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बहराइच बवाल: अब एएसपी हटाए गए, सीएम योगी को हिंसा की रिपोर्ट के बाद एक्शन

बहराइच बवाल मामले में शासन ने कार्रवाई शुरू कर दी है। सोमवार को एएसपी ग्रामीण डॉ. पवित्र मोहन त्रिपाठी को शासन ने हटाकर डीजीपी कार्यालय से अटैच कर दिया।

Yogesh Yadav हिन्दुस्तान, बहराइचMon, 21 Oct 2024 07:01 PM
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बहराइच बवाल मामले में शासन ने कार्रवाई शुरू कर दी है। सोमवार को एएसपी ग्रामीण डॉ. पवित्र मोहन त्रिपाठी को शासन ने हटाकर डीजीपी कार्यालय से अटैच कर दिया है। उनकी जगह प्रयागराज महाकुंभ में तैनात एएसपी दुर्गा प्रसाद तिवारी को एएसपी ग्रामीण के पद पर तैनाती मिली है। महाराजगंज बवाल मामले में इससे पहले छह अफसरों पर कार्रवाई हुई थी। एक दिन पहले ही सीएम योगी बवाल की रिपोर्ट सौंपी गई थी। इस एक्शन को उसी रिपोर्ट के आधार पर माना जा रहा है।

शासन ने एएसपी ग्रामीण को हटाकर जिले को शर्मसार करने वाले मामले में सख्त एक्शन का इशारा कर दिया है। माना जा रहा है कि धीरे-धीरे कई दोषी अफसरों को हटाया जाएगा। सोमवार को ही सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने हिंसा को लेकर सरकार पर बड़ा हमला बोला था। कहा था कि जीरो टॉलरेंस की बात करने वाली सरकार ने इतनी बड़ी हिंसा के बाद एसएचओ, सीओ और कुछ सिपाहियों को ही हटाया है। क्या यह पर्याप्त कार्रवाई है?

13 अक्तूबर को दुर्गा प्रतिमा विसर्जन जुलूस के दौरान हरदी थाने के महराजगंज में हुए बवाल में अराजकतत्वों ने रामगांव थाने के रेहुवा मंसूर निवासी 22 वर्षीय राम गोपाल मिश्रा की गोली मारकर हत्या कर दी थी। इस दौरान आगजनी और तोड़फोड़ भी हुई थी। एसपी वृंदा शुक्ला ने तब हरदी एसएचओ सुरेश वर्मा, महसी चौकी प्रभारी अशोक कुमार को निलंबित किया था। इसके बाद सीओ महसी रूपेंद्र गौड़ को निलंबित किया गया। महाराजगंज बवाल को लेकर जिला सूचना अधिकारी को भी जाना पड़ा। शासन स्तर पर और बड़ी कार्रवाई के आसार हैं।

गिरफ्तारी के डर से नेपाल में छिपे उपद्रवियों की तलाश

बवाल मामले में वीडयो फुटेज से चिह्नित किए गए कई उपद्रवियों ने नेपाल की राह पकड़ ली है। गिरफ्तारी के डर से वहीं छिपे हुए हैं। इनकी तलाश में पुलिस की अलग-अलग टीमें लगी हुई हैं, जो नेपाल पुलिस की मदद से इनको दबोचने की कोशिशें कर रही हैं। अब तक दर्ज मुकदमों में मुख्य आरोपितों समेत 112 लोगों की गिरफ्तारी करने में पुलिस कामयाब रही है।

मूर्ति विसर्जन जुलूस के दौरान 13 अक्टूबर को पथराव के बाद रामगोपाल की हत्या व दूसरे दिन 14 अक्टूबर को गुस्साई भीड़ के आगजनी व तोड़फोड़ मामले में लगातार उपद्रवियों पर कार्रवाई हो रही है। अब तक हरदी थाने व कोतवाली नगर में 14 मुकदमे दर्ज किए गए हैं। जिनमें 1304 लोग शामिल हैं। इनमें चार से अधिक मुकदमें पुलिस ने खुद ही दर्ज कराए हैं, जबकि अन्य मृतक के भाई व आगजनी का शिकार हुए पीड़ितों की तहरीर पर दर्ज हुए हैं। इस मामले में 112 लोगों को गिरफ्तार कर पुलिस जेल रवाना कर चुकी है।

वीडियो फुटेज के आधार पर लगातार ऐसे लोगों को चिंहित किया जा रहा है, जो परदे के पीछे रहकर खलनायक की भूमिका अदा करने में लगे रहे हैं। इनकी भी पहचान हो चुकी है, लेकिन इनमें अधिकांश दूसरे प्रदेश या फिर नेपाल में ठिकाना बना चुके हैं। इनके घर पर लगातार पुलिस दबिश संग गतिविधियों पर नजर रख रही है, ताकि ऐसे लोगों को जल्द से जल्द गिरफ्तार कर जेल भेजा जा सके।

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