जीडीपी वृद्धि सरकारी अनुमान से कम रहेगी
नई दिल्ली, एसबीआई की रिपोर्ट के अनुसार, चालू वित्त वर्ष में आर्थिक वृद्धि दर 6.3 प्रतिशत रहने की उम्मीद है, जो सरकारी अनुमान से थोड़ी कम है। विनिर्माण क्षेत्र की खराब स्थिति और कमजोर निवेश के चलते...
नई दिल्ली, एजेंसी। देश के अग्रणी बैंक एसबीआई की एक शोध रिपोर्ट में बुधवार को कहा गया कि चालू वित्त वर्ष में आर्थिक वृद्धि दर लगभग 6.3 प्रतिशत रहने की उम्मीद है, जो 6.4 प्रतिशत के सरकारी अनुमान से थोड़ा कम है। एक दिन पहले ही राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय ने वित्त वर्ष 2024-25 में सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि दर चार साल के निचले स्तर 6.4 प्रतिशत पर रहने का अनुमान जताया है। विनिर्माण क्षेत्र के खराब प्रदर्शन और कमजोर निवेश के कारण वृद्धि दर धीमी होने की बात कही गई। इसके पहले आरबीआई ने दिसंबर में कहा था कि चालू वित्त वर्ष में वृद्धि दर 6.6 प्रतिशत रह सकती है।
एसबीआई की शोध रिपोर्ट 'इकोरैप' के मुताबिक, आरबीआई और एनएसओ के अनुमानों के बीच का अंतर हमेशा ही 0.20-0.30 प्रतिशत की सीमा में रहता आया है। लिहाजा वित्त वर्ष 2024-25 के लिए 6.4 प्रतिशत का अनुमान अपेक्षित और उचित है।
एसबीआई के समूह मुख्य आर्थिक सलाहकार सौम्य कांति घोष द्वारा लिखित यह रिपोर्ट कहती है कि वास्तविक जीडीपी वृद्धि में सुस्ती और मौजूदा कीमतों पर जीडीपी के आकार में बढ़ोतरी लगभग स्थिर रहने के बावजूद चालू वित्त वर्ष में बाजार मूल्य पर प्रति व्यक्ति जीडीपी में उल्लेखनीय वृद्धि होने की उम्मीद है। रिपोर्ट के मुताबिक, सकल घरेलू उत्पाद का पहला अग्रिम अनुमान सामान्य रूप से 2024-25 में समग्र मांग में सुस्ती को दर्शाता है।
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