रेस्क्यू ऑपरेशन के दौरान गले में फंदा कसने से बारहसिंहा की मौत

स्थानीय दीवानपुरा मोहल्ले में घुसे घायल बारहसिंघा की रेस्क्यू ऑपरेशन के दौरान गले में रस्सी का फंदा कसने से मौत हो गई। बारहसिंघा के मोहल्ले में घुसने की सूचना पर सैकड़ों की संख्या में लोगों की भीड़ लग...

Newswrap हिन्दुस्तान, हमीरपुरWed, 18 March 2020 11:33 PM
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स्थानीय दीवानपुरा मोहल्ले में घुसे घायल बारहसिंघा की रेस्क्यू ऑपरेशन के दौरान गले में रस्सी का फंदा कसने से मौत हो गई। बारहसिंघा के मोहल्ले में घुसने की सूचना पर सैकड़ों की संख्या में लोगों की भीड़ लग गई थी, लेकिन इस दुर्लभ जीव को सुरक्षित नहीं निकाला जा सका। इस प्रकरण में वन विभाग के कर्मियों की लापरवाही भी उजागर हुई है।

नगर के मुहल्ला दीवानपुरा में बुधवार की सुबह एक बारहसिंघा पशुबाड़े में घुस गया। दीवार से टकराने से बारहसिंघा घायल हो गया था, जिससे उसके मुंह से खून निकल रहा था। मुहल्ले में बारहसिंघा घुसने की खबर पर आसपास के सैकड़ों लोगों की भीड़ एकत्रित हो गई। बारहसिंघा की सूचना वन क्षेत्राधिकारी आरबी कैथल को दी गई तो वह भी मौके पर पहुंच गए। पुलिस भी आ गई। बारहसिंघा को निकालने का रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू किया गया जो लगभग दो घण्टे तक चलता रहा। वन विभाग की लापरवाही के कारण दुर्भाग्यवश चलाए गए रेस्क्यू ऑपरेशन के दौरान बारहसिंघा की मौत हो गई।

वन क्षेत्राधिकारी कैथल ने बताया कि मझगवां थानाक्षेत्र के जंगली इलाके से निकालकर बारहसिंघा कस्बे के दीवानपुरा मुहल्ले में आ गया था, जिसे रेस्क्यू कर सुरक्षित निकालने का उनकी टीम के दौरान प्रयास किया गया लेकिन दुर्भाग्यवश संभवत: गले में रस्सी फंसने के कारण उसकी मौत हो गई है। कैथल ने बताया कि उसके पास जंगली जानवरों को पकड़ने के लिए कोई भी उपकरण नहीं है। जब उनसे पूछा गया कि बारहसिंहा की मौत का जिम्मेदार कौन है तो वह चुप्पी साध गए। कुल मिलाकर मौके पर मौजूद सैकड़ों लोगों ने बताया कि वन विभाग के अधिकारी के लापरवाही के कारण बारहसिंहा की मौत हुई है। वनविभाग की टीम मृतक बारहसिंहा को वन विभाग ले गई और उसका पोस्टमार्टम कराकर दफ नाया गया।

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