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मऊ: बिना मान्यता वाले स्कूलों पर लगेगा एक लाख रुपए का जुर्माना

जिले में प्रतिवर्ष तेजी से बढ़ रहे अमान्य व बिना मान्यता के चल रहे विद्यालयों पर शिक्षा विभाग ने शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। अब जिले में अमान्य विद्यालयों के मिलने पर एक लाख रुपये का जुर्माना लगेगा।...

हिन्दुस्तान टीम मऊThu, 11 July 2019 05:22 PM
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जिले में प्रतिवर्ष तेजी से बढ़ रहे अमान्य व बिना मान्यता के चल रहे विद्यालयों पर शिक्षा विभाग ने शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। अब जिले में अमान्य विद्यालयों के मिलने पर एक लाख रुपये का जुर्माना लगेगा। इसके बाद भी विद्यालय संचालित पाये गये तो प्रतिदिन दस-दस हजार रुपये के आर्थिक दण्ड से जुर्माना वसूल होगा। इसके साथ ही अमान्य विद्यालय के प्रबंधक व प्रधानाचार्य के खिलाफ एफआईआर भी दर्ज करायी जायेगी। इसके लिए बकायदे संबंधित क्षेत्रों के एसडीएम, सीओ व खण्ड शिक्षाधिकारी की त्रिस्तरीय टीम गठित की गयी है। अमान्य व बिना मान्यता के चल रहे विद्यालयों पर कार्रवाई के लिए शासन की सख्ती के बाद कार्रवाई तेजी से शुरु कर दी गयी है। इसके तहत संबंधित क्षेत्रों के उप जिलाधिकारी, सीओ व खण्ड शिक्षाधिकारी की त्रिस्तरीय टीम गठित करके भौतिक सत्यापन के लिए निर्देशित किया गया है। अगर जनपद में अमान्य विद्यालय संचालित होते पाये गये तो इनके खिलाफ अब कड़ी कार्रवाई के तौर पर एक लाख रुपये का जुर्माना विभाग की ओर से लगाया जायेगा। इसके बाद भी ऐसे विद्यालयों का संचालन नहीं रुका तो प्रतिदिन के हिसाब से दस-दस हजार रुपये अर्थ दण्ड लगेंगे। साथ ही संबंधित विद्यालय के प्रबंधक व प्रधानाचार्य के खिलाफ एफआईआर भी करायी जायेगी। पूर्व में विद्यालयों पर कार्रवाई होने के बावजूद भी ऐसे विद्यालय का संचालन हो जा रहा था। ऐसे में विभाग की ओर से कड़ी कार्रवाई के लिए अब अर्थदण्ड का प्रावधान किया गया है। जिससे अमान्य व बिना मान्यता वाले संचालित विद्यालयों पर नकेल कसी जा सके। कोट : हर हाल में जिले में अमान्य व बिना मान्यता के विद्यालयों को संचालित नहीं होने दिया जायेगा। ऐसे विद्यालयों से शिक्षा की गुणवत्ता के साथ-साथ बच्चों के भविष्य के साथ भी खिलवाड़ होता है। बेहतर शिक्षा व्यवस्था और गुणवत्ता के लिए इस तरह की कार्रवाई अमान्य और बिना मान्यता के विद्यालयों पर की जा रही है। इसके लिए सीधे खण्ड शिक्षाधिकारियों को भी जिम्मेदार ठहराया जायेगा।

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