मप्र: ग्वालियर में बनी देश की पहली आत्मनिर्भर गौशाला
बायो सीएनजी संयंत्र से युक्त आधुनिक गौशाला बनाने में हुए 32 करोड़ खर्च मप्र: ग्वालियर में बनी देश की पहली आत्मनिर्भर गौशाला
बायो सीएनजी संयंत्र से युक्त आधुनिक गौशाला बनाने में हुए 32 करोड़ खर्च इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन करेगा संयंत्र के संचालन और रखरखाव में सहायता
भोपाल, एजेंसी। मध्यप्रदेश के ग्वालियर में बायो सीएनजी संयंत्र से युक्त एक गौशाला स्थापित की गई है। इसमें 100 टन गाय के गोबर का इस्तेमाल करके प्रतिदिन तीन टन गैस का उत्पादन किया जा सकता है। इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन (आईओसी) के सहयोग से स्थापित यह भारत की पहली आधुनिक और आत्मनिर्भर गौशाला है। जनसंपर्क विभाग के अधिकारी ने मंगलवार को यह जानकारी दी।
अधिकारी ने कहा कि संयंत्र में 100 टन गाय के गोबर का उपयोग करके प्रतिदिन तीन टन सीएनजी और 20 टन उच्च गुणवत्ता वाली जैविक खाद का उत्पादन किया जाएगा। आईओसी संयंत्र के संचालन और रखरखाव में सहायता करेगा।
अधिकारी ने बताया कि गौशाला का निर्माण आईओसी के कॉरपोरेट सामाजिक दायित्व कोष से 32 करोड़ रुपये की लागत से किया गया है। इसके भविष्य के विस्तार को देखते हुए इसके लिए एक हेक्टेयर अतिरिक्त भूमि आरक्षित की गई है। दो हजार गौवंश के लिए आधुनिक गौशाला के निर्माण के लिए सांसद के स्थानीय क्षेत्र विकास कोष से दो करोड़ रुपये उपलब्ध कराए गए।
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के राष्ट्र के लिए ‘अपशिष्ट से धन के सपने को साकार करने के लिए आभार व्यक्त किया तथा गायों की देखभाल करने वाले संतों और श्रद्धालुओं के समुदाय को धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा, राज्य सरकार इस पहल के विस्तार के लिए हर संभव सहयोग देगी। यहां यह याद रखना जरूरी है कि इंदौर में एशिया का सबसे बड़ा बायो सीएनजी संयंत्र चालू है, जिसका उद्घाटन प्रधानमंत्री ने किया था।
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