बलरामपुर-अस्पाताल के ओपीडी में इस समय वायरल फीवर, सर्दी, जुकाम के मरीजों की संख्या पहुंच रही 500 के पार
बलरामपुर के सरकारी अस्पतालों में वायरल फीवर के मरीजों की भारी भीड़ देखी गई। ओपीडी में बुखार, सर्दी और जुकाम के 500 से अधिक मरीज पहुंचे। मरीजों को जांच में देरी का सामना करना पड़ा, जिससे अफरा तफरी का...
बलरामपुर, संवाददाता। जिले के सरकारी अस्पतालों में वायरल फीवर के मरीजों की शनिवार को भारी भीड़ देखने को मिली। भीड़ का आलम यह था कि अस्पतालों में अफरा तफरी का माहौल था। चिकित्सक कक्ष से लेकर पैथॉलाजी तक मरीजों की भारी भीड़ रही। ओपीडी में इस समय वायरल फीवर, सर्दी, जुकाम के मरीजों की संख्या 500 के पार पहुंच जा रही है। यही नहीं जांच के दौरान विलंब होने पर मरीजों को काफी परेशानी होती है। बुखार से तप रहे मरीजों को डेंगू होने की आशंका भी सता रही है। हिन्दुस्तान ने शनिवार को जिला मेमोरियल अस्पताल व संयुक्त जिला अस्पताल की पड़ताल की। सुबह 12 बजे के करीब जिला मेमोरियल अस्पताल मरीजों से खचाखच भरा हुआ था। जनरल फिजीशियन व बाल रोग विशेषज्ञ कक्ष के बाहर मरीजों की भारी भीड़ थी। जनरल फिजीशियन डॉ ऋषि श्रीवास्तव ने बताया कि इस समय अस्पताल में वायरल फीवर के मरीज तेजी से बढ़े हैं। अस्पताल आने वाला हर तीसरा मरीज बुखार से पीड़ित होता है। बुखार से पीड़ित मरीजों को जांच कराने की भी सलाह दी जाती है। ऐसे में मरीजों की संख्या अस्पताल की पैथॉलाजी में भी बढ़ी हुई थी। अस्पताल के पर्चा व दवा वितरण काउंटर पर मरीजों भारी भीड़ थी। लोग धक्कामुक्की करते नजर आए। तेजी से बदल रहे मौसम में लोग बीमार हो रहे हैं। अस्पताल के कई चिकित्सकों के कक्ष के बाहर मरीजों की भारी भीड़ थी। अस्पताल आए मरीजों ने बताया कि यहां की पैथॉलाजी में साढ़े 12 बजे के बाद सैंपल नहीं लिया जाता है। इसलिए उन्हें मजबूरी में बाहर के निजी पैथॉलाजी पर जांच करानी पड़ती है, जहां उन्हें पैसा देना पड़ता है। अस्पताल के सीएमएस डॉ शारदा रंजन ने बताया कि वायरल फीवर के मरीजों की संख्या बढ़ी है। इसे लेकर अस्पताल में अतिरिक्त इंतजाम किए गए हैं। सभी चिकित्सकों को समय से बैठने की हिदायत दी गई है। सैंपल लेने के बाद मरीजों को रिपोर्ट ओपीडी के समय ही दी जाती है। ऐसे में लैब में उतने ही सैंपल लिए जाते हैं, जिसकी रिपोर्ट उसी दिन दी जा सके।
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संयुक्त जिला चिकित्सालय में भी दिखी भारी भीड़
साढ़े 12 बजे के करीब संयुक्त जिला चिकित्सालय में मरीजों की भारी भीड़ थी। यहां आए अधिकतर मरीज भी वायरल फीवर के थे। अस्पताल के फिजीशियन कक्ष के बाहर मरीजों की लाइन लगी हुई थी। अस्पताल आए अवध बिहारी, संगम लाल, नित्या मौर्या आदि ने बताया कि उन्हें कई दिनों से बुखार आ रहा है। डोलो खाकर काम चला रहे थे, लेकिन बुखार पीछा नहीं छोड़ रहा है। ऐसे में उन्हें अस्पताल आना पड़ा। बताया कि चिकित्सक ने कई जांचें लिखी हैं। यहां के पैथॉलाजी में मरीजों की भारी भीड़ थी, जिससे अफरा तफरी का माहौल था। लैब टैक्नीशियन अशोक पाण्डेय ने बताया कि यह कोशिश की जाती है कि जितने भी मरीज जांच के लिए आएं उन सभी का सैंपल लेकर उन्हें समय से रिपोर्ट उपलब्ध करा दिया जाए, जिससे उन्हें किसी प्रकार की असुविधा न होने पाए। अस्पताल के सीएमएस डॉ राज कुमार ने बताया कि ठंड शुरू होने के साथ ही वायरल बुखार का प्रकोप बढ़ा है। अस्पताल में सभी जरूरी दवाएं व जांच की सुविधा उपलब्ध हैं।
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बच्चे भी तेजी से हो रहे बीमार, लोग रहें सतर्क
ठंड शुरू होते ही बुखार, जुकाम एवं जकड़न के गिरफ्त में बच्चे भी तेजी से आ रहे हैं। चिकित्सकों का कहना है कि लोग बच्चों की सेहत को लेकर बेहद सतर्क रहें। संयुक्त जिला चिकित्सालय के बाल रोग विशेषज्ञ डॉ नितिन चौधरी ने बताया कि इस मौसम में बच्चे तेजी से बीमार हो रहे हैं। अस्पताल में प्रतिदिन बुखार व सर्दी खांसी से पीड़ित दर्जनों बच्चे आते हैं, जिनका उपचार किया जा रहा है। ठंड के इस शुरुआती दौर में बच्चों की सेहत के लिए अभिभावकों को सतर्क रहना पड़ेगा। बच्चों को गर्म कपड़े पहनाएं। ठंड से बचाव के लिए हर संभव उपाय करें। बच्चों के बीमार होने पर तत्काल चिकित्सक से सम्पर्क करें। जकड़न होने पर बच्चों की सेंकाई जरूर कराएं।
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