खेल : भारत और चीन में होगी खिताबी टक्कर
भारतीय महिला हॉकी टीम ने एशियाई चैंपियंस ट्रॉफी के सेमीफाइनल में जापान को 2-0 से हराकर फाइनल में जगह बनाई। टीम अब चीन से भिड़ेगी, जिसने मलेशिया को 3-1 से हराया। भारत ने 16 पेनाल्टी कॉर्नर में से एक भी...
शोल्डर : चैंपियंस ट्रॉफी : भारतीय महिला हॉकी टीम ने सेमीफाइनल में जापान तो चीन ने मलेशिया को दी पटखनी, मेजबान टीम ने चौथे क्वार्टर में दागे दोनों गोल बिहार शरीफ, हिन्दुस्तान ब्यूरो। भारतीय महिला हॉकी टीम ने मंगलवार को लगातार दूसरी जबकि कुल पांचवीं बार एशियाई चैंपियंस ट्रॉफी के फाइनल का टिकट कटा लिया। अब अपने खिताब का बचाव करने के लिए बुधवार को टीम का सामना चीन से होगा। दोनों टीमें आठ साल बार फाइनल में आमने-सामने होंगी। भारत ने सेमीफाइनल में जापान को 2-0 से जबकि ने मलेशिया को 3-1 से हराया।
आठ मिनट में दो गोल : पहले तीन क्वार्टर में दर्जन भर से अधिक पेनाल्टी कॉर्नर गंवाने के बाद भारत ने आखिरी क्वार्टर में आठ मिनट के भीतर दोनों गोल दागे। नवनीत कौर ने 48वें मिनट में पेनाल्टी स्ट्रोक पर भारत का खाता खोला। वहीं लालरेम्सियामी ने 56वें मिनट में सुनेलिटा टोप्पो के बेहतरीन पास पर खूबसूरत मैदानी गोल कर टीम की जीत पक्की की। स्टार ड्रैक फ्लिकर दीपिका इस टूर्नामेंट में पहली बार कोई गोल नहीं कर सकी।
16 पेनाल्टी कॉर्नर पर गोल नहीं : पेनाल्टी कॉर्नर भारतीय टीम के लिए कमजोर कड़ी साबित हो रही है। इसने फाइनल से पहले कोच हरेंद्र सिंह की परेशानी बढ़ा दी है। भारतीय टीम 48 मिनट तक गोल के लिए तरसती रही। भारत को पूरे मैच में 16 पेनाल्टी कॉर्नर मिले लेकिन एक पर भी गोल नहीं हो सका। जापान को मैच का एकमात्र पेनाल्टी कॉर्नर 59वें मिनट में मिला जिसे भारतीय गोलकीपर बिछू देवी ने गोल में नहीं बदलने दिया। मैच में पहले दो क्वार्टर में भारतीय टीम को नौ पेनाल्टी कॉर्नर मिले और 13 बार टीम जापानी सर्कल में भी घुसी लेकिन गोल नहीं हो सका। गेंद पर नियंत्रण के मामले में भी भारतीय टीम आगे रही लेकिन फिनिशिंग तक नहीं ले जा पाने से डगआउट के पास खड़े कोच की हताशा साफ नजर आ रही थी।
बाक्स
नंबर गेम
-5वीं बार भारतीय टीम फाइनल में पहुंची। उसने दक्षिण कोरिया का सर्वाधिक (4) बार खिताबी मुकाबले में पहुंचने का रिकॉर्ड तोड़ा
-8 साल बाद चीन फाइनल में पहुंचा। उसे 2011 और 2016 में खिताबी मुकाबले में दक्षिण कोरिया से मात मिली थी
दूसरी बार खिताब के लिए आमने-सामने
टूर्नामेंट के 14 साल के इतिहास में यह दूसरा मौका होगा जब दोनों टीमें खिताब के लिए आपस में टकराएंगी। इससे पहले सिंगापुर में 2016 में भारत ने चीन को 2-1 से हराकर यह खिताब जीता था। भारतीय टीम की निगाह लगातार दूसरे और कुल (2016, 2023) पर है। तो चीन पहली बार इस ट्रॉफी पर कब्जा करना चाहेगा। टूर्नामेंट की शुरुआत 2010 में चार टीमों के साथ हुई थी। भारत में खेले जा रहे पिछले लगातार दो संस्करणों से छह-छह टीमों ने इसमें चुनौती पेश की।
भारत बनेगा दूसरा देश : भारतीय टीम मंगलवार को अगर खिताब का बचाव करने में सफल रहती हैं तो वह पिछले 13 साल में यह उपलब्धि हासिल करने वाली पहली जबकि कुल दूसरी टीम बनेगी। अब तक दक्षिण कोरिया (2010, 2011) ही लगातार दो बार यह खिताब जीत पाया है। साथ ही भारतीय टीम कोरिया के तीन बार यह ट्रॉफी जीतने के रिकॉर्ड की भी बराबरी कर लेगी। वहीं, अगर चीन ट्रॉफी जीतने में सफल रहता है तो वह यह खिताब जीतने वाला चौथा देश बनेगा।
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