मोदी की घोषणाओं को झूठा साबित कर रही बीजेपी सरकार, राजस्थान के बजट पर अशोक गहलोत
राजस्थान विधानसभा में पेश बजट पर राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि यह प्रधानमंत्री मोदी की घोषणाओं को झूठा साबित कर रही हैं। कहा कि राजस्थान की भाजपा सरकार का बजट एक बार फिर मोदी की गारंटी पर भारी साबित हुआ है।
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राजस्थान विधानसभा में पेश बजट पर राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि यह प्रधानमंत्री मोदी की घोषणाओं को झूठा साबित कर रही हैं। कहा कि राजस्थान की भाजपा सरकार का बजट एक बार फिर मोदी की गारंटी पर भारी साबित हुआ है।
गहलोत ने कहा कि प्रधानमंत्री द्वारा 18 नवंबर 2023 को राजस्थान में वादा किया था कि जैसे ही यहां भाजपा सरकार बनेगी, राजस्थान के किसानों को पीएम किसान सम्मान निधि में 12 हजार रुपए मिलने शुरू हो जाएंगे। लेकिन, राजस्थान की भाजपा सरकार दूसरे बजट में भी केवल 9,000 रुपए ही किसान सम्मान निधि कर सकी है।
19 नवंबर 2023 को चूरू में प्रधानमंत्री ने वादा किया कि राजस्थान में भाजपा सरकार बनने पर पेट्रोल, डीजल के दाम पड़ोसी राज्य हरियाणा के समान हो जाएंगे, लेकिन सत्ता में आते ही ये गारंटी भी सरकार ने भुला दी है। हरियाणा में राजस्थान से 10 रुपए सस्ता पेट्रोल मिल रहा है।
भाजपा के घोषणा पत्र में बाजरे की न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीद एवं गेहूं की 2700 रुपए प्रति क्विंटल पर खरीद की गारंटी दी गई पर इस बजट में बाजरे की खरीद का कोई जिक्र नहीं हुआ। गेहूं पर केवल 150 रुपए बोनस की घोषणा की गई जो 2014 से पहले केंद्र और राज्य सरकार पहले ही दे रहे थे।
हमारी सरकार ने राजस्थान मिनिमम गारंटी एक्ट में सामाजिक सुरक्षा पेंशन में हर वर्ष 15 प्रतिशत बढ़ोतरी का प्रावधान किया था। इसी कारण पिछले बजट में सामाजिक सुरक्षा पेंशन 1000 से बढ़कर 1150 रुपए हुई थी। कानून के अनुसार इस वर्ष भी 15 प्रतिशत बढ़ोतरी होकर कम से कम 1322 रुपए होनी चाहिए थी, लेकिन इसे केवल 1250 रुपए किया गया है। यह जरूरतमंद लोगों के हितों से खिलवाड़ एवं कानून का उल्लंघन है।
पिछले बजट में राज्य सरकार ने एक साल में 1 लाख सरकारी नौकरी देने की घोषणा की थी। अब राज्य सरकार खुद ही मान रही है कि 59,000 नौकरियां ही दे पाई है जिनमें भी अधिकांश हमारे कार्यकाल में शुरू हुई भर्तियां थीं। अब सवा लाख नौकरियों की घोषणा अगले साल में की गई है जबकि सरकार द्वारा ही अगले साल में 81,000 नियुक्तियों का कैलेंडर जारी किया जा चुका है। यह केवल आंकड़ों में युवाओं को उलझाने का प्रयास है।
मुख्यमंत्री ने कुछ दिन पहले बाड़मेर रिफाइनरी में उत्पादन अप्रेल 2025 तक शुरू होने की बात कही थी, जिसे आज बजट में अगस्त 2025 कर दिया है। रिफाइनरी के साथ पेट्रोजोन को लेकर कोई घोषणा बजट में नहीं की गई। यह दिखाता है कि सरकार रिफाइनरी को लेकर गंभीर नहीं है।
ERCP के स्थान पर मॉडिफाइड PKC-ERCP योजना लाते समय भाजपा सरकार और तत्कालीन केन्द्रीय जलशक्ति मंत्री ने तर्क दिया था कि ये नई योजना इसलिए लाई गई है जिससे केंद्र 90 प्रतिशत फंडिंग करे और राजस्थान को केवल 5 प्रतिशत राशि देनी पड़े, बाकी 5 प्रतिशत मध्य प्रदेश दे। यह नई योजना करीब 45,000 करोड़ की योजना है। राजस्थान पहले ही 13,500 करोड़ रुपए के वित्तीय प्रावधान कर चुका है। आज पुन: सरकार ने 9500 करोड़ रुपए के बजट की घोषणा की है। क्या केन्द्र सरकार ने इस नई योजना के लिए बजट देने से इंकार कर दिया है क्योंकि केन्द्र के बजट में भी इस योजना का कोई जिक्र नहीं था। राज्य सरकार को इस पर स्थिति स्पष्ट करनी चाहिए।
गिग वर्कर्स को लेकर आज फिर से राज्य सरकार ने कागजी घोषणा की है। पिछले बजट में 250 करोड़ के फंड की घोषणा की जो केवल कागजों तक सीमित रही। अब इसे बढ़ाकर 350 करोड़ कर दिया गया है। सरकार को इस पर गंभीरता दिखानी चाहिए।
इस बजट में SPSC एवं ST कोष की राशि को 1750 करोड़ रुपए करने की घोषणा की है, लेकिन बजट 2024-25 में घोषित 1500 करोड़ रुपए की राशि का एक पैसा पिछले एक साल में जारी तक नहीं किया गया है। यह दलितों एवं आदिवासियों के प्रति भाजपा सरकार की भावना को स्पष्ट करता है।