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बुंदेलखंड में एग्रो प्रोडक्शन हब बनाने पर प्रदेश सरकार का फोकस

कठिया गेहूं बाद अदरक के जीआई टैग के लिए कवायद शुरूनाबार्ड विशेषज्ञों की मदद से तैयार प्रस्ताव करके आवेदन हुआ झांसी,संवाददाता बुन्देलखंड की जीवनशैली अध

Newswrap हिन्दुस्तान, झांसीSun, 3 Nov 2024 07:01 PM
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कठिया गेहूं बाद अदरक के जीआई टैग के लिए कवायद शुरू नाबार्ड विशेषज्ञों की मदद से तैयार प्रस्ताव करके आवेदन हुआ

झांसी,संवाददाता

बुन्देलखंड की जीवनशैली अधिकांश लोगों की किसानी पर निर्भर करती है। जिसे बढ़ाने के लिए प्रदेश सरकार अब शुरूआत कर चुकी है। कुछ दिनों पूर्व कठिया गेहूं को जीआई टैग मिला और अब अदरक के लिए प्रस्ताव तैयार हो गया है। आवेदन भी कर दिया है। प्रदेश सरकार बुन्देलखंड को एग्रो प्रोडक्शन हब बनाने पर फोकस करते हुए तेजी से आगे बढ़ा रही है।

बुन्देलखण्ड में कृषि और बागवानी को प्रोत्साहित कर उत्तर प्रदेश सरकार यहां के किसानों को राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय बाजार से जोड़ने की कवायद कर रही है। योगी सरकार और नाबार्ड के संयुक्त प्रयासों से झांसी के एफपीओ को कठिया गेंहू का जीआई टैग हासिल हुआ है। अब झांसी जिले के ही एक एफपीओ के माध्यम से अदरख को जीआई टैग दिलाने के लिए आवेदन दाखिल किया गया है। उम्मीद है कि आने वाले कुछ समय में जीआई टैग मिल जाने के बाद यहां के अदरख उत्पादकों को बेहतर बाजार और मूल्य मिलने के साथ ही अदरख के उत्पादन में भी बढोत्तरी होगी।

जीआई टैग (जियोग्राफिकल इंडिकेशन टैग) किसी क्षेत्र विशेष के खास उत्पादन या उपज को मान्यता प्रदान करता है। झांसी के एफपीओ के माध्यम से नाबार्ड और उद्यान विभाग ने प्रस्ताव तैयार कराकर आवेदन दाखिल कराया है। जीआई टैग का प्रस्ताव विशेषज्ञ की मदद से तैयार किया गया है। आवेदन का परीक्षण होने के बाद इसे जीआई टैग मिल जाएगा और कठिया गेहूं की तरह अदरक की पहचान भी बुन्देलखंड क्षेत्र की एक बड़ी उपलब्धि साबित होगी। उत्पादन की गुणवत्ता के मानकीकरण के कारण यहां के उत्पाद को बेहतर मूल्य हासिल होगा और इसकी डिमांड बढ़ जाएगी। बरुआसागर और आसपास के क्षेत्रों में काफी संख्या में किसान अदरख की खेती करते रहे हैं। इनकी संख्या को बढाने पर भी सरकार का जोर है।

नाबार्ड के जिला विकास प्रबंधक भूपेश पाल ने बताया कि झांसी के एक एफपीओ के माध्यम से अदरख के जीआई टैग के लिए आवेदन किया गया है। नाबार्ड और उद्यान विभाग मिलकर इस काम में मदद प्रदान कर रहा है। जीआई का प्रस्ताव तैयार करने के लिए विशेषज्ञ की मदद ली गई है। अदरख को जीआई टैगिंग दिलाने के लिए आवेदन दाखिल कर दिया गया है।

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