सुप्रीम कोर्ट से सत्येन्द्र जैन को राहत, अंतरिम जमानत बढ़ाई, कैसे चली दलीलें?
आम आदमी पार्टी के नेता सत्येन्द्र जैन को सुप्रीम कोर्ट से बड़ी राहत मिली है। सुप्रीम कोर्ट ने मनी लॉन्ड्रिंग मामले में सत्येन्द्र जैन (Satyendar Jain) को दी गई अंतरिम जमानत अगले आदेश तक बढ़ा दी है।
सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को मनी लॉन्ड्रिंग मामले में आम आदमी पार्टी नेता सत्येन्द्र जैन को दी गई अंतरिम जमानत अगले आदेश तक बढ़ा दी। सत्येंद्र जैन (Satyendar Jain) की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने बहस की। अभिषेक मनु सिंघवी (Advocate Abhishek Manu Singhvi) की ओर से तारीख दिए जाने अनुरोध करने के बाद न्यायमूर्ति बेला एम. त्रिवेदी और न्यायमूर्ति सतीश चंद्र शर्मा की पीठ ने मामले को स्थगित कर दिया। अब अदालत कल यानी मंगलवार को तय करेगी कि मामले में कब सुनवाई होगी।
सत्येन्द्र जैन की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने अपनी दलील में कहा कि जैन ने मामले में सहयोग किया है। पूर्व मंत्री के खिलाफ कोई अपराध नहीं बनता है। कानून के मुताबिक, किसी कंपनी की संपत्ति का श्रेय कभी भी किसी शेयरधारक या निदेशक को नहीं दिया जा सकता है। फिर कंपनी में मौजूद पैसे का श्रेय सत्येन्द्र जैन को कैसे दिया जा सकता है। वहीं अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एसवी राजू जांच एजेंसी की ओर से पेश हुए।
सत्येन्द्र जैन की जमानत पर सुनवाई में कई मोड़ आए क्योंकि मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ ने बताया कि मामले को विभिन्न पीठों के संयोजन के समक्ष सूचीबद्ध किया गया है। ऐसा इसलिए क्योंकि यह जमानत के विस्तार से संबंधित मामला है। सीजेआई ने न्यायमूर्ति एएस बोपन्ना से आंशिक सुनवाई वाले मामलों को लेने के लिए प्राप्त संचार का भी उल्लेख किया क्योंकि वह चिकित्सा कारणों से मामले की सुनवाई नहीं कर पाएंगे।
इससे पहले, जैन की जमानत याचिका पर जस्टिस एएस बोपन्ना और बेला एम. त्रिवेदी की पीठ ने आंशिक रूप से सुनवाई की थी। आज यह मामला न्यायमूर्ति त्रिवेदी और न्यायमूर्ति सतीश चंद्र शर्मा की पीठ के समक्ष सूचीबद्ध था। मालूम हो कि जैन की 21 जुलाई को सर्जरी हुई थी। जैन को चिकित्सा आधार पर दी गई अंतरिम जमानत समय-समय पर बढ़ाई जाती रही है। शीर्ष अदालत ने 26 मई को मनी लॉन्ड्रिंग मामले में सत्येंद्र जैन को छह सप्ताह के लिए अंतरिम जमानत दी थी, लेकिन मीडिया से बात नहीं करने और बिना अनुमति के दिल्ली छोड़ने समेत कई शर्तें लगाई थीं।