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बोले मुरादाबाद : ये कैसा इंतजाम, तीन किमी सड़क, चार घंटे जाम

Moradabad News - कांठ रोड पर जाम की समस्या बढ़ती जा रही है, जिससे आम लोगों और व्यापारियों के कारोबार पर असर पड़ रहा है। ई-रिक्शा के बेतरतीब संचालन और बंद ट्रैफिक लाइटें इसके प्रमुख कारण हैं। अवैध संडे बाजार भी जाम का...

Newswrap हिन्दुस्तान, मुरादाबादThu, 20 Feb 2025 09:00 PM
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बोले मुरादाबाद : ये कैसा इंतजाम, तीन किमी सड़क, चार घंटे जाम

कांठ रोड पर जाम की समस्या आम हो गई है। इसका असर आम लोगों के साथ व्यापारियों के कारोबार पर भी पड़ रहा है। इसका प्रमुख कारण बेतरतीब तरीके से ई-रिक्शा का संचालन है। मानकों की धज्जियां उड़ाकर लगाई गईं ट्रैफिक लाइटें भी हैं। ये लाइटें आए दिन बंद ही रहती हैं। मैन्युअली ही पुलिस कर्मी ट्रैफिक को कंट्रोल करते हुए नजर आते हैं। हरथला में अवैध रूप से लगने वाला संडे बाजार भी जाम का एक प्रमुख कारण है। जाम की वजह से चौपट हो रहे कारोबार को लेकर कारोबारियों ने हिन्दुस्तान के साथ अपना दर्द बयां किया। महानगर में जाम एक विकराल समस्या बन गया है। बात यदि कांठ रोड की करें तो यहां तो हालात बेहद खराब हैं। तीन किलोमीटर की सड़क पर चार-चार घंटे लोगों को जाम का सामना करने के लिए मजबूर होना पड़ता है। सबसे बड़ा कारण है बेतरतीब तरीके से संचालित हो रहे ई-रिक्शा। इसके अलावा बीच सड़क जगह-जगह लगे बिजली के पोल भी समस्या को और विकराल कर रहे हैं। पीएसी पर महाराजा अग्रेसन तिराहे के पास बीच सड़क लगे विद्युत खंभों के कारण सड़क काफी संकरी हो गई है। इसी प्रकार 23 वीं वाहिनी पीएसी के पास भी लगे खंभे जाम का सबब बने हुए हैं। हरथला में अवैध तरीके से लगने वाला संडे बाजार भी जाम का एक बड़ा कारण बन गया है। रविवार को तो इस अवैध बाजार के कारण कांठ रोड की एक साइड पर सुबह से शाम तक जाम के हालात बने रहते हैं। जाम में पुलिस व प्रशासनिक अधिकारी भी आए दिन फंसते रहते हैं, मगर सभी जाम के कारणों की वजह तलाशने व उसका समाधान करने की जगह नजरें बचाकर चले जाते हैं। कांठ रोड पर जाम के कारण व्यापारियों का कारोबार ठप होता जा रहा है। उनका कहना है कि सुबह उम्मीद लेकर दुकानों पर आते हैं और शाम को वापस चले जाते हैं। संडे को तो कभी-कभी दुकान की बोहनी तक नहीं होती है। कांठ रोड पर जाम की समस्या के समाधान के लिए पुलिस व प्रशासनिक अधिकारियों से शिकायतें भी की गईं, मगर समस्या जस की तस बनी हुई है। संबंधित अधिकारियों को कांठ रोड के व्यापारियों का भी दर्द समझना चाहिए। कांठ रोड पर कई बड़े अस्पताल, फंसती हैं एंबुलेंस, फूलती हैं तीमारदारों की सांसें : कांठ रोड पर सिद्ध, विवेकानंद, कॉसमॉस, फोटॉन, मुस्कान, न्यूरोन समेत कई नामचीन अस्पताल स्थित हैं। इन अस्पतालों में बड़ी संख्या में मरीज इलाज के लिए पहुंचते हैं। कांठ रोड पर जाम लगने के कारण एंबुलेंस भी आए दिन फंसती रहती हैं। नजर पड़ने पर ड्यूटी पर तैनात पुलिसकर्मी किसी तरह एंबुलेंस को जाम से निकलवाने में मदद जरूर कर देते हैं। कई बार तो हालात बदतर होने पर पुलिसकर्मी खुद भी जाम खुलवाने में असहाय नजर आते हैं। इस दौरान मरीजों के तीमारदारों की सांसें फूलने लगती हैं। उनके चेहरे पर गुस्से का भाव नजर आता है। साथ ही वे भगवान से भी जाम खुलने के लिए प्रार्थना करते नजर आते हैं। पीएसी, विशाल मेगा मार्ट के सामने, पैंटालून्स के सामने और अकबर का किला के सामने जाम लगा रहता है।

छुट्टी होने पर जाम में फंसते बच्चे, परेशान होतीं मम्मियां

सिविल लाइंस इलाके में पीएमएस, केसीएम, सेंट मेरी, बोनी ऐनी, आर्यन समेत आधा दर्जन स्कूल स्थित हैं। दोपहर के समय छुट्टी होने पर कांठ रोड पर जाम में बच्चों के वाहन भी फंस जाते हैं। इससे अभिभावकों की चिंता बढ़ जाती है। कई बार तो बच्चे काफी देरी से घर पहुंचते हैं। इसके बाद ही परिवार वालों की जान में जान आती है। अभिभावक भी कांठ रोड पर जाम की समस्या का समाधान कराने की मांग प्रशासनिक अधिकारियों से करते आ रहे हैं। जिम्मेदार अधिकारी शुरुआत में तेजी दिखाते हैं, मगर कुछ दिन बाद उनकी तेजी नजर नहीं आती है। पीलीकोठी के पास एक स्कूल के वाहन कांठ रोड पर ही खड़े होते हैं। इससे भी जाम के हालात बनते हैं। स्कूली वाहन कैंपस में ही खड़े किए जाएं तो जाम की समस्या से काफी हद तक निजात मिल सकती है। दोपहर के समय छुट्टी होने पर हालात बेहद खराब हो जाते हैं। जिम्मेदार अधिकारियों को इस ओर भी ध्यान देना चाहिए।

कांठ रोड : लाइटें तो लगीं पर हाथ के इशारे पर दौड़ता है ट्रैफिक

मुरादाबाद। स्मार्ट सिटी के तहत महानगर में अलग-अलग स्थानों पर ट्रैफिक लाइटें लगवाई हैं। बात यदि पीलीकोठी से लेकर हरथला तक करें तो पांच स्थानों पीलीकोठी, पीएसी, मधुबनी, अकबर किला, रामगंगा विहार पर लाइटें लगवाई गई हैं। आए दिन यह लाइटें बंद ही रहती हैं। गुरुवार दोपहर पीलीकोठी, पीएसी और रामगंगा विहार तिराहे पर लगी लाइट चलती नजर आई। शेष स्थानों पर ट्रैफिक लाइट बंद थी। यहां पर पुलिस कर्मी हाथ से ही यातायात नियंत्रण करते दिखे। जेब्रा क्रॉसिंग निरर्थक साबित हो रही है। कोई भी नियमों का पालन कराने वाला नहीं है। पुलिस कर्मियों के सामने ही लोग जेब्रा क्रासिंग का खुलेआम उल्लंघन करते रहते हैं। पीलीकोठी के बाद पीएसी पर दूसरी ट्रैफिक लाइट लगवाई गई है। पीएसी से पांच सौ मीटर की दूरी पर मधुबनी तिराहे पर ट्रैफिक लाइट लगी है। इसके बाद अकबर किला पर ट्रैफिक लाइट लगाई गई है। रामगंगा विहार तिराहे पर मात्र पचास मीटर के भीतर दूसरी लाइट लगवाई गई है। लोगों का कहना है कि ट्रैफिक लाइटें लगवाने में भी मानकों का प्रयोग किया जाना चाहिए।

शहर में अचानक बढ़े भिखारी भी जाम का सबब

मुरादाबाद। पिछले कुछ समय से महानगर में भीख मांगने वालों की संख्या बढ़ गई है। बात यदि अति व्यस्ततम चौराहे में शुमार पीलीकोठी की करें तो यहां बड़ी संख्या में भिखारी बीच सड़क मौजूद रहते हैं। रेड लाइट होते ही भिखारी वाहन चालकों से भीख मांगना शुरू कर देते हैं। ग्रीन लाइट होने के बाद भी ये भिखारी हटते नहीं हैं। इस कारण भी जाम के हालात बने रहते हैं। कारोबारियों का मानना है कि भीखारियों को हटाने के लिए भी पुलिस प्रशासन को जरूरी कदम उठाने चाहिए। लोगों का कहना है कि ये वाहन सवार लोगों से भीख मांगते हैं तो वाहन रोकना पड़ता है। इससे जाम के हालत बनते हैं।

सुझाव

1.आवंटित जोन के अनुसार ही ई-रिक्शा संचालित किए जाएं।

2.जगह-जगह बने स्टॉपेज पर ही ई-रिक्शा व बसें रोकी जाएं।

3.सिस्टम के अनुसार हरथला का संडे बाजार लगाया जाए।

4.संडे वाले दिन जाम न लगे, इसके लिए इंतजाम किए जाएं। इससे कारोबार प्रभावित होने से बचेगा।

5.ई-रिक्शा चालकों की भी समय-समय पर ट्रेनिंग कराई जाए।

6.जगह-जगह बीच सड़क पर लगे बिजली के खंभे शिफ्ट किए जाएं।

शिकायतें

1.ट्रैफिक लाइटें मानक के अनुसार उचित दूरी और स्थान पर लगाई जानी चाहिए।

2.हरथला में लगने वाला अवैध संडे बाजार हटवाने की कार्रवाई हो।

3.ट्रैफिक लाइट का टाइम मैनेजमेंट सुचारु रूप से होना चाहिए।

4.कांठ रोड पर पार्किंग की भी व्यवस्था कराई जानी चाहिए।

5.बसों और ई-रिक्शा के स्टॉपेज भी बनाए जाने चाहिए।

6. स्टॉपेज का सख्ती से पालन भी कराया जाना चाहिए।

हमारी भी सुनें

कांठ रोड पर आए दिन जाम के हालात बने रहते हैं। रविवार को तो जाम के हालात बद से बदतर हो जाते हैं। आधिकारी समस्या का समाधान करें।

-मोहम्मद तस्लीम, व्यापारी

हरथला में कांठ रोड पर जाम बड़ी समस्या बन गया है। इसके कारण कारोबार भी चौपट हो गया है। अवैध रूप से लगने वाले संडे बाजार को हटवाना चाहिए।

-इदरीश सैफी, व्यापारी

ई-रिक्शा व बसें मनमर्जी से जहां-तहां खड़े हो जाते हैं। संडे बाजार भी जाम की प्रमुख वजह है। ट्रैफिक लाइटों से ट्रैफिक का संचालन होना चाहिए।

-मोहम्मद याकूब, व्यापारी व सपा नेता

अनट्रेंड लोग ई-रिक्शा दौड़ा रहे हैं। मनमर्जी से वे रोकते हैं। बसों की तरह उनके भी स्टॉपेज बनाए जाने चाहिए। ट्रैफिक लाइटों से ही यातायात का संचालन हो।

-मोहम्मद अजीम, व्यापारी

कांठ रोड पर पार्किंग भी बनाई जानी चाहिए। ट्रैफिक लाइटों के अनुसार ही यातायात का संचालन किया जाना चाहिए। संडे बाजार हटना चाहिए।

-संजीव अरोड़ा, प्लाईवुड व्यापारी

जाम लगने के कारण कारोबार चौपट हो गया है। ट्रैफिक लाइटों को मानक के अनुसार लगाया जाना चाहिए। लाइटों के अनुसार ही यातायात का संचालन होना चाहिए।

-मोहम्मद तंजीम, फुटवियर व्यापारी

ट्रैफिक लाइटें रहती हैं। मैन्युअली ही ट्रैफिक कंट्रोल किया जाता है। जाम का सबब बने संडे बाजार को हटवाने की जगह सिस्टम में लाना चाहिए।

-सुएश भटनागर, अधिवक्ता

जाम का प्रमुख कारण संडे बाजार है। रविवार को हालात बेहद खराब हो जाते हैं। ट्रैफिक लाइटें भी ज्यादातर बंद ही रहती हैं। पार्किंग भी बनाई जानी चाहिए।

-पटेल सिंह, इलेक्ट्रॉनिक व्यापारी

कांठ रोड पर लगाई गईं ट्रैफिक लाइटें तो कुछ ही सुचारु रूप से चलती हैं। मनमर्जी से ट्रैफिक दौड़ता है। संडे बाजार भी जाम का बड़ा कारण है।

-मोहम्मद शारिक, फुटवियर व्यापारी

कांठ रोड पर लगाई गईं ट्रैफिक लाइटें तो ज्यादातर बंद ही रहती हैं। पुलिस कर्मी ट्रैफिक संभालते हैं। अवैध संडे बाजार हटवाया जाना चाहिए।

-मुस्तकीम, व्यापारी

जाम ने व्यापार चौपट कर दिया है। संडे को तो बौनी तक नहीं होती है। ट्रैफिक लाइटों से ही यातायात का संचालन होना चाहिए।

-भोला, व्यापारी

जाम ने व्यापारियों के कारोबार छीन लिए हैं। सबसे बड़ा कारण अवैध रूप से लगने वाला संडे बाजार है। ट्रैफिक लाइटें तो मनमर्जी से ही चलती हैं।

-इजहार हुसैन, व्यापारी

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