काश जान लेने वाले मुआवजे में जीवन भी दे सकते, कस्टडी में मोहित पांडेय की मौत पर बोले अखिलेश
सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने राजधानी लखनऊ में पुलिस हिरासत में कारोबारी मोहित पांडेय की मौत के मामले में फिर भाजपा सरकार को घेरा है। उन्होंने कहा है कि काश जान लेने वाले मुआवजे में जीवन भी दे सकते।
सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने राजधानी लखनऊ में पुलिस हिरासत में कारोबारी मोहित पांडेय की मौत के मामले में फिर भाजपा सरकार को घेरा है। उन्होंने कहा है कि काश जान लेने वाले मुआवजे में जीवन भी दे सकते। दिवाली पर जिन्होंने किसी के घर का चिराग बुझाया है उम्मीद है वो झूठ के दीये नहीं जलाएंगे, झूठी रोशनी से अपने शासनकाल का घोर काला अंधकार मिटाने की कोशिश नहीं करेंगे।
अखिलेश यादव ने सोमवार को एक्स पर लिखा, जनता पूछ रही है, जिसकी हिरासत में मौत हुई है उस पर बुलडोज़र चलेगा? निंदनीय! अखिलेश यादव ने ऐसे समय में भाजपा सरकार पर हमला बोला है जब सीएम योगी ने मोहित पांडेय के परिजनों से मुलाकात की और आर्थिक सहायता का निर्देश अधिकारियों को दिया है।
एक अन्य बयान में अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा सरकार में कस्टोडियल मौतों के मामले में उत्तर प्रदेश हर साल नए रिकॉर्ड बना रहा है। भाजपा नेताओं और कार्यकर्ताओं के इशारे पर पुलिस निर्दोष लोगों को प्रताड़ित कर रही है। इस सरकार में पुलिस का व्यवहार शोषण और अत्याचारी बन गया है। प्रदेश में हर दिन पुलिस की खराब छवि सामने आती है। लखनऊ जैसी जगह में एक पखवारे में दो युवाओं की पुलिस पिटाई में मौत हो चुकी है।
उत्तर प्रदेश में 2021 में पुलिस हिरासत में 451 लोगों की मौते हुई थी। वहीं 2022 में यह आंकड़ा बढ़कर 501 हो गया। पुलिस हिरासत में मौतों का आंकड़ा लगातार बढ़ता जा रहा है। लखनऊ में दो सप्ताह पहले पुलिस पिटाई से विकास नगर में अमन गौतम की मौत हुई थी। शनिवार को लखनऊ पुलिस की पिटाई से चिनहट में मोहित पाण्डेय की मौत हो गयी। इस सरकार ने प्रदेश में लोकतंत्र और संविधान खत्म कर दिया है। तानाशाही और आतंक का राज स्थापित कर दिया है। पुलिस हिरासत में मौतों और फर्जी एनकाउंटरों से पूरे प्रदेश में उत्तर प्रदेश की छवि खराब हो रही है।