मनरेगा में महिला सहभागिता 20 फीसदी से भी कम
मनरेगा में महिला सहभागिता 20 फीसदी से भी कम
हरदोई। हिन्दुस्तान संवादहर क्षेत्र में पुरुषों के साथ कंधे से कंधा मिला कर चलने वाली महिलाएं मनरेगा में पिछड़ रही हैं। जनपद में मनरेगा में काम करने वाली महिलाओं का प्रतिशत मात्र 20 है, जो राज्य महिला सहभागिता प्रतिशत 33 से कहीं कम है। ऐसे में अपर आयुक्त ने महिला श्रमिकों को मनरेगा में अधिक से अधिक काम देने के निर्देश के साथ ही, जिम्मेदारों को चेतावनी भी दी है। राज्य प्रतिशत तक न पहुंचाने पर कार्रवाई का सामना करने के लिए तैयार रहने को कहा गया है। महिलाओं को रोजगार देने में कुछ ब्लॉक जनपद के प्रतिशत से भी पीछे हैं। कछौना ब्लॉक में मात्र 5.71 प्रतिशत महिलाओं ने मनरेगा में काम किया है। मल्लावां में भी महिलाओं ने मनरेगा के कार्यों से दूरी बना रखी है, मल्लावां में अब तक 10.36 प्रतिशत महिलाओं ने ही मनरेगा कार्यों में अपनी सहभागिता दी है। अहिरोरी में 12.69 व बावन में 11.41 प्रतिशत महिलाओं ने मनरेगा में अपनी सहभागिता दी है। कोथावां व सुरसा ब्लॉक की ग्राम पंचायतें 15 फीसदी से कम महिलाओं को रोजगार दे सका है। हरियावां ब्लॉक की महिलाएं निकली जागरूकजनपद का इकलौता ब्लॉक हरियावां है जहां की महिलाओं ने जागरूकता दिखाते हुए मनरेगा के कार्यों में अधिक से अधिक सहभागिता दी है। ब्लॉक क्षेत्र में मनरेगा के अंतर्गत करवाए गए कार्यों में महिला सहभागिता का प्रतिशत 33 से भी अधिक है। इसके अतिरिक्त बिलग्राम ब्लॉक क्षेत्र में हुए मनरेगा कार्यों में 27.45 प्रतिशत महिलाओं ने काम किया है। जनपद की महिला सहभागिता प्रतिशत 20 फीसदी से अधिक प्रगति वाले ब्लॉकों में बेहंदर, भरावन, सांडी, संडीला, टड़ियावां व टोंडरपुर ही हैं। उपायुक्त मनरेगा पीएस चंद्रौल ने बताया कि सभी बीडीओ को मनरेगा कार्य करने के लिए महिलाओं को प्रेरित करने को कहा गया है। निर्देश दिए गए हैं महिला सहभागिता प्रतिशत बढ़ाते हुए कम से कम 33 फीसदी महिलाओं को मनरेगा में रोजगार उपलब्ध करवाने के निर्देश दिए हैं।
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