बगहिया पहाड़ी पर विस्फोटक लगाते समय हुए ब्लास्ट से युवक की मौत
अहरौरा थाना क्षेत्र के बगहिया पहाड़ी पर बुधवार की दोपहर विस्फोटक लगाते समय ब्लास्ट होने से एक युवक की मौत हो गई। उसका बदन लगभग 20 फीट उपर जाने के बाद पत्थर पर जा...
अहरौरा थाना क्षेत्र के बगहिया पहाड़ी पर बुधवार की दोपहर विस्फोटक लगाते समय ब्लास्ट होने से एक युवक की मौत हो गई। उसका बदन लगभग 20 फीट उपर जाने के बाद पत्थर पर जा गिरा। पहाड़ी पर मौजूद अन्य साथी भाग निकले। घटना की जानकारी होते ही परिजन व ग्रामीणों पहुंच गए। ग्रामीणों ने पुलिस को शव कब्जे लेने से रोक दिया। परिजन पचास लाख रुपये मुआवजा व उच्चाधिकारियों को घटनास्थल पर बुलाने की मांग को लेकर अड़े रहे। थाने पर पहुंचे एसडीएम चुनार सुरेंद्र बहादुर सिंह के समझाने के बाद ग्रामीण माने। अहरौरा थाना क्षेत्र के जिगना गांव निवासी 18 वर्षीय विकास मौर्य पुत्र रामप्रसाद मौर्य धूरियां कंचनपुर में स्थित एक प्लांट पर काम करता था। बुधवार की दोपहर वह क्रेशर प्लांट से थोड़ी दूरी पर स्थित बगहिया पहाड़ी पर पत्थर की तोड़ाई के लिए अन्य साथियों के साथ जिलेटिन राड लगा रहा था। जिलेटिन राड लगाने के बाद तार देखने गया था, जबकि अन्य साथी काफी दूर खड़े थे। इसी बीच अचानक विस्फोट हुआ और युवक का बदन लगभग 20 फीट उपर जाने के बाद पत्थर पर जा गिरा। घटनास्थल पर ही उसकी मौत हो गई। घटना से सहमे अन्य साथी मौके से फरार हो गए। तेज आवाज सुन आस-पास के लोग व परिजन पहुंच गए। युवक की मौत से परिजनों में कोहराम मच गया। सूचना पर पुलिस भी पहुंच गई। एसडीएम के समझाने के बाद परिजनों ने शव पुलिस को सौंपा। पुलिस ने शव कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। अहरौरा थानाध्यक्ष राजेश चौबे ने बताया कि खदान में ब्लास्टिंग के दौरान युवक की मौत हुई है। मामले की जांच की जा रही है। पहाड़ों पर मानकों को दरकिनार कर होती है ब्लास्टिंग क्षेत्र की पहाड़ियों में पुलिस एवं खनन विभाग की मिली भगत से मानकों को दरकिनार कर ब्लास्टिंग की जाती है। खनन पट्टा स्थल पर जो लोग ब्लास्टिंग का लाइसेंस लेते हैं। वें बकायदा कागजों में ब्लास्टर रखे हुए हैं। साथ ही सारा कार्य फोरमैन की देखरेख में करने का निर्देश है। इसके बावजूद अप्रशिक्षित स्थानीय लोगों से खनन पट्टा धारक ब्लास्टिंग कराते हैं।स्थानीय लोगों ने घटना की उच्च स्तरीय जांच कराने की मांग की है, ताकि ब्लास्टिंग में चल रहे खेल को सामने लाया जा सके।खनन स्थल पर हो चुकी है कई की मौत खनन पट्टा स्थलों पर ब्लास्टिंग व अन्य कारणों से अब तक कई लोगों की मौत हो चुकी है। इसके बावजूद खनन पट्टा धारक व अधिकारियों पर कोई असर पड़ रहा है। बीते अगस्त माह में खनन स्थल के गड्ढे़ में भरे पानी में डूबने से दो बच्चों की मौत हो गयी थी। बीते वर्ष पहाड़ी पर वाहन के पलट जाने से तीन श्रमिकों की मौत हो गयी थी। बुधवार को ब्लास्टिंग के दौरान एक व्यक्ति की मौत हो गयी।
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