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चौका चूल्हा छोड़कर महिलाओं ने डीएपी के लिए धक्के, बगैर खाद लौट रहे किसान

महिलाएं डीएपी खाद के लिए सुबह चार बजे से लाइन में खड़ी रहती हैं। 10 घंटे तक धक्का-मुक्की के बाद भी उन्हें खाद नहीं मिल पाता। केवल 250 बोरी वितरण की गई, जिससे अधिकतर किसान निराश लौटते हैं। सहकारी...

Newswrap हिन्दुस्तान, एटाFri, 22 Nov 2024 06:26 PM
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रबी की फसल की बुवाई में डीएपी लेने के लिए घर का चौका चूल्हा छोड़कर महिला लाइन में खड़े होकर धक्का खा रही हैं। सुबह से लेकर शाम तक लाइन में खड़े होकर धक्का खाने के बाद भी एक बोरी डीएपी अगर मिल जाती है तो आठ घंटे तक खड़े होने वाली सारी थकान मिट जाती है। इसमें अधिकांश लोग बिना खाद लिए ही घर चले जा रहे हैं। शुक्रवार को शहर के अलीगंज रोड स्थित जिला सहकारी संघ इफको खाद केंद्र पर सुबह चार बजे से ही आसपास और दूर दराज क्षेत्र के करीब एक हजार से ज्यादा किसान डीएपी लेने के लिए पहुंच गए और लाइन लगाकर खड़े रहे। केंद्र प्रभारी ने कुल 250 बोरियां वितरण करने के बाद दोपहर दो बजे से पहले ही डीएपी वितरण बंद कर दिया। सुबह चार बजे से दोपहर दो बजे तक लगातार 10 घंटे भूखे प्यासे लाइन में लगी महिलाओं एवं बुजुर्ग किसानों का सर्वाधिक बुराहाल बना रहा। इसके बाद भी खाद न मिलने पर उन्हे मायूस लौटना पड़ा। केंद्र प्रभारी सत्येंद्र कुमार ने बताया कि समिति पर कुल 250 बोरिया ही डीएपी भेजी गई। इसका वितरण दोपहर से पहले ही कर दिया गया है। उन्होंने बताया कि भरपूर खाद न मिलने के कारण सभी किसानों को कुल दो-दो बोरियां ही दी गई। उसके साथ एक तरल डीएपी की बोतल दी जा रही है। उन्होंने बताया कि एक हजार में से कुल 125 किसानों को ही डीएपी मिल सकी। बाकी किसानों को बापस लौटना पड़ा। किसानों ने डीएपी न मिलने के कारण आक्रोश जताया।

1200 मीट्रिक टन डीएपी स्टॉक होने की बात कर रहे कोआपरेटिव

एआर कोआपरेटिव सतीश कुमार सिंह के अनुसार जिले की सभी सहकारी समितियों पर गुरुवार रात तक 1200 मीट्रिक टन डीएपी खाद उपलब्ध थी। इतनी बड़ी संख्या में डीएपी होने के बाद भी किसानों को बगैर खाद के ही समितियों से लौटना पड़ रहा है। उसके साथ ही परेशानियां अलग से उठानी पड़ रही है।

इन समितियों पर पड़े रहे ताले

खाद न मिलने के कारण किसानों को फसल बुवाई के लिए एक-एक दिन भारी पड़ रहा है लेकिन सहकारी समिति प्रभारी मनमाने ढंग से केंद्र को खोल वितरण कर रहे हैं। शुक्रवार को शहर के बली मोहम्मद चौराहा स्थित सहकारी समिति पर दिनभर ताले पड़े रहे। इसी प्रकार गल्ला मंडी स्थित केंद्रीय थोक उपभोक्ता केंद्र पर ताले पड़े रहे। किसान दिनभर समितियों पर आकर लौटते रहे।

महिला किसान बोली

डीएपी के लिए सुबह चार बजे से लाइन समिति पर आकर लाइन में खड़े रहे। दोपहर तक खड़े रहने के बाद केंद्र प्रभारी ने खाद खत्म होने की बात करते हुए कल आने के लिए कह दिया है। लाइन में लगातार 10 घंटे खड़े रहने से हाल बेहाल हो गया। धक्का मुक्की में कई बार चोटे भी लग गई।-रामश्री देवी, गांव गोकुलपुर।

डीएपी न मिलने के कारण पिछले 10 दिनों से खेत बुवाई के लिए जुते पड़े है, डीएपी न मिलने के कारण अब तक गेहूं की बुवाई नहीं कर पाए हैं। सुबह पांच बजे अलीगंज रोड के इफको केंद्र पर खाद लेने के लिए खड़े रहे, जिससे बुराहाल हो गया लेकिन फिर भी खाद नहीं मिल सकी है।-गुड्डो देवी, गांव, भांवरपुर।

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