चलतुआ गांव खाली करने का सर्वे पूरा, अधिकांश ग्रामीण जमीन लेने को राजी
Pilibhit News - पड़ोसी जनपद लखीमपुर खीरी के किशनपुर सेंचुरी के जंगल में बसा गांव चलतुआ हटाने की प्रक्रिया शुरू हो गई है। अधिकांश ग्रामीणों ने दूसरी जगह जमीन लेने के लिए सहमति दी है। एसडीएम ने सत्यापन कार्य आरंभ किया...
पड़ोसी जनपद के जंगल के बीच बसे गांव को हटाने की सर्वे पूरी हो गई है। अधिकांश ग्रामीण दूसरे स्थान पर जमीन लेने को राजी हैं। राजस्व और वन विभाग की संयुक्त रिपोर्ट मिलने के बाद एसडीएम ने ग्रामीणों की जमीन का सत्यापन करना शुरू कर दिया है। पड़ोसी जनपद लखीमपुर खीरी के किशनपुर सेंचुरी की कोर एरिया में पूरनपुर तहसील क्षेत्र का गांव चलतुआ बसा हुआ है। बताया जा रहा है 50 साल पहले खाली पड़ी जमीन पर पूर्वांचल से कुछ परिवार आकर बसे थे।इन्हें जमीन का पट्टा भी दिया गया था। अब लगभग यहां ढाई सौ से अधिक परिवार की 1600 आबादी है। जंगल के अंदर गांव होने से यहां कई विकास कार्य नहीं हो सके हैं। मोबाइल टावर न होने से लोगों को बात के करने के लिए गांव के बाहर या ऊंचे स्थानों पर जाना पड़ता है। यहां अक्सर मानव वन्यजीव संघर्ष की भी आशंका बनी रहती है। वन विभाग, राजस्व प्रशासन सहित तीन विभागों की संयुक्त टीम आबादी क्षेत्र में बने घरों सहित अन्य बिंदुओं पर सर्वे किया था। गांव छोड़ने वाले एकल परिवारों को अन्यत्र स्थान पर बसाने के लिए 2 हेक्टेयर भूमि या 15 लाख रुपए खाते में दिए जाएंगे। अधिकांश ग्रामीणों ने दो हेक्टेयर जमीन लेने की सहमति जताई है। संयुक्त टीम की सर्वे रिपोर्ट मिलने के बाद एसडीएम ने सत्यापन शुरू कराया है। इसमें जिस स्थान पर ग्रामीण बसे हैं और खेती-बाड़ी कर रहे हैं उसकी वास्तविक स्थिति जानने सहित अन्य बिंदुओं पर जांच की जा रही है। एसडीएम अजीत प्रताप सिंह ने बताया गांव में सर्वे का काम पूरा हो गया है। अब सत्यापन कराकर जमीन की वास्तविक स्थिति के बारे में जांच कराई जा रही है।
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