साहित्यकार डा. जितेन्द्रनाथ पाठक के निधन पर शोक
Ghazipur News - सैदपुर, हिन्दुस्तान संवाद। साहित्यभूषण सम्मान से सम्मानित गाजीपुर गौरव सैदपुर नगर निवासी साहित्यकार
सैदपुर, हिन्दुस्तान संवाद। साहित्यभूषण सम्मान से सम्मानित गाजीपुर गौरव सैदपुर नगर निवासी साहित्यकार डा. जितेन्द्रनाथ पाठक का 89 वर्ष के उम्र में वाराणसी में निधन हो गया। विगत 28 नवंबर को पैर फिसलने के वजह से गिर गए थे। जिससे उनको ब्रेन स्ट्रोक हो गया था। तब से वाराणसी में उनका इलाज चल रहा था। इस दौरान नगर निवासी लोगों ने गहरा दुःख प्रकट करते हुए उन्हें भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की गई। साहित्यकार डॉ. जीतेन्द्र नाथ पाठक का जन्म पांच जुलाई 1936 को हुई थी। अंतिम समय तक हिन्दी की अनवरत सेवा करते हुए लिखते पढ़ते रहे। उनकी कई दर्जन पुस्तकें प्रकाशित हैं। जिनमे से प्रमुख सर्णनात्मक-साहित्य में काव्य के बापू, अपनी हत्या के पूर्व, सूर्य के सामने, उसे करीब से देखा है, सागर मन, नदी के भीतर, रोशनी के ईद-र्गिद, एक नई शताब्दी की ओर, भाषाहीनता के बावजूद, यह यात्रा अविराम चलेगी इसके अतिरिक्त 12 समीक्षा पुस्तकें, 15 संपादित पुस्तकें प्रकाशित। उनके निधन से हिन्दी साहित्य जगत में अपूरणीय क्षति हुई है। पच्चास से अधिक पुरस्कारों व सम्मानों से पुरस्कृत व सम्मानित डा. जितेन्द्रनाथ पाठक को तीन महत्वपूर्ण सम्मान 1997 में हिन्दी साहित्य सम्मेलन प्रयाग की ओर से साहित्य महोपाध्याय उपाधि, 2001 में साहित्य-भूषण की सम्मानित पुरस्कारोपाधि, 2007 में पं. दीनदयाल उपाध्याय राष्ट्रीय पुरस्कारोपाधि सम्मान के साथ ही साहित्य चेतना समाज ने उन्हें वर्ष 2005 में ‘गाजीपुर गौरव सम्मान से विभूषित किया गया था। उनके पौत्र रोहित पाठक ने बताया की उनका अंतिम संस्कार वाराणसी के हरिशंचंद्र घाट पर सोमवार को किया जायगा।
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