किशोरी के जिंदा लौटने से पूरे प्रकरण की पुर्नविवेचना शुरू, पिता-पुत्र आरोप मुक्त
Maharajganj News - महराजगंज के पोखरभिंडा गांव में एक किशोरी की हत्या के मामले में, पुलिस द्वारा झूठे आरोपों में फंसे पिता-पुत्र को जिला जज ने मुक्त कर दिया है। किशोरी के लौटने के बाद एसपी की रिपोर्ट पर यह निर्णय लिया...
महराजगंज, हिन्दुस्तान टीम। घुघली थाना क्षेत्र के पोखरभिंडा गांव की चर्चित हत्याकांड में किशोरी के जिंदा वापस लौटने के बाद एसपी की जांच रिपोर्ट पर जिला जज की अदालत ने पिता-पुत्र को झूठे आरोप से मुक्त कर दिया है। न्यायालय ने पूरे प्रकरण की पुर्नविवेचना का आदेश दिया है। एसपी के निर्देश पर किशोरी को सुरक्षा मुहैया करा दी गई है। साथ ही साथ किशोरी के लापता होने पर दर्ज अपहरण के केस की पुर्नविवेचना शुरू कर दी गई है। जांच कोठीभार थाना के प्रभारी निरीक्षक अखिलेश कुमार सिंह को दिया गया है। इसके अलावा निचलौल क्षेत्र में मिले अज्ञात महिला के मामले में हत्या का केस पंजीकृत लिया लिया गया है, जिसके शव की पहचान घुघली क्षेत्र की किशोरी के रूप में हुई थी।
घुघली थानाक्षेत्र के पोखरभिंडा गांव में 21 जून 2023 को 14 वर्षीय किशोरी लापता हो गई थी। इस मामले में हिमांचल प्रदेश से लौटे पिता ने 2 जुलाई को घुघली थाना में अपनी बेटी के अपहरण के आरोप में गांव के ही निवासी हरेन्द्र मिश्र व उनके दो पुत्र अभिषेक व अमित के खिलाफ नामजद केस दर्ज कराया।
आरोप लगाया कि हरेन्द्र मिश्रा की पत्नी पैरालाइसिस से पीड़ित हैं। उनकी देखभाल के हरेन्द्र मिश्र किशोरी को अक्सर बुलाते थे। सेवा-सत्कार के बदले खाने-पीने का सामान व पैसा देते थे। 21 जून की रात को बेटी पर चोरी का इल्जाम लगाकर मारे पीटे थे। तभी से बेटी गायब है। अहरणकांड की विवेचना में घुघली पुलिस नई कहानी बनाकर बेटी की हत्या में पिता-पुत्र को जेल भेज दिया। निचलौल क्षेत्र के खोन्हौली नहर में मिली अज्ञात युवती की शव की पहचान लापता किशोरी के रूप में कराकर अपहरण की धारा को विलोपित कर हरेन्द्र मिश्र व उनके दो पुत्र अभिषेक व अमित का नाम विवेचना में हटा दिया। ढाई माह जेल में रहने के बाद हाईकोर्ट से जमानत मिलने के बाद पिता-पुत्र जेल से बाहर आए। 14 माह बाद बेटी भी घर वापस आ गई, जिसकी हत्या में पिता व भाई हत्या का आरोपित बने थे।
इसके बाद जांच रिपोर्ट पर एसपी ने प्रारंभिक विवेचक भगवान बक्स सिंह व तत्कालीन घुघली थानाध्यक्ष नीरज राय को दोषी पाए जाने पर उनके खिलाफ विभागीय कार्रवाई शुरू कर दी। एसआई भगवान बक्स सिंह निलंबित किए जा चुके हैं। तत्कालीन थानाध्यक्ष नीरज राय के खिलाफ एसपी ने गोरखपुर के एसएसपी को पत्र भेज दिया। एएसपी आतिश कुमार सिंह ने बताया कि पुर्नविवेचना कोठीभार के प्रभारी निरीक्षक को सौंपी गई है। किशोरी को सुरक्षा मुहैया करा दी गई है। हालांकि पीड़ित परिवार सुरक्षा पर सवाल उठा रहे हैं। उनका कहना है कि पांच मिनट के लिए पुलिस कर्मी आ रहे हैं। फिर चले जा रहे हैं। जिले की पुलिस से विवेचना कराने पर भी परिजनों को ऐतराज है।
पीड़ित परिवार के अधिवक्ता सोमनाथ चौरसिया ने कहा बेटी की हत्या में आरोपित पिता संजय दुसाध व उनके पुत्र सूरज उर्फ अम्बरीश को जनपद न्यायाधीश ने एसपी की जांच आख्या व पत्रावली के आधार पर आरोप मुक्त कर दिया है। प्रकरण में संलिप्त पुलिस कर्मियों के विरुद्ध दंडात्मक कार्रवाई के अलावा मानसिक, आर्थिक समाजिक क्षति की पूर्ति के लिए पीड़ित परिवार की तरफ से उच्च न्यायालय में रिट याचिका दाखिल की जाएगी।
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