गोरखपुर में 80 साल के बुजुर्ग डॉक्टर डिजिटल अरेस्ट, कूरियर में ड्रग्स के नाम पर को साइबर ठगों ने किया था फोन
- गोरखपुर में जालसाजों ने कूरियर में ड्रग्स मिलने की बात कहकर 80 साल के बुजुर्ग डॉक्टर को डिजिटल अरेस्ट कर लिया। गनीमत यही रही कि अधिवक्ता ने ठगी होने से उन्हें बचा लिया। हालांकि इस दौरान उनकी तबीयत बिगड़ गई।
यूपी के गोरखपुर में 80 वर्षीय सेवानिवृत्त डॉक्टर को शनिवार की शाम में जालसाजों ने डिजिटल अरेस्ट कर लिया। कूरियर में ड्रग्स मिलने की खबर और सामने वीडियो कॉल पर वर्दी वाले को देखकर डॉक्टर की तबीयत बिगड़ गई। अधिवक्ता ने फर्जीवाड़ा समझते हुए फोन काट दिया। संयोग अच्छा था कि डॉक्टर ने रुपये नहीं भेजे थे।
कैंट क्षेत्र में रहने वाले रिटायर्ड डॉक्टर शनिवार की शाम में मोहल्ले में टहलने गए थे। शाम सात बजे वह घर लौटे तो उनके पास एक कॉल आई। फोन करने वाले ने खुद को नारकोटिक्स विभाग का बताया। बोला कि आपने कूरियर मंगाया है और उसमें ड्रग्स है। आप को जेल होगी। इस उम्र में जेल का नाम सुनते ही वह हैरान हो गए। उन्होंने खुद का कूरियर होने से इनकार करते हुए मना किया तो उसने उनका नाम बता दिया और फिर वह जो कहता गया, वह करते चले गए। वीडियो कॉल पर आने के बाद उसने कहा कि आपकी बड़े साहब से बात करा देते हैं, आपकी उम्र तो ज्यादा है, लगता है आप को फंसाया गया है।
इसके बाद वीडियो कॉल पर एक वर्दी वाला अफसर आया तो डॉक्टर को यकीन हो गया कि वह पुलिस वाला ही है। बातचीत के दौरान उनसे दो लाख रुपये के इंतजाम की बात कही गई। बताया गया कि रुपये देकर मामला रफा-दफा कर दीजिए। इसके बाद वह और बेचैन हो गए और दवा खाने की अनुमति मांग ली। दवा के बहाने उठते ही वह बेचैन होकर बाहर चले गए। तभी उनकी नजर पड़ोसी अधिवक्ता पर पड़ गई। उन्होंने बताया तो अधिवक्ता तुरंत ही समझ गए कि उनके साथ जालसाजी की कोशिश है। उनके समझाने पर वह माने और फिर कई बार कॉल आने पर भी नहीं उठाया। डॉक्टर की शिकायत पर साइबर थाना पुलिस मामले की जांच कर रही है।
इस मामले में साइबर थाने के एक्सपर्ट उपेंद्र कुमार ने बताया कि रिटायर्ड डॉक्टर को डिजिटल अरेस्ट कर जालसाजी की कोशिश की गई। लेकिन, वह अपने पड़ोसी की मदद से बच गए। उनके प्रार्थना पत्र के आधार पर जांच की जा रही है।