Hindi Newsउत्तर प्रदेश न्यूज़बदायूंHealthcare Crisis at CHC Public Shifts to Private Doctors Amidst Poor Facilities

ककराला में बदहाल अस्पताल, झोलाछाप मालामाल

ककराला सीएचसी, जो दो लाख से अधिक लोगों का इलाज करती है, अब बीमार हो गई है। यहाँ की स्वास्थ्य सेवाएं खराब हैं, और स्टाफ अपनी जिम्मेदारी निभाने में असफल है। एक्स-रे मशीन और डेंटल चेयर की कमी से मरीजों...

Newswrap हिन्दुस्तान, बदायूंMon, 7 Oct 2024 01:58 AM
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लंबे समय से दो लाख से अधिक आबादी के इलाज का जिम्मा संभालने वाला सीएचसी खुद बीमाऱ है। 30 बेड की इस सीएचसी पर स्वास्थ्य सेवाएं बेपटरी हैं। यहां तैनात स्टाफ अपनी जिम्मेदारी निभाने से ज्यादा इलाज न मिल पाने का ठीकरा उच्चधिकारियो पर फोड़ते नजर आते हैं या फिर यहां की आवाम को कोसते नजर आते हैं। हालात यह है कि यहां रही सुविधाओं को दूसरी जगह शिफ्ट किया ज रहा है। इसकी वजह से चौपट चिकित्सा व्यवस्था का लाभ झोलाछाप उठा रहे हैं। झोलाछापों को चिकित्सा उपचार की छूट दे रखी है और वह मालामाल हो रहे हैं। ककराला सीएचसी से हाल ही में यहा की कलर्ड एक्स-रे मशीन बिसौली ले जाई गईं और कह दिया गया कि यहां लोग एक्स-रे कराने नहीं आ रहे थे। इसलिए उसको आवश्यकता वाली जगह बिसौली भेज दिया है। एक्स-रे टेक्नीशियन न होने से मौजूदा ब्लैक एंड व्हाइट पुरानी मशीन से एक्सरे नहीं हो पा रहे है। डेंटल चेयर टूट चुकी है जिसके आभाव मे मरीजों को दांतों का इलाज नहीं मिल पा रहा है। डेंटल हैजीनिस्ट के पद पर तैनात डॉक्टर शिशिर की ड्यूटी काम ना होने के चलते जिला मुख्यालय पर एपेड्मिक में लगा दी गईं हैं। इसके अलावा यहां तैनात डेंटल सर्जन सतीश कुमार के पास भी कोई काम नहीं बचा है और उनको सारा दिन ड्यूटी के नाम पर खाली बैठाकर समज गुजारना पड़ रहा है। साफ सफाई के नाम पर यहां ऊंची-ऊंची झाड़ियां नजर आती हैं और मच्छरों का वार्डों में भारी प्रकोप है। जिससे संक्रमक रोगों का खतरा और अधिक बढ़ गया है। यहां सफाई कर्मी भी तैनात है पर साफ-सफाई करने नहीं आती है। इसलिए अस्पताल बदहाली का शिकार हो गया है। इधर अस्पताल की बदहाली और अव्यवस्थाओं को लेकर चिकित्साधिकारी डॉ. भुवनेश कुमार नें सारा ठीकरा जनता के माथे फोड़ते हुए बताया की यहां दवाएं भरपूर मात्रा में उपलब्ध हैं और मलेरिया, टाइफाइड, डेंगू, वायरल बुखार, हीमोग्लोबिन,टीबी आदि की जांचे हो रही हैं। लोग स्वयं स्वास्थ्य सेवाओं का लाभ उठाना नहीं चाहते हैं। लोगो नें प्राइवेट डॉक्टर्स की तरफ रुख कर लिया है और उनसे इलाज कराना ज्यादा पसंद करते हैं। इधर यहां के स्टाफ की वायरल वीडियो के अनुसार प्राइवेट डाक्टरों का प्रचार करते नजर आ र हे हैं। यही कारण है कि कस्बा में झोलाछाप फलफूल रहे हैं और सरकारी अस्पताल बदहाली का शिकार हो रहा है।

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