Hindi Newsउत्तर प्रदेश न्यूज़कौशाम्बीDevotion and Love Highlighted in Bhagwat Katha by Swami Vinodanand Saraswati

ध्रुव और प्रहलाद चरित्र की कथा सुन श्रोता भावविभोर

श्रीमद्भागवत कथा के तीसरे दिन, कथावाचक दंडी स्वामी विनोदानंद सरस्वती ने भक्त प्रहलाद और ध्रुव की कथा सुनाई। उन्होंने कहा कि भगवान और भक्त के बीच का रिश्ता पावन प्रेम है। भक्तों का अपमान करने वालों का...

Newswrap हिन्दुस्तान, कौशाम्बीSun, 24 Nov 2024 10:01 PM
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पूरबशरीरा में चल रही श्रीमद्भागवत कथा के तीसरे दिन रविवार को कथावाचक दंडी स्वामी विनोदानंद सरस्वती ने भक्त प्रहलाद और ध्रुव की कथा सुनाई। कथा सुनकर श्रोता भाव विभोर हो उठे। उन्होंने कहा कि भक्त भगवान के बीच का रिश्ता पावन प्रेम है। भगवान भक्त के वश में होते हैं। भक्तों का अपमान करने या भक्ति का मजाक उड़ाने वाले का सर्वनाश निश्चित है। इसलिए भक्तों को कभी भी अपमानित नहीं करना चाहिए। प्रेम की सही परिभाषा को जानने के लिए उम्र के एक पड़ाव पर आना पड़ता है और वो पड़ाव बुढ़ापा है। बुढ़ापे में दिया गया साथ ही सच्चा और पावन प्रेम है। आज इंसान क्षणिक सुख के लिए एक-दूसरे से नफरत करते है, जबकि प्रेम ही जीवन है। भक्तों को श्रीमद् भागवत कथा की महिमा बताते हुए कहा कि चाहे जितना भी विपत्ति काल क्यों न आ गया हो, लेकिन ईश्वर के नाम का सहारा लोगों को नहीं छोड़ना चाहिए। इस दौरान यजमान राधे मौके पर श्याम मिश्र, पूर्व प्रधान पवन कुमार मिश्र, अमरेश मिश्र, संजय मिश्र, सोहन मोदनवाल, अखिलेश मिश्र आदि मौजूद रहे।

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