बोले मेरठ : जाम से कराह रहे बाजार, चौपट हो रहा व्यापार
Meerut News - मेरठ में चौराहों पर लगातार बढ़ रहे जाम के कारण स्थिति गंभीर हो गई है। ई-रिक्शाओं की अधिकता और सड़कों पर अतिक्रमण मुख्य कारण हैं। यातायात पुलिस की कोशिशें नाकाम हो गई हैं, जिससे आम लोगों और व्यापारियों...
मेरठ। शहर के तमाम चौराहों पर जाम के कारण स्थिति बद से बदतर होती जा रही है। चौराहों को जाममुक्त बनाने के लिए यातायात पुलिस की कोशिशें और प्लान फेल हो रहे हैं। नतीजन चौराहों पर जाम की समस्या हल होने के बजाए बढ़ती जा रही है। हापुड़ रोड को दिल्ली रोड से मेट्रो प्लाजा पर जोड़ने वाले मुख्य मार्ग पर सभी चौराहे जाम की गिरफ्त में हैं। ई-रिक्शाओं की भरमार ने व्यापारियों और आम लोगों जीना दुश्वार कर दिया। यूं तो भूमिया पुल, लिसाड़ी गेट चौराहा, गोलाकुआं और हापुड़ अड्डा सभी चौराहे जाम की गिरफ्त में हैं। इस रूट पर यातायात को व्यवस्थित बनाने और पूरे इलाके को जाम फ्री करने के लिए ई-रिक्शा के स्टीकर जारी किए, लेकिन बगैर स्टीकर ई-रिक्शा भी दौड़ रहे हैं। जाम में एंबुलेस भी फंस रही है। पूरे इलाके के आम लोगों के साथ ही व्यापारी भी चाहते हैं कि चौराहों और पूरे इलाके को जाममुक्त बनाने के लिए ई-रिक्शाओं के साथ बेतरतीब दौड़ रहे वाहनों पर अंकुश लगाना होगा। अतिक्रमण करने वालों पर कार्यवाही करनी होगी।
ज्यादातर चौराहे जाम की गिरफ्त में
एक तरफ जहां शहर में लोगों की भीड़ बढ़ रही है, वहीं जाम की समस्या भी बढ़ती जा रही है। सड़कों के किनारे बनी दुकानें बड़ी हो रही हैं। अतिक्रमण के साथ सड़कों पर रेंगते ई-रिक्शाओं की संख्या में दिनोंदिन बढ़ोत्तरी हो रही है। हापुड़ अड्डा चौराहा, गोला कुआं, लिसाड़ी गेट चौराहा और भूमिया पुल की हालत जाम से बदतर हो गई है। अब व्यापारी इस जाम से छुटकारा चाहते हैं। गढ़ रोड से दिल्ली रोड एवं बागपत रोड पर आने-जाने वाले लोगों के लिए आने-जाने के मुख्य मार्ग हापुड़ अड्डा चौराहे से गोलाकुआं, लिसाड़ी गेट चौराहा, भूमिया पुल-मेट्रो प्लाजा जाम की गिरफ्त में फंसा है। रोजाना लाखों वाहनों में सवार लोग इस मार्ग पर जाम का शिकार बनते हैं। कभी-कभी तो जाम के कारण पूरे मार्ग की दूरी तय करने में एक घंटा और इससे अभी अधिक समय लग जाता है। इन इलाकों में व्यापारियों से लेकर आम लोग परेशान हैं। शहर का मुख्य चौराहा हापुड़ अड्डा, जहां दिनभर जाम की स्थिति बनी रहती है। इस चौराहे पर जाम की वजह ई-रिक्शा और अतिक्रमण को माना जाता है। वहीं इस चौराहे से भूमिया पुल की ओर जाने वाली सड़क पर जाम कभी कम नहीं होता, जबकि इस सड़क पर सैकड़ों दुकानें हैं, जहां व्यापारी जाम के कारण जूझते नजर आते हैं और अपना व्यापार नहीं कर पाते। नगर निगम समय-समय पर ओडियन नाले का निर्माण करा रही है। भूमिया का पुल पर बना गड्ढा हादसे का सबब बन सकता है। इस तरफ ध्यान नहीं दिया जा रहा। इसके अलावा नाले पर स्लैब डाल दिया, जो सड़क से कई फुट ऊंचा कर दिया। यह भी वाहनों की राह रोक रहा है। व्यापारियों का कहना है कि इस स्लैब को यदि सड़क के बराबर स्तर पर डाला जाता और कोने पर ही खुले नाले के ऊपर स्लैब डाल दिया जाता तो यहां से यातायात सुविधा जनक तरीके से गुजर सकते थे और जाम की समस्या काफी हद तक हल हो जाती। व्यापारियों का कहना है कि जाम से निजात के लिए कई बार शिकायत की जा चुकी है, जल्द ही जाम से मुक्ति मिले तो व्यापार को भी एक आयाम मिले।
ई-रिक्शाओं पर अंकुश लगाने में ट्रैफिक पुलिस का पहला प्रयोग फेल
अवैध ई-रिक्शाओं के संचालन पर अंकुश लगाने के लिए यातायात पुलिस ने शहर को चार भागों में बांटकर स्टीकर लगाने और संबंधित रूट पर ही ई-रिक्शाओं का संचालन शुरू कराने की कवायद शुरू की थी। शहरभर में करीब पांच से छह हजार ई-रिक्शाओं पर स्टीकर लगाए गए, लेकिन यह व्यवस्था भी ध्वस्त हो गई। ई-रिक्शाओं को चालक मनमाने तरीके से दौड़ा रहे हैं। यातायात पुलिस कोई अंकुश नहीं लगा पा रही।
हापुड़ अड्डा चौराहे से लगता है जाम, गोला कुआं पर गंभीर हो जाती है स्थिति
हापुड़ अड्डा चौराहे से भूमिया का पुल की तरफ जैसे ही चलते हैं, तो हापुड़ अड्डा चौराहे पर शुरुआत ही जाम से होती है। कुछ दूरी पर गोला कुआं चौराहा हैं, जहां लोग जाम से जूझते नजर आते हैं। ई-रिक्शाओं के कारण यहां जाम की स्थिति बहुत ही गंभीर हो जाती है। आसपास के लोगों का कहना है कि ई-रिक्शा जाम का सबसे बड़ा कारण है, साथ ही सड़कों पर अतिक्रमण भी जाम का बड़ा कारण है। इस चौराहे पर अब हापुड़ अड्डे की तरह ई-रिक्शाओं को रोका जाने लगा है, तो जाम की स्थिति और भी अधिक हो गई है।
इस चौराहे पर व्यवस्था अस्त-व्यस्त
लिसाड़ीगेट चौराहे पर जाम के कारण हालात बद से बदतर हो गए हैं। यह चौराहा दिनभर जाम से जूझता है। भूमिया पुल और हापुड़ अड्डा चौराहे के बीच पड़ने वाले इस चौराहे पर जाम की स्थिति बहुत ज्यादा रहती है। शाम होते-होते जाम और भी बढ़ता जाता है क्योंकि दिल्ली रोड से गढ़ रोड और हापुड़ रोड की तरफ जाने वाले लोग यहीं से गुजरते हैं। यहां जाम लगता है उसे खोलने में पुलिस के भी पसीने छूट जाते हैं।
सड़कों पर बढ़ती ई-रिक्शों की संख्या
भूमियापुल पर व्यापारियों का कहना है, कि सड़कों पर लगातार ई-रिक्शाओं की संख्या बढ़ रही है। छोटे-छोटे बच्चे भी ई-रिक्शा चला रहे हैं, कोई देखने वाला ही नहीं हैं। सड़कों पर अंधाधुंध गाड़ी भगाते हैं। रात हो या दिन ई-रिक्शे में तेज आवाज में गाने बजाकर चलते हैं। अगर किसी को कुछ कहो तो लड़ने के लिए तैयार हो जाते हैं। सभी नाबालिग ई-रिक्शा चालकों के खिलाफ पुलिस को कार्रवाई करनी चाहिए। हम कई बार पुलिस से शिकायत कर चुके हैं, लेकिन कुछ नहीं हो पा रहा है।
डिवाइडर पर खड़े करते हैं ठेले
व्यापारी हाजी पप्पू और इकरामुद्दीन सैफी का कहना है कि भूमिया पुल से लिसाड़ी की तरफ जाने वाली रोड पर लोगों ने कब्जा कर रखा है। डिवाइडर के साथ अपने ठेले खड़े करके रखते हैं। दुकानदार अपनी दुकानों के सामने ठेले खड़े करने के पैसे लेते हैं और अतिक्रमण कराते हैं। इससे जाम की स्थिति उत्पन्न होती है। जब तक अतिक्रमण नहीं हटेगा, तब तक जाम की स्थिति भी नहीं सुधरेगी। जाम का सबसे बड़ा कारण ही सड़कों पर अतिक्रमण है।
हादसों को दावत दे रहे पुलिया और ट्रांसफार्मर
भूमियापुल के व्यापारियों की मानें तो यहां बनी पुलिया जाम और हादसों का बड़ा कारण बनती है। इस पुलिया से ना तो वाहन गुजर सकते हैं और ना ही आवागमन होता है। पुलिया में सरिया बाहर की तरफ निकले हुए हैं, जो बड़े हादसे का कारण बन सकते हैं। वहीं नाले के ऊपर से सड़क टूटी पड़ी है, जहां से वाहन नहीं निकल सकते। ऐसे में ट्रैफिक बढ़ते ही यहां जाम लग जाता है। ऊपर से भूमिया पुल के पास सड़क किनारे रखा ट्रांसफार्मर जाम और हादसे का कारण बनता है।
नाला चौड़ा, सड़क हुई छोटी
भूमिया पुल व्यापार संघ अध्यक्ष व पूर्व पार्षद प्रेमचंद सैनी का कहना है कि उनकी दुकान 1960 से है। पहले यहां से बड़े वाहन भी गुजरा करते थे, लेकिन जाम की स्थिति इतनी नहीं होती थी जितनी अब हो गई है। ओडियन नाले की चौड़ाई एक समय दस फीट थी और आज 30 फीट हो गई है। नाले की दीवार गिरती है और उसे आगे की तरफ बना दिया जाता है। ऐसे में नाला तो चौड़ा हो गया, लेकिन सड़क की चौड़ाई काफी कम हो गई। वाहनों की संख्या लगातार बढ़ रही है और सड़क संकीर्ण होती जा रही है।
छोटी दुकानें हो गईं बड़ी
व्यापारियों की मानें तो हापुड़ अड्डे से भूमिया पुल तक लगने वाले जाम का कारण ई-रिक्शाओं के साथ अतिक्रमण भी है। जहां सड़कों के किनारे दुकानें छोटी होती थीं, अब वह बड़ी हो गई हैं। उनके बाहर खड़े वाहन और अतिक्रमण सड़क पर जाम का कारण बनते हैं। हालांकि व्यापारी अतिक्रमण, ई-रिक्शा के कारण लगने वाले जाम से निजात की मांग करते आ रहे हैं। व्यापारियों का कहना है कि जाम से निजात के लिए संबंधित अधिकारियों को शिकायत पत्र दे चुके हैं।
लोगों ने कहा-
भूमिया पुल से हापुड़ अड्डे के चौराहों पर इतना जाम रहता है कि लोगों पैदल भी नहीं निकल सकते। सड़कों पर अतिक्रमण और ई-रिक्शा से समस्या बढ़ रही।
- मंसूर उल इस्लाम, शहर प्रभारी पउप्र संयुक्त व्यापार मंडल
यातायात पुलिस हापुड़ अड्डा चौराहे पर यातायात सुधार के लिए तमाम कोशिशें और प्रयोग कर चुकी है, लेकिन जाम खत्म नहीं हो रहा। ई-रिक्शा बड़ा परेशान रह रहे।
- विकास गिरधर, मंत्री संयुक्त व्यापार संघ
हापुड़ अड्डे को जाममुक्त करने के लिए अनेकों प्लान बनाकर लागू किए जा चुके। हर प्लान फेल हो रहा है। यातायात पुलिस चौराहे जाम फ्री नहीं कर पा रही।
- अकरम गाजी, व्यापारी हापुड़ अड्डा
गोलाकुआं चौराहे पर भी अक्सर जाम की स्थिति बनी रहती है। दिनभर तो ई-रिक्शाओं के कारण जाम रहता ही है, शाम को भी देर रात तक जाम की समस्या से जूझते रहते है।
- शाहिद खान, व्यापारी गोलाकुआं
हापुड़ अड्डा से भूमिया पुल के बीच जगह-जगह जाम रहता है। चार चौराहे, सभी जाम की गिरफ्त में है। ई-रिक्शाओं से जाम की समस्या बढ़ रही है। यातायात पुलिस भी फेल हो रही।
- हाजी शारिक, व्यापारी प्रहलादनगर
मेट्रो प्लाजा से लेकर शारदा रोड, भूमिया पुल, लिसाड़ी गेट, गोलाकुआं और हापुड़ अड्डे तक जगह-जगह रोजाना जाम की स्थिति रहती है। सुबह, दोपहर, शाम में कुछ पल ही जाममुक्त रहते है।
- सरफराज अंसारी, बागपत अड्डा
दिल्ली रोड और हापुड़ रोड को मेट्रो प्लाजा से हापुड़ अड्डा चौराहे पर पर जोड़ने वाला मुख्य मार्ग जाम की गिरफ्त है। यातायात पुलिस की शिथिलता से ई-रिक्शाओं से समस्या बढ़ती ही जा रही।
- सतीश चंद जैन, व्यापारी
भूमिया पुल से हापुड़ अड्डे के बीच सड़क पर सबसे ज्यादा जाम का कारण अवैध ई-रिक्शा हैं। इनको चलाने वाले नाबालिग हैं, जो उल्टे-सीधे तरीके से ई-रिक्शा चलाते हैं।
-मोहम्मद आमिर, भूमिया पुल
ई-रिक्शा चलाने वाले छोटे-छोटे बच्चे होते हैं, जो खतरनाक तरीके से ड्राइविंग करते हैं। ई-रिक्शा और टेंपों में बहुत तेज आवाज से गाने बजाते हैं। दुर्घटना का खतरा रहा है।
- जीशान ख्वाजा, व्यापारी
भूमिया पुल से हापुड़ अड्डे के बीच जाम ने जीना हराम कर दिया है। ट्रैफिक पुलिस और अधिकारियों से शिकायत भी की जा चुकी है, लेकिन इस जाम से मुक्ति नहीं मिल पा रही।
- मुकेश गुप्ता, व्यापारी
पूरे इलाके में सबसे बड़ी समस्या ई-रिक्शाओं की है। सड़कों पर वहीं रिक्शा चलने चाहिए जिनके कागजात पूरे हों। नाबालिग चालकों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिए।
- इकरामुद्दीन सैफी, व्यापारी
हापुड़ अड्डा से भूमिया पुल और लिसाड़ी रोड पर जाम की स्थिति बहुत ज्यादा रहती है। ब्रह्मपुरी की तरफ जाने वाली सड़क पर भी बहुत जाम रहता है।
- हाजी इरफान, व्यापारी
ब्रह्मपुरी वाली रोड पर ओडियन नाला तो चौड़ा होता जा रहा है, लेकिन सड़क कम होती जा रही है। जो नाला कभी दस फीट चौड़ा था आज 30 फीट हो गया है।
- तारिक सिद्दीकी, व्यापारी
दुकानों के सामने सड़क पर लोगों ने अतिक्रमण कर रखा है। इससे जाम की स्थिति ज्यादा बनती है। कुछ दुकानदार अपने सामने ठेलों को खड़ा रखते हैं।
- शहजाद ख्वाजा, व्यापारी
लोगों ने अपनी दुकानें आगे बढ़ा ली हैं। अतिक्रमण के कारण जाम की स्थिति अधिक बनती है। जब तक अतिक्रमण नहीं हटेगा जाम कम नहीं होगा।
- समीर, भूमिया पुल
लोगों ने नालियों पर अपना सामान रखा हुआ है, वहीं दुकानों के आगे गाड़ियां खड़ी कर देते हैं। इससे जाम की स्थिति पैदा होती है, जिससे सड़कों पर निकलना दूभर हो जाता है।
- ललित, भूमिया पुल
भूमियापुल पर बनी पुलिया वाहन निकलने के लिए बनाई गई थी। वह इतनी ऊंची है कि गाड़ी उस पर चढ़ नहीं सकती। यह पुलिया अक्सर जाम का कारण बनती है।
- वाहिद, भूमिया पुल
भूमियापुल पर एक तो सड़क टूटी हुई है, वहीं पास में ट्रांसफॉर्मर रखा हुआ है। सड़क एकदम संकीर्ण होती जा रही है, जिससे जाम लगता है।
- मोहम्मद गुफरान, भूमिया पुल
बोले जिम्मेदार
ई-रिक्शाओं की संख्या अधिक है, यह मानते हैं। लगातार अवैध संचालन के खिलाफ अभियान चलाकर कार्यवाही की जा रही है। 500 से अधिक ई-रिक्शा सीज किए जा चुके हैं। चौराहों को जाममुक्त बनाने के लिए लगातार कार्यवाही और अभियान संचालित कराई जा रही है।
राघवेंद्र कुमार मिश्रा, एसपी यातायात
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