Hindi Newsउत्तर प्रदेश न्यूज़इटावाFull Scale Mock Drill Conducted at Itawa Railway Station for Disaster Management

एक्सप्रेस हुई दुर्घटनाग्रस्त तो दौड़ पड़ी रेलवे व एनडीआरएफ की टीमें

इटावा में शुक्रवार को रेलवे स्टेशन पर एनडीआरएफ और रेलवे द्वारा संयुक्त मॉक ड्रिल आयोजित की गई। इस मॉक ड्रिल में अग्निशामक, चिकित्सा टीम और पुलिस प्रशासन ने मिलकर आपात स्थिति में त्वरित कार्रवाई की।...

Newswrap हिन्दुस्तान, इटावा औरैयाFri, 22 Nov 2024 09:17 PM
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इटावा। शुक्रवार की सुबह इटावा रेलवे स्टेशन की पीक्यूआरएस साइडिंग पर राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) 8वीं बटालियन एवं रेलवे की फुल स्केल संयुक्त मॉक ड्रिल आयोजित की गयी । इस संयुक्त मॉक ड्रिल में रेलवे की विभिन्न विभागों की टीमें, सिविल डिफेंस, स्काउट एवं गाइड, एआरटी/टूण्डला, एआरएमवी/टूण्डला, मेडिकल के साथ जिले के पुलिस प्रशासन, मुख्य अग्निशमन एवं चिकित्सा विभाग ने मिलकर कार्य किया। संयुक्त मॉक ड्रिल का उद्देश्य आपात स्थति में रेलवे आपदा प्रबंधन टीम, एनडीआरएफ और जिला प्रशासन मिलकर त्वरित रूप से कार्य करके अधिक से अधिक जीवन को बचाकर जानमाल की क्षति को कम करना होता है। फुल स्केल संयुक्त मॉक ड्रिल उप मुख्य संरक्षा अधिकारी उत्तर मध्य रेलवे ओपी सिंह, वरिष्ठ मंडल संरक्षा अधिकारी यू सी शुक्ला, सहायक कमान्डेंट एनडीआरएफ अनिल कुमार,मुख्य अग्निशमन अधिकारी सुभाष चौधरी की मौजूदगी में सम्पन्न करायी गयी ।

संयुक्त मॉक ड्रिल में गाड़ी संख्या 0305इ कानपुर टूंडला एक्सप्रेस के अवपथन एवं कोच संख्या एस-1 में आग लगने पर ट्रेन मैनेजर तथा लोको पायलट द्वारा स्टेशन अधीक्षक एवं अधिकारियों एवं कंट्रोल को सूचित किया गया। आग लगने की सूचना मिलते ही रेलवे, अग्निशमन, पुलिस प्रशासन और चिकत्सा विभाग की टीमें सक्रिय हो गयीं। रेलवे और अग्निशमन के कर्मचारियों ने मिलकर तत्काल आग पर काबू पा लिया। एनडीआरएफ की टीम ने त्वरित कार्यवाही करते हुए कोच की खिड़की और छत को काटकर घायल व बेहोश यात्रियों को रोपवे की सहायता से बाहर निकालकर उन्हें एआरएमवी टूण्डला मेडिकल टीम को दिया। घायल एवं बेहोश यात्रियों को तत्काल प्राथमिक चिकित्सा दी गयी और गंभीर रूप से घायल यात्रियों को एम्बुलेंस से जिला अस्पताल भेजा गया।

मॉक ड्रिल में दुर्घटना के समय टिकट निरीक्षक, ट्रेन मैनेजर, लोको पायलट/सहायाक लोको पायलट, कोच अटेंडेंट, ए.सी. मैकेनिक, स्टेशन स्टाफ एवं रेल कर्मचारियों द्वारा त्वरित रूप से की जाने वाली कार्यवाही इत्यादि शामिल थीं । संयुक्त मॉक ड्रिल में एनडीआरएफ गाज़ियाबाद की टीम का नेतृत्व सहायक कमान्डेंट एनडीआरएफ अनिल कुमार ने किया। एनडीआरएफ की टीम में 31 कर्मियों ने हिस्सा लिया यह सभी कर्मचारी उच्च स्तर के दक्ष थे और रेल दुर्घटना की हर स्थिति का सामना करने में सक्षम थे। रेलवे और जिला प्रशासन की टीमों का आपस में समन्वय बना रहा। लगभग 1 घंटे तक चली मॉक ड्रिल में रेलवे, एनडीआरएफ एवं सिविल प्रशासन के लगभग 200 अधिकारीयों एवं कर्मचारियों ने भाग लिया ।

एलएचवी कोच में पहली बार हुआ है रेस्क्यू

इटावा। संयुक्त मॉक ड्रिल के बाद वरिष्ठ मंडल संरक्षा अधिकारी यूसी शुक्ला ने कहा कि यहां से प्राप्त अनुभव के आधार पर हम अपनी तैयारियों को और अधिक बेहतर बनायेंगे। एलएचवी कोच में पहली वार रेस्क्यू किया गया है। सहायक कमान्डेंट एनडीआरएफ अनिल कुमार ने कहा कि इस तरह मॉक ड्रिल में टीमों का समन्वय, दक्षता और इक्विपमेंट को चेक किया जाता है । कोच में आपात स्थिति में चिन्हित जगह को काटकर प्रवेश करते है यहाँ अभ्यास में जो कमियां नज़र आती उनको सुधार लिया जाता है इस तरह की आपातकालीन स्थितियों में स्थानीय संसाधन और त्वरित कार्यवाई की अहम् भूमिका होती है । अग्निशमन अधिकारी सुभाष चौधरी ने कहा कि सूचना मिलते ही हमेशा की तरह टीम सक्रिय हो गयी इस तरह की तैयारिया हमें दक्ष बनाती है । इस तरह के अभ्यास हर जिले में किये जाने चाहिए।

ट्रेन हादसे में दो यात्रियों की हुई मौत तो छह हुए घायल

इटावा । संयुक्त मॉक ड्रिल में गाडी संख्या 0305इ कानपुर टूंडला एक्सप्रेस के अवपथन एवं कोच संख्या एस-1 में आग लगने पर ट्रेन मैनेजर तथा लोको पायलट द्वारा स्टेशन अधीक्षक एवं अधिकारियों एवं कंट्रोल को सूचित किया गया।

जिस कोच में आग लगी थी उसमें यात्रियों को सुरक्षित निकाल लिया गया था जब कि जो कोच पटरी से उतरा था उसमें 8 यात्री उतारे गए थे जिसमें दो लोगों की मौत हुई थी और जो छह यात्री घायल हुए थे उन सभी को दुर्घटना सहायता प्राथमिक चिकित्सा केंद्र का जो कैंप लगाया गया था उसमें प्राथमिक उपचार के बाद एंबुलेंस से जिला अस्पताल भेजा गया था ।

ट्रेन की छत काटकर रोपवे से उतारे गये डेड बॉडी के पुतले

इटावा। एनडीआरफ तथा रेलवे की टीम ने दुर्घटनाग्रस्त ट्रेन की छत को मशीनों से काटा और उसके बाद दो शवों के पुतलों को रोप वे के द्वारा उतारकर सुरक्षित स्थान पर रखवाया गया। रेस्क्यू के लिए इटावा अग्निशमन विभाग के फायरमैन आकाश कुमार व विजय कुमार वीए सेट पहनकर जले हुए कोच में गए और रेस्क्यू किया।वही ट्रेन की खिड़कियों से भी घायलों को स्टेचर के माध्यम से उतारा गया और तुरंत दुर्घटना सहायता प्राथमिक चिकित्सा केंद्र पर भेजा गया। यहां पर मौजूद सीएमएस टूण्डला डॉ अविनाश कुमार शर्मा के नेतृत्व में डीएमओ इटावा विजय राज चौधरी चीफ फार्मासिस्ट एसके जायसवाल सुमित साहनी नर्सिंग सुपरीटेंडेंट नवल किशोर मीणा वंदना शर्मा की मौजूदगी में घायलों का प्राथमिक इलाज किया गया ।

मॉक ड्रिल में यह लोग रहे मौजूद

इटावा। रेलवे स्टेशन पर हुई फुल स्केल मॉकड्रिल में वरिष्ठ मंडल संरक्षा अधिकारी यूसी शुक्ला डिप्टी सीएसओ ओपी सिंह डिप्टी सीएस ओ पीपी त्रेहान एसडीएम सदर विक्रम राघव सीओ सिटी अमित कुमार सिंह एनडीआरएफ के असिस्टेंट कमांडेंटअनिल मुद्गल इंस्पेक्टर राजेंद्र कुमार आरपीएफ के सहायक सुरक्षा आयुक्त एमएस शेखावत सीओ जीआरपी उदय प्रताप सिंह डिप्टी सीएमओ यतेंद्र राजपूत सीएफओ सुभाष चौधरी एफएसओ सनद पटेल यातायात निरीक्षक डिप्टी एसएस आरके गोयल प्रशांत तिवारी वाणिज्य निरीक्षक नरेश मीना आरपीएफ इंस्पेक्टर गजेंद्र पाल सिंह जीआरपी इंस्पेक्टर शैलेश निगम व रेलवे के अन्य कई विभागों के अधिकारी व कर्मचारी मौजूद रहे ।

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