शाहवेद में आपदा राहत के चेक अपात्रों को बांटे
आरोप, सीएम के आने की हड़बड़ी में अफसरों ने मनमानी की
दो मई को आए तूफान ने भारी तबाही मचाई। शाहवेद में दो मौत हो गईं। बड़ी संख्या में लोगों के मकान क्षतिग्रस्त हो गए। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शनिवार को पीड़ित लोगों का दर्द बांटने के लिए शाहवेद गांव आए। जिनके मकान क्षतिग्रस्त हुए थे, उन्हें आर्थिक सहायता के चेक दिए। ग्रामीणों का आरोप है कि आपाधापी में प्रशासन ने बड़ी संख्या में ऐसे लोगों को राहत के चेक दिला दिए, जिनका कोई नुकसान नहीं हुआ है। यदि हुआ है तो बहुत कम। जिनका भारी नुकसान हुआ, वे मदद से वंचित रह गए।
रविवार को प्रधान केशवती देवी के पास पीड़ित लोग पहुंचे। प्रधानपति बिजेन्द्र सिंह ने बताया कि गांव के बड़ी संख्या में आए लोगों ने हंगामा किया। आरोप लगाया कि प्रशासन ने बिना जांच के अपात्रों को आर्थिक सहायता का चेक दिलवा दिया है। जिन लोगों का भारी नुकसान हुआ, वे परेशान हैं। कैलाशीराम पुत्र पतोला निवासी गढ़ी हीरालाल, ऊदल सिंह पुत्र कंचन सिंह निवासी गढ़ी हीरालाल आदि ने बताया कि उनके मकान पर नीम का पेड़ गिर गया था, जिससे मकान क्षतिग्रस्त हो गया। प्रशासन की तरफ से एक रुपया नहीं मिला। लक्ष्मन सिंह पुत्र लक्ष्मीनरायन ने बताया कि उनकी बकरी मर गई, टिनशेड उड़ गया। मुआवजा नहीं मिला। समोखीलाल ने बताया कि मकान क्षतिग्रस्त हो गया। आर्थिक सहायता नहीं मिली। इसी तरह नेहरेकापुरा, नन्दापुरा, घेर बघेल में बड़ी संख्या में पीड़ितों को आपदा राहत के नाम पर मदद नहीं मिली है।
इस संबंध में तहसीलदार संजय कुमार का कहना है कि मुख्यमंत्री के कार्यक्रम को लेकर लेखपाल के न होने पर नायब तहसीलदार स्तर से जांच कराकर पीड़ितों का चयन किया गया था। उन्हें ही चेक बांटे गए। कोई गलती नहीं हुई है। 134 लोगों को 7.86 लाख रुपये के चेक दिए गए हैं। पैसे की मांग की गई है। पैसा आने पर यदि कोई रह गया है तो जांच कराकर मदद दी जाएगी।
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