Hindi Newsएनसीआर न्यूज़AAP demanded resignation of Lt Governor VK Saxena alleging he had role in felling of trees in ridge area

रिज क्षेत्र में पेड़ों की कटाई पर तेज हुई लड़ाई, AAP का आरोप- एलजी की है भूमिका, मांगा इस्तीफा

दिल्ली सरकार के मंत्री सौरभ भारद्वाज ने आरोप लगाते हुए कहा, 'मैं दिल्ली के लोगों से कहना चाहता हूं कि एलजी ने 1,100 पेड़ों को अवैध तरीके से गिरवाया और इसका आरोपी दूसरों पर मढ़ने की कोशिश की है।'

Nishant Nandan पीटीआई, नई दिल्लीMon, 24 June 2024 07:26 PM
share Share

राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली के रिज क्षेत्र में पेड़ों की कटाई को लेकर सुप्रीम कोर्ट के सख्त रवैये के बाद अब आम आदमी पार्टी ने इसे लेकर उपराज्यपाल का इस्तीफा मांगा है। आम आदमी पार्टी का आरोप है कि रिज क्षेत्र में 1100 पेड़ों की कटाई में एलजी विनय कुमार सक्सेना की भूमिका थी इसलिए उन्हें अपने पद से इस्तीफा देना चाहिए। AAP के वरिष्ठ नेता और दिल्ली सरकार के मंत्री सौरभ भारद्वाज ने एक संवाददाता सम्मेलन में आरोप लगाया कि 3 फरवरी को एलजी के दौरे के बाद बिना किसी अनुमति के रिज क्षेत्र में 1100 पेड़ गिरा दिए गए। अभी तक AAP नेता के इन आरोपों पर एलजी कार्यालय की तरफ से कोई जवाब नहीं आया है। 

सौरभ भारद्वाज ने आरोप लगाते हुए कहा, 'मैं दिल्ली के लोगों से कहना चाहता हूं कि एलजी ने 1,100 पेड़ों को अवैध तरीके से गिरवाया और इसका आरोपी दूसरों पर मढ़ने की कोशिश की, उन्होंने सुप्रीम कोर्ट को बरगलाया और फिर कोर्ट ने उन्हें बेनकाब कर दिया।'

सौरभ भारद्वाज ने आगे कहा, 'मैं समझता हूं कि उन्हें नैतिकता के आधार पर इस्तीफा देना चाहिए। उन्हें एक दिन भी उपराज्यपाल के पद पर रहने का कोई हक नहीं है।' इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को Delhi Development Authority (DDA) के वाइस चांसलर से स्पष्ट तौर पर पछा है कि क्या रिज क्षेत्र के पेड़ बिना उसके आदेश के एलजी के आदेश पर काटे गए हैं? अदालत ने यह भी पूछा है कि क्या 3 फरवरी को उपराज्यपाल के रिज क्षेत्र के दौरे को लेकर कोई आधिकारिक रिकॉर्ड मौजूद है। शीर्ष अदालत ने कहा है कि हमें वाइस चांसलर से तथ्य चाहिए, क्योंकि अगर ईमेल सही बता रहे हैं तब एलजी के आदेश पर पेड़ गिराए गए हैं।'

चौंक गया सुप्रीम कोर्ट

आपको बता दें कि दक्षिणी रिज के सतबरी इलाके में छतरपुर से साउथ एशियन यूनिवर्सिटी तक सड़क बनाने के लिए पेड़ों को गिराया गया था। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि यह काफी चौंकाने वाला है कि पेड़ों को काटा गया और वो भी यह जानते हुए कि इन्हें बिना सुप्रीम कोर्ट के आदेश के नहीं काटा जा सकता है। सौरभ भारद्वाज ने दावा किया कि संबंधित अथॉरिटी ने इस मामले को दबाए रखा था और यह मामला तब प्रकाश में आया जब एक गैर सरकारी संस्था ने इसपर सवाल उठाए। 

एलजी के मौखिक आदेश पर गिराए पेड़ - सौरभ

डीडीए ने मार्च के महीने में 1,100 पेड़ों को गिराने के लिए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था। 4 मार्च को सुप्रीम कोर्ट ने डीडीए की याचिका खारिज कर दी थी। मई में एनजीओ ने शीर्ष अदालत को बताया था कि सिर्फ फरवरी महीने में 1100 पेड़ गिरा दिए गए। सौरभ भारद्वाज ने दावा किया है कि एलजी के मौखिक आदेश पर पेड़ों को गिरा दिया गया लेकिन डीडीए के किसी भी अफसर को आवाज उठाने की हिम्मत नहीं हुई।

अगला लेखऐप पर पढ़ें