महिलाओं के ससुराल से बनवाएं जाति प्रमाणपत्र किए जाएं मान्य
छिबरामऊ में भाजपा नेता विपिन द्विवेदी ने सरकारी नौकरियों के लिए महिलाओं के लिए जाति प्रमाणपत्र की प्रक्रिया में बदलाव की मांग की है। उन्होंने कहा कि विवाहित महिलाओं को ससुराल से बने जाति प्रमाणपत्र को...
छिबरामऊ, संवाददाता। सरकारी नौकरियों में आवेदन करते समय महिलाओं से उनके मायके से जन्म प्रमाणपत्र बनवाने की बाधता है, जिससे तमाम महिला अभ्यर्थी नौकरी में आवेदन करने से वंचित रह जाती हैं। ऐसे में भाजपा नेता ने महिलाओं के ससुराल से बनवाए गए जाति प्रमाणपत्र को ही मान्य किए जाने की मांग की है। भाजपा जिला उपाध्यक्ष व पूर्वोत्तर रेलवे परामर्शदात्री समिति के सदस्य विपिन द्विवेदी एडवोकेट ने बताया कि विभिन्न सेवा चयन आयोगों द्वारा विवाहित महिला अभ्यर्थियों की नियुक्त के पूर्व जाति प्रमाणपत्र मांगे जा रहे हैं। सामान्यता ऑनलाइन व्यवस्था के अंतर्गत विवाहित महिलाओं को उनके पति के निवास के पते के आधार पर प्रमाणपत्र निर्गत हो रहे हैं, जिसे सेवा चयन आयोगों द्वारा मान्य नहीं किया जा रहा है। पूरे जिले में सभी विवाहित महिला अभ्यर्थियों की यह बड़ी समस्या है। लेखपाल भी परेशान हो रहे हैं और महिला अभ्यर्थी भी परेशान हैं। उन्होंने बताया कि जिलाधिकारी सीतापुर ने इस संबंध में महिला अभ्यर्थियों की समस्या को संज्ञान में लेकर पिता के निवास स्थान व पिता की जाति के अनुसार जांच करके ऑनलाइन जाति प्रमाणपत्र जारी करने का आदेश फरवरी 2023 में जारी किया था। उन्होंने कन्नौज के जिलाधिकारी को पत्र भेज इस समस्या को संज्ञान में लेकर सीतापुर के जिलाधिकारी की भांति कन्नौज के समस्त उपजिलाधिकारी, तहसीलदार और लेखपालों को आदेश जारी करने की मांग की है, ताकि पिछड़ा व अनुसूचित जाति जनजाति की महिला अभ्यर्थियों को जाति प्रमाणपत्र उनके पिता के निवास से ऑनलाइन जारी हो सकें। इस संबंध में उन्होंने प्रदेश सरकार के समाजकल्याण राज्यमंत्री असीम अरूण को भी पत्र भेजकर समस्या का हल निकालने की मांग की है।
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