Hindi Newsउत्तर प्रदेश न्यूज़life imprisonment to accused of raping a six year old innocent committed cruelty on a girl playing outside house

छह साल के मासूम से रेप के आरोपी को उम्रकैद, घर के बाहर खेल रही बच्‍ची से की थी हैवानियत

  • 9 जुलाई 2024 को काल्पनिक नाम (नन्ही परी) घर के बाहर खेल रही थी, तभी लल्लन सिंह उसे बहलाकर अपने घर ले गया और उसके साथ रेप किया। जिला न्यायालय ने दोषी पाए जाने पर उम्रकैद की सजा सुनाई है। इसके साथ ही पांच लाख रुपये का जुर्माना लगाया है, जिसमें तीन लाख रुपये पीड़िता को देने होंगे।

Ajay Singh लाइव हिन्दुस्तानSat, 26 Oct 2024 08:02 AM
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Life imprisonment for rape accused: यूपी के उरई के कुठौंद थाना क्षेत्र के एक गांव में चार महीने पहले छह साल की मासूम से रेप करने वाले आरोपी को जिला न्यायालय ने दोषी पाए जाने पर उम्रकैद की सजा सुनाई है। इसके साथ ही पांच लाख रुपये का जुर्माना लगाया है, जिसमें 03 लाख रुपये पीड़िता को देने होंगे। दावा है कि नए कानून भारतीय न्याय संहिता 2023 के तहत रेप केस में जालौन में पहली और प्रदेश में दूसरी सजा सुनाई गई है।

जिला शासकीय अधिवक्ता लखनलाल निरंजन ने बताया भारतीय न्याय संहिता 2023 के तहत कुठौंद थाने में 06 साल की मासूम के साथ रेप करने वाले आरोपी लल्लन सिंह के खिलाफ 9 जुलाई 2024 को भारतीय न्याय संहिता 65 व 5/6 पॉक्सो एक्ट के तहत केस दर्ज किया गया था। जिला शासकीय अधिवक्ता लखन लाल निरंजन ने बताया कि 9 जुलाई 2024 को काल्पनिक नाम (नन्ही परी) घर के बाहर खेल रही थी, तभी लल्लन सिंह उसे बहलाकर अपने घर ले गया और उसके साथ दुष्कर्म किया। इस मामले का डीएम राजेश कुमार पांडेय और एसपी डॉ. दुर्गेश कुमार ने संज्ञान लिया था, जिसमें विवेचनाधिकारी ने 16 दिन में आरोपी के खिलाफ आरोप पत्र न्यायालय में प्रेषित किए। अभियोजन पक्ष की तरफ से पांच साक्ष्य पेश किए गए और पैरवी अपर शासकीय अधिवक्ता बृजराज राजपूत द्वारा की जा रही है।

न्यायालय पॉक्सो एक्ट में ट्रायल चला और लगभग तीन माह में फैसला पॉक्सो एक्ट के न्यायाधीश मोहम्मद कमर अहमद द्वारा सुनाया गया, जिसमें आरोपी लल्लन सिंह को साक्ष्य के आधार पर उम्रकैद की सजा सुनाई। पांच लाख का जुर्माना लगाया, जिसमें 03 लाख पीड़िता को देने होंगे। जिला शासकीय अधिवक्ता ने बताया यह बीएनएस (भारतीय न्याय संहिता 2023) कानून के तहत पूरे प्रदेश में शायद दूसरी सजा है, लेकिन जिले में बीएनएस कानून के तहत पहली सजा सुनाई गई।

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