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बोले बस्ती : सरहद पर डटकर लड़ें जवान, हम भी 24 घंटे सेवा को तैयार

Basti News - भारत और पाकिस्तान के बीच सीमा पर तनाव बढ़ गया है। बस्ती में चिकित्सक, नर्स, पैरामेडिकल स्टाफ और सफाईकर्मी संकट के समय में देश की सेवा के लिए पूरी तरह तैयार हैं। सभी ने कहा कि देशहित सर्वोपरि है और वे...

Newswrap हिन्दुस्तान, बस्तीSat, 10 May 2025 03:06 AM
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बोले बस्ती : सरहद पर डटकर लड़ें जवान, हम भी 24 घंटे सेवा को तैयार

Basti News : भारत और पाकिस्तान के बीच सीमा पर तनाव चरम पर है। भारत की ओर से किए गए ‘ऑपरेशन सिंदूर की निर्णायक सैन्य कार्रवाई के बाद पाकिस्तान तिलमिलाया हुआ है। भारतीय सेनाएं हर स्थिति से निपटने के लिए तैयार हैं। ऐसे में देश के शहरों में मौजूद अनाम नायक- डॉक्टर, नर्स, पैरामेडिकल स्टाफ, सफाईकर्मी और आपदा प्रबंधन टीमें अपनी एकजुटता और समर्पण से देश का गौरव बढ़ाने को तैयार हैं। ‘हिन्दुस्तान के ‘बोले बस्ती अभियान के तहत जब इन नायकों से बात की गई, तो सभी ने एक स्वर में कहा कि देशहित सर्वोपरि है और संकट के समय वे अपनी सेवा से पीछे नहीं हटेंगे।

अपना कर्तव्य निभाएंगे और देश के प्रति अपनी निष्ठा और समर्पण से हर हिन्दुस्तानी के लिए प्रेरणा बनेंगे। जब सीमा पर बारूद की गंध हवा में तैर रही हो, तब हमारी जिम्मेदारी और भी बढ़ जाती हैं। बस्ती जिले के चिकित्सकों ने बताया कि आपातकाल के लिए उनका प्रशिक्षण और जज्बा उन्हें हर स्थिति में तैयार रखता है। कैली मेडिकल कॉलेज और जिला अस्पताल के डॉक्टरों ने कहा कि प्रशिक्षण के दौरान हमें गंभीर मरीजों को बचाने की तकनीक सिखाई गई थी। देशसेवा का अवसर मिलना सबसे बड़ा सौभाग्य होगा। वहीं, सीएमओ राजीव निगम ने कहा कि धैर्य और साहस के साथ विषम परिस्थितियों में जान बचाने की कला को हम बखूबी निभाएंगे। चिकित्सा को देशसेवा का मूलधर्म बताते हुए कहा कि हर व्यक्ति की जान बचाना उनकी प्राथमिकता होगी। नर्सिंग स्टाफ की हिम्मत- सेवा में कोई कमी नहीं : नर्सिंग स्टाफ भी देशसेवा के लिए तैयार हैं। सीएचओ बरखा गौड़, कोमल त्रिपाठी ने कहा कि आपातकाल में मरीजों की जान बचाने की तरकीब हमेशा दिमाग में रहती है। देशसेवा का मौका मिले तो खुद को गौरवशाली समझूंगी। सीमा मिश्रा ने भी यही जज्बा दिखाते हुए कहा, अपने देश के लोगों की जान बचाने में कोई कमी नहीं छोड़ूंगी। देश सेवा का यह मौका मेरे लिए सुखद अनुभव होगा। और अंकिता शर्मा ने अपने प्रशिक्षण का जिक्र करते हुए कहा कि आपदा से निपटने के तौर-तरीके उन्हें बखूबी पता हैं और वे इसका उपयोग लोगों की जान बचाने में करेंगी। ड्यूटी के दौरान हम लोगों ने इसी की शपथ ली थी। मेडिकल कॉलेज और जिला अस्पताल में इमरजेंसी सेवाओं में वार्ड इंचार्ज की भूमिका निभाने वाले कर्मियों ने कहा कि आपातकाल में देश की सेवा करना गौरव की बात होगी। हर मरीज की जान बचाना हमारी हमारी पहली प्राथमिकता में रहेगी। मोहम्मद अनीश, नरेंद्र कन्नौजिया ने कहा कि स्वास्थ्य सेवा से जुड़े लोग देशसेवा के लिए हमेशा तैयार रहते हैं। देशसेवा का मौका मिले तो सबसे आगे मिलेंगे। पैरामेडिकल स्टाफ अनिल मिश्रा और अनुज यादव ने कहा कि अस्पताल में हर दिन सेवा का अवसर मिलता है, लेकिन देशसेवा के लिए चुना जाना हमारे लिए सबसे बड़ा सौभाग्य होगा। वहीं दूसरी ओर सफाईकर्मी भी इस संकट की घड़ी में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाने को तैयार हैं। हवाई हमलों जैसी आपात स्थिति में स्वच्छता और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सफाई कर्मचारी सबसे आगे रहेंगे। इनके बिना शहरों में स्वास्थ्य सेवाएं और आपदा प्रबंधन अधूरा है। आपातकाल में शहरियों को बचाने में आगे रहेंगे सफाईकर्मी शहरी सफाई व्यवस्था की रीढ़ सफाई कर्मियों, नायकों और इंस्पेक्टरों को आपातकाल में धैर्यपूर्ण तरीके से कैसे निपटे इसके तौर-तरीके सुझाए गए। प्रशिक्षण के दौरान कर्मियों को बताया गया कि यदि कहीं मकान, दुकान, बहुमंजिला भवन ढह गया है, उसके नीचे कोई दबा तो नहीं रह गया है और सांस चल रही हैं तो कैसे उसे बिना नुकसान पहुंचाए सुरक्षित कैसे निकाले इसके टिप्स दिए गए। ईओ अंगद गुप्ता के निर्देशन में राजकीय कन्या इंटर कॉलेज परिसर में एकत्र हुए सफाई कर्मियों को कर निर्धारण अधिकारी उदयभान की अगुवाई में उन्हें विधिवत प्रशिक्षण दिया गया। पूर्वाभ्यास के दौरान बताया गया कि किसी भी प्रकार की अफवाहों पर ध्यान न देकर जिस कार्य के लिए भेजा जा रहा, उसे प्राथमिकता दें। आपदा से निपटने के दौरान सतर्कता जरूरी है। आपालकाल के दौरान नागरिकों को विपरीत परिस्थितियों, विशेष रूप से हवाई हमलों जैसी स्थितियों में बचाना और सुरक्षित स्थान पर ले जाने में क्या तरकीब अपनाएं इसे जानना जरूरी है। सफाई कर्मी आपदा के समय में अपनी सजगता, अनुशासन और तत्परता का परिचय देते हुए अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएं। बताया गया कि विपरीत परिस्थित में यदि मलबा हटा रहे हैं तो यह देखना भी जरूरी है कि नीचे कोई दबा है तो उसको पहले कैसे बचाएं। यदि जेसीबी से मलबा हटा रहे हैं तो उसे बचाकर निकालना होगा। कान लगाकर यह सुने कि कोई नीचे आवाज तो नहीं दे रहा है। सांस चल रही है, हाल-पैर हिला रहा है। इन सभी बिंदुओं को भी देखना होगा। चूंकि, ऐसी स्थिति में तमाम लोग भागते हुए कहीं-कहीं छिप जाते हैं। मलबे में दब जाते हैं और जीवित रहते हैं, लेकिन अक्सर वह मलबा हटाते समय अपनी जान गंवा देते हैं। ऐसे में यह सर्तकता जरूरी है। इस दौरान दिनेश वर्मा, रोहित, अर्पित निगम, आशुतोष, विनोद, राजाराम, वसीम, रियाज, तसव्वर आदि मौजूद रहे। बोले संगठन के लोग प्रशिक्षण के दौरान बताया गया था कि आपातकाल के समय गंभीर मरीजों को कैसे हैंडल करके बचाना है। वह जज्बा नौकरी के समय भी कायम है। देशसेवा के लिए यदि अवसर मिले तो उससे भाग्यशाली कौन हो सकेगा। डॉ. पंकज शुक्ल एमबीबीएस और पीजी के दौरान आपाताकाल सेवा के बारे में सिखाया गया था कि कैसे इससे निपटा जाए। धैर्य और साहस दिखाते हुए विषम ओर कठिन समय में खुद के साथ कैसे दूसरे की जान बचाएं। डॉ. पीएल गुप्ता डॉक्टर का धर्म ही है देशसेवा, इस अवसर को कभी नहीं छोड़ेंगे। जब भी देशहित की बात सामने आएगी, प्रशिक्षण के दौरान दिए गए हर टिप्स को अपनाते हुए हर व्यक्ति की जान बचाना प्राथमिकता में होगी। डॉ. सारिब सुहेल नौकरी में आए तो यह बताया गया कि आपातकाल के दौरान कैसे मरीजों की जान बचानी है। वह सब तरकीब हमेशा एक्टिव रहता है। देशसेवा के लिए यदि मौका मिलता है तो खुद को गौरवशाली समझेंगे। ममता कश्यप आपातकाल के दौरान देशसेवा का अवसर हर किसी को नहीं मिल पाता, आज भी जज्बा कायम है। यदि ऐसी स्थिति आई तो खुद को आगे करके नागरिकों की जान बचाने की कोई कमी नहीं छोड़ेंगे। रिंकी कसौधन मरीजों की सेवा किसी आपातकाल से कम नहीं। देश में ऐसी स्थिति आने पर खुद का अनुभव खूब काम आएगा। प्रशिक्षण के दौरान भी आपदा से कैसे निपटे, इसके तौर-तरीके बताए गए हैं। पूनम चौधरी इमरजेंसी सेवा में हमेशा वार्ड इंचार्ज की भूमिका अहम होती है। आपातकाल के समय ऐसी स्थिति आने पर सेवा करके खुद को भाग्यशाली समझेंगे। हर मरीज की जान बचाना प्राथमिकता में है। आदित्य उपाध्याय इमरजेंसी में स्वास्थ्य सेवा से जुड़े लोग काम आते हैं। इसके लिए हमेशा तैयार भी रहते हैं। आपातकाल के समय यदि देशसेवा करने का मौका मिला तो वह खुद को सबसे आगे रखेंगे। शोभित चौधरी अस्पताल में हमेशा सेवा का अवसर मिलता है। आपात स्थिति में यदि देशसेवा के लिए मुझे चुना जाता है तो हमसे ज्यादा भाग्यशाली कौन होगा। हर कोई देश के लिए लड़ना और उसकी सेवा करना चाहता है। नितेश इस समय देश फिर से संवेदनशील स्थिति में है। कोरोना के बाद फिर से हम डॉक्टर पूरी तरह से तैयार हैं। देशवासियों की सेवा में पूरी तरह से तत्पर हैं। किसी भी स्थिति में बेहतर सर्विस देंगे। डॉ. नेहा सिंह हमारा प्रयास होगा कि चिकित्सा सेवा में किसी प्रकार की बाधा न आने पाए। इसके लिए ज्यादा टाइम दिया जा सकता है। हम केवल चिकित्सा ही नहीं वरन अन्य प्रकार का भी सहयोग करेंगे। डॉ. डीके पाल आपदा काल में स्वास्थ्य सेवाओं को सुचारू रूप से संचालित कर पाना एक चुनौती होती है। दवा से लेकर उपकरणों तक के आपूर्ति में कठिनाई होती है, फिर भी बेहतर स्वास्थ्य सेवा देने के सभी विकल्प हैं। डॉ. रजत पांडेय आपाकालीन स्थिति में डॉक्टर सभी आवश्यक स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करने के लिए तैयार हैं। सहयोग देने के लिए संस्था सशस्त्र बलों, एजेंसियों व नागरिकों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ी है। डॉ. कल्पना मिश्रा आपदा के समय संचार का काफी महत्वपूर्ण स्थान होता है। संचार सेवा, इंटरनेट सेवा बहाल रहे इस तरफ विशेष ध्यान दिया जाता है। बीएसएनएल इसके लिए पूरी तरह से तैयार है। अरुण कुमार वर्मा ग्राउंड जीरो से रिपोर्ट प्रशासन से होते हुए शासन तक भेजने में लेखपाल संवर्ग की सबसे बड़ी भूमिका होती है। राजस्व विभाग आपदा से निपटने के लिए पूरी तरह से कमर कस कर तैयार है। अशोक तिवारी बोले जिम्मेदार किसी प्रकार के अटैक की स्थिति में प्रशासन पूरी तरह से तैयार है। इसके लिए सभी विभागों और संगठनों से वार्ता की जा रही है या की जा चुकी है। आपदा की स्थिति में सूचना, संचार और यातायात तीन महत्वपूर्ण बिन्दु होते हैं। इसको बचाए रखने के लिए हम अपनी रणनीति बना रहे हैं। संचार व्यवस्था टूटने नहीं पाए, इसके लिए संबंधित को तैयार रखा गया है। प्रमुख पुलों, सड़कों व अन्य स्थानों पर फोर्स तैनात रहेगी। पेट्रोल पंपों की सुरक्षा के लिए पुलिस और पंप मालिक को जागरूक किया जा रहा है। डीएसओ स्तर से निगरानी रखी जाएगी। फायर सर्विस को अलर्ट मोड पर रखा गया है। व्यापार संगठन, जन संगठन को जागरूक कर जानकारी दी जा रही है कि विषय परिस्थिति में वे कैसे सहयोग करेंगे और निपटेंगे। प्रतिपाल सिंह चौहान, एडीएम/नोडल आपदा ‘ऑपरेशन सिंदूर के मद्देनजर युद्ध, आंतकी हमले जैसी आपातकालीन स्थिति से निपटने के लिए नागरिकों को जागरूक करने के मकसद से सिविल डिफेंस मॉकड्रिल व ब्लैक आउट मॉकड्रिल का आयोजन किया गया। हर स्थिति में नागरिकों की हिफाजत के लिए पुलिस फोर्स पूरी तरह मुस्तैद है। सुरक्षात्मक उपायों और सावधानियों के प्रति नागरिकों को जागरूक किया जा रहा है। पुलिस बल के साथ ही अग्निशमन विभाग समेत सभी संबंधित विभाग पूरी तरह अलर्ट मोड पर हैं। संदिग्धों की चेकिंग के साथ ही जिले के साथ ही सीमाई इलाकों की हर संदिग्ध गतिविधि पर पैनी नजर रखी जा रही है। अभिनंदन, एसपी, बस्ती किसी भी विषम परिस्थिति से निपटने के लिए महर्षि वशिष्ठ मेडिकल कॉलेज पूरी तरह से तैयार है। विशेष तौर पर बर्न वार्ड बना दिया गया है। बर्न वार्ड में जले हुए मरीज से संबंधित सभी प्रकार की सुविधाएं उपलब्ध करा दी गई हैं। सामान्य बीमारी की स्थिति में प्रथम दृष्टया जरूरत पड़ने पर जो जरूरी दवाएं हैं, उनका किट तैयार कर दिया गया है। चिकित्सकों के दल का भी गठन कर दिया गया है। पैरामेडिकल स्टाफ की ड्यूटी निर्धारित कर दी गई है। मेडिकल कॉलेज के सभी आक्सीजन सिलेंडर को भरा दिया गया है। लाइट कटने की दशा में डीजल आदि की व्यवस्था कर दी गई है। बिजली, पानी, दवा, डॉक्टर, स्टाफ सभी की व्यवस्था का प्लान का तैयार है। डॉ. अनिल यादव, प्रशासनिक अधिकारी, मेडिकल कॉलेज आपदा की स्थिति में सप्लाई चेन को पूरी तरह से मेंटेन किया जाएगा। जहां कही भी जरूरत होगी, वहां पर उच्चाधिकारियों के निर्देशानुसार खाद्य एवं रसद उपलब्ध करा दिया जाएगा। पेट्रोल-पंपों को विशेष निर्देश दिए गए हैं। उनसे दो प्रकार की अपेक्षा की गई है। पहली अपेक्षा है कि वे पर्याप्त मात्रा में अपने पास ईंधन और उसका रिजर्व स्टाक रखेंगे, जिससे किसी भी स्थिति में पहिया थमने नहीं पाए। दूसरी अपेक्षा वहां पर अग्निसुरक्षा की है। यदि किसी प्रकार के अटैक की स्थिति बनी तो पंपों की अग्नि सुरक्षा हो। इसके लिए पंप मालिकों को सभी प्रकार के तैयारियों के लिए कहा गया है। उनका मॉडड्रिल भी कराया गया है। अग्नि से सुरक्षा काफी महत्वपूर्ण है। सत्यवीर सिंह, जिला पूर्ति अधिकारी, बस्ती

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