हरियाणा-यूपी NCR में ना करें कोयले की आपूर्ति, CAQM ने वायु प्रदूषण की वजह से दिया निर्देश
वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग वायु प्रदूषण के लिए सबसे ज्यादा जिम्मेदार कारकों जैसे की कोयला, भट्टी के तेल तथा इस जैसे अन्य ज्वलनशील पदार्थों से होने वाले प्रदूषण को रोकने की दिशा में काम करता है
वायु प्रदूषण को रोकने के अपने ठोस प्रयासों को जारी रखते हुए वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (CA QM) ने कोल इंडिया सहित हरियाणा और यूपी सरकार को यह सुनिश्चित करने की सलाह दी है कि कोल इंडिया की कोल फर्मों द्वारा दिल्ली-एनसीआर में काम करने वाले आपूर्तकर्ताओं, स्टॉकिस्टों और एजेंटों को कोयला की आपूर्ति ना की जाए। गौरतलब है कि वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग वायु प्रदूषण के लिए सबसे ज्यादा जिम्मेदार कारकों जैसे की कोयला, भट्टी के तेल तथा इस जैसे अन्य ज्वलनशील पदार्थों से होने वाले प्रदूषण को रोकने की दिशा में काम करता है।
वन एवं पर्यावरण मंत्रालय ने दी अहम जानकारी
केंद्रीय पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय द्वारा जारी बयान में कहा गया है कि आयोग ने सभी स्टॉकिस्टों, व्यापारियों और कोयले के डीलरों सहित सभी संस्थाओं तथा उद्योगों को भी सलाह दी है कि वे निर्देशों का अनुपालन करें। कहा गया है कि एनसीआर में कोयले की आपूर्ति बंद होनी चाहिए। थर्मल पावर प्लांट्स के अतिरिक्त बाकभी सभी फर्मों द्वारा कोयले के उपयोग या व्यापार पर रोक लगाने की बात कही गई है। आयोग द्वारा जारी निर्देश के मुताबिक 1 जनवरी 2023 से ही पूरे एनसीआर क्षेत्र में औद्योगिक तथा वाणिज्यिक कार्यों में कोयला या इस तरह के अन्य ईंधन के उपयोग को पूरी तरह से खत्म करने की जरूरत पर बल दिया गया है। गौरतलब है कि दिल्ली-एनसीआर में वायु प्रदूषण की वजह से हवा वातावरण दमघोंटू हो जाता है। हर साल वायु प्रदूषण को कम करने के उपायों पर चर्चा होती है लेकिन समस्या जस की तस बनी हुई है।
घरेलु-औद्योगिक कामों में कोयले का इस्तेमाल हो बंद
गौरतलब है कि आयोग द्वारा 2 जून 2022 को जारी निर्देश संख्या-64 और 23 जून 2022 को जारी निर्देश संख्या-65 के मुताबिक एनसीआर में घरेलु अथवा औद्योगिक उपयोग के लिए प्रीसिमिबल ईंधन के संबंध में वैधानिक निर्देश जारी किया गया था। बता दें कि इस समय एनसीआर में थर्मल पावर प्लांट को छोड़कर बाकी सभी जगहों पर कोयले का उपयोग पूरी तरह से प्रतिबंधित है। आयोग के मुताबिक एनसीआर में आम ईंधन की सूची में कोयला शामिल नहीं है। मंत्रालय ने कहा कि आयोग के निर्देशों का अनुपालन करते हुए हरियाणा, यूपी, राजस्थान और एनसीआर क्षेत्र में 84 वैसी औद्योगिक इकाइयां स्थायी या अस्थायी रूप से बंद कर दी गईं जो अनुमोदित ईंधन का इस्तेमाल नहीं कर रही थी।
1 जनवरी 2023 को आयोग ने जारी किया था निर्देश
मंत्रालय का कहना है कि आयोग ने 1 जनवरी 2023 को जो निर्देश जारी किया था उसके बाद से काफी सुधार आया है। केवल 2 इकाइयां वैसे ईंधन का इस्तेमाल करती पाई गईं जो प्रदूषणकारी है। कहा कि आयोग का उड़न दस्ता पूरे एनसीआर में स्वीकृत ईंधन का इस्तेमाल सुनिश्चित कराने हेतु समय-समय पर निरीक्षण करेगा और जरूरत पड़ने पर उचित कार्रवाई करेगा।