा करने से सवाब मिलता है। शहर के मोहल्ला हिलाली सराय स्थित मदरसा सिराज उल उलूम के शिक्षक कारी फुरकान ने बताया कि अल्लाह ने सभी मुस्लिम पुरूष व महिलाओं पर रोजा रखना फर्ज किया है। रोजा रखने वालों को पांचों वक्त की नमाज पढ़ने , तरावीह पढ़ने और ज्यादा से ज्यादा कुरान-ए-पाक की तिलावत करनी चाहिए। गरीब और मोहताज या जिनके आगे पीछे कोई भी कमाने वाला न हो उनकी ज्यादा से ज्यादा मदद करें। रोजा रखने वाले लोगों को चाहिए कि रमजान माह में इधर-उधर फालतू न बैठ कर मस्जिदों में या घर पर ही कुरान-ए-पाक की तिलावत करें। उन्होंने कहा कि अल्लाह से अपने परिवार रिश्तेदार अपनी रोजी-रोटी और मुल्क में अमन और शांति व आपसी भाईचारा कायम रहे। इसके लिए दुआ भी करते रहें। उन्होंने बताया कि पाक माह रमजान में अल्लाह अपने उन सभी नेक बंदों से बहुत खुश होता है। जो रोजा नमाज और कुरान-ए-पाक की तिलावत करते हैं। ऐसे लोगों के ऊपर अल्लाह अपनी रहमत की बारिश करता है। इसलिए इस महीने को नजरअंदाज न करें और रोजे जरूर रखें। साथ ही साथ इस पाक माह रमजान में ऐसा कोई काम न करें जिससे अल्लाह नाराज हो। झूठ फरेब बेवजह किसी से झगड़ना और नुकसान पहुंचाना। इधर की बात उधर करना और दूसरों की भावना को ठेस पहुंचाने वाला कोई कार्य न करें।
लेटेस्ट Hindi News , बॉलीवुड न्यूज, बिजनेस न्यूज, टेक , ऑटो, करियर , और राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।