कैसे हल हों भूमि विवाद, जिले में 6,937 मुस्तिकिल मुकाम नदारत
Lalitpur News - कैसे हल हों भूमि विवाद, जिले में 6,937 मुस्तिकिल मुकाम नदारतजमीन संबंधी मामलों को निपटाने में राजस्व अमले को हो रही समस्याएंराजस्व परिषद के निर्देश पर

ललितपुर। जमीन की नापजोख के लिए जनपद में लगाए गए सीमा स्तंभ (मुस्तिकिल मुकाम) खोजे नहीं मिल रहे हैं। इनको या तो सुनियोजित ढंग से गायब कर दिया गया या फिर यह क्षतिग्रस्त हो चुके हैं। जिसकी वजह से भूमि विवाद हल करने में राजस्व अधिकारियों और कर्मचारियों को बड़ी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। भूमि विवादों को हल करने में सीमा स्तभों का महत्वपूर्ण योगदान रहता है। इनके माध्यम से ही ग्रामीण इलाकों की सीमाएं निर्धारित होती हैं। राजस्व विभाग के अधिकारी और कर्मचारी राजस्व नक्शे को लेकर इन्हीं स्तंभों और जरीब के माध्यम से भूमि की नापजोख करके मामलों को निपटाते रहे हैं। जनपद में इनकी सीमा स्तंभों की हालत बेहद दयनीय हो चुकी है। इनका नाम-ओ-निशान मिट चुका है। तमाम प्रयासों के बावजूद यह खोजे नहीं मिलते हैं। जिसकी वजह से जमीन के विवाद निपटाने में राजस्व अमले को समस्याएं होती हैं। अधिकतर मामलों में राजस्व विभाग की कार्रवाई से शिकायतकर्ता और विपक्षी दोनों ही संतुष्ट नहीं होते हैं। इन स्थितियों को गंभीरता से लेने के बाद राजस्व परिषद जब गहराई में गया तो पता चला कि अधिकतर सीमा स्तंभ (मुस्तिकिल मुकाम) मौके पर मौजूद नहीं है। इनको यातो सुनियोजित ढंग से गायब किया गया या फिर समय के साथ वह अपना अस्तित्व खो चुके हैं। राजस्व परिषद के निर्देश पर जनपद की पांच तहसीलों में सीमा स्तंभों को चिह्नित करने के लिए सर्वेक्षण कराया गया। इस दौरान चौंकाने वाले तथ्य सामने आई। नब्बे प्रतिशत से अधिक सीमा स्तंभ मौके पर नहीं मिले। आंकड़ों के मुताबिक जनपद में कुल 7,817 सीमा स्तंभ लगाए गए थे। जिनमें से 6,937 मौके पर मौजूद नहीं मिले। इन आंकड़ों के लिहाज से 880 सीमा स्तंभ अपनी जगह पर लगे पाए गए। सर्वेक्षण के बाद सामने आई इस हकीकत से विभागीय अधिकारियों ने राजस्व परिषद को अवगत करवा दिया है। जल्द ही समस्या के समाधान के लिए आवश्यक कदम की उम्मीद जताई जा रही है।
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