दिल्ली छोड़कर : रैपिड का सफर ::: अब तक 51 लाख लोगों ने किया सफर, चौथे चरण का आज श्रीगणेश
मेरठ से दिल्ली के बीच हाईस्पीड रैपिड रेल कॉरिडोर का सपना साकार होने जा रहा है। 5 जनवरी 2025 से आनंद विहार, न्यू अशोक नगर तक सफर की सुविधा मिलेगी। अब मात्र 27 किलोमीटर का काम रह जाएगा, जिसमें 14-15...
राहत : मेरठ में सिर्फ 23 तो दिल्ली में चार किमी. का काम बाकी -नये साल पर आज मिल रहा आनंद विहार, न्यू अशोक नगर तक सफर का तोहफा
-फिर 27 किलोमीटर का काम रह जाएगा बाकी, दावा-मात्र 14 से 15 प्रतिशत काम है बाकी
-परतापुर से लोग आसानी से जा सकेंगे दिल्ली की सीमा में
-छह महीने में मेरठ के मोदीपुरम से दिल्ली सराय काले खां तक होगा सफर
-82 किमी का सफर मात्र 50 मिनट में
मेरठ, राकेश प्रियदर्शी। मेरठ से दिल्ली के बीच हाईस्पीड रैपिड रेल कॉरिडोर का सपना अब बस साकार होने जा रहा है। नये साल की पांचवी तारीख से मेरठ के लोगों को आनन्द विहार, न्यू अशोक नगर तक सफर का अवसर मिलने जा रहा है। बस मेरठ शहर के बीच सफर के लिए करीब छह माह का इंतजार बाकी है। जून-2025 से मेरठ के मोदीपुरम से दिल्ली के सराय काले खां के बीच रैपिड का सफर सुहाना हो जाएगा। मात्र 27 किलोमीटर में संचालन होना अब बाकी रहेगा, जिसमें करीब 14-15 प्रतिशत काम बाकी है। ‘हिन्दुस्तान ने शनिवार को इसकी पड़ताल की। अधिकारियों, इंजीनियरों से बात की। दावा है कि छह महीने में मेरठ से दिल्ली दूर नहीं होगी। 82 किलोमीटर का सफर मात्र 50 मिनट में तय होगा।
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डेढ़ दशक पूर्व देखा गया था रैपिड का सपना
वर्ष 2009 में मेरठ विकास प्राधिकरण की बैठक में एनसीआर प्लानिंग बोर्ड की एक समीक्षा बैठक में मेरठ से दिल्ली के बीच हाईस्पीड रैपिड रेल का सपना दिखाया गया था। इसके बाद लगातार रैपिड के सपने को लेकर बैठकों का दौर, सर्वे का काम चलता रहा। बाद में इस सपने को साकार करने के लिए एनसीआरपीबी के अंतर्गत एनसीआरटीसी का गठन हुआ। प्रदेश सरकार की ओर से मेरठ मंडल के कमिश्नर भुवनेश कुमार पहले प्रतिनिधि नामित हुए थे। तब से लगातार इस प्रोजेक्ट पर काम चलता रहा। अब जाकर रैपिड का सपना साकार होता दिख रहा है।
2019 में हुआ था शिलान्यास, 2023 में चली पहली रैपिड
2019 में लोकसभा चुनाव से ठीक पहले प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने गाजियाबाद में रैपिड रेल निर्माण का शिलान्यास किया था। तब से लगातार काम चलता रहा। 20 अक्टूबर 2023 को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भारत के प्रथम दिल्ली-मेरठ नमो भारत कॉरिडोर का उद्घाटन किया था। इस अवसर पर साहिबाबाद और दुहाई डिपो के बीच 17 किलोमीटर के पहले चरण को राष्ट्र के नाम समर्पित किया गया और पहली नमो भारत ट्रेनों को हरी झंडी दिखाई गई। इस उपलब्धि ने मेरठ, मोदीनगर क्षेत्र के यात्रियों के लिए 2024 की एक आशाजनक शुरुआत की। छह मार्च 2024 को कॉरिडोर के 17 किलोमीटर के दूसरे चरण में रैपिड का मोदीनगर नार्थ तक का खंड जनता के लिए चालू किया गया। 18 अगस्त 2024 को आठ किलोमीटर और बढ़ाते हुए मेरठ साउथ तक विस्तारित किया गया। अब पांच जनवरी 2025 को रैपिड मेरठ साउथ से दिल्ली की सीमा में आनंद विहार, न्यू अशोक नगर तक पहुंच जाएगी।
51 लाख से अधिक यात्री कर चुके यात्रा
अपनी गति, विश्वसनीयता और आरामदायक यात्रा से रैपिड रेल की नमो भारत सेवा मेरठ से साहिबाबाद के बीच सफर करने वाले यात्रियों के बीच लोकप्रिय हो गई है। एनसीआरटीसी के अधिकारियों के अनुसार अभी तक 51 लाख से ज़्यादा यात्री नमो भारत ट्रेन से यात्रा कर चुके हैं। अर्थात 11 हजार 333 यात्री प्रतिदिन अभी सफर रहे हैं, जबकि रैपिड का सफर अभी 42 किलोमीटर का ही है। यह यात्रियों का बहुत बड़ा विश्वास है।
27 किमी में 14-15 प्रतिशत काम है बाकी
एनसीआरटीसी के इंजीनियरों और अधिकारियों की मानें तो न्यू अशोक नगर सेक्शन चालू होने के बाद कुल 27 किलोमीटर सेक्शन में रैपिड का संचालन बाकी रह जाएगा। मेरठ में मेरठ साउथ(परतापुर) से मोदीपुरम के बीच 23 किलोमीटर में सिविल निर्माण का काम पूर्ण हो चुका है। एलिवेटेड और अंडरग्राउन्ड सारे सिविल निर्माण पूर्ण कराकर स्ट्रक्चर खड़े कर दिये गये हैं। विद्युतीकरण, सिग्नलिंग, सौंदर्यीकरण को फाइनल टच दिया जा रहा है। इसी तरह दिल्ली की ओर से न्यू अशोक नगर से सराय काले खां के बीच चार किलोमीटर सेक्शन में भी तेजी से काम चल रहा है। ओवरऑल 14-15 प्रतिशत काम संचालन के लिए बचा है, जो हर हाल में जून तक पूर्ण हो जाएगा। इसके बाद मेरठ के मोदीपुरम से दिल्ली के सराय काले खां तक 82 किलोमीटर का सफर मुश्किल से 50 मिनट में तय होने लगेगा।
इन स्टेशनों का हो चुका निर्माण, फाइनल टच दिया जा
-परतापुर, रिठानी, शताब्दीनगर सेक्शन में तीनों स्टेशन का निर्माण कार्य पूर्ण। फाइनल टच दिया जा रहा।
-ब्रहमपुरी, मेरठ सेंट्रल, भैसाली, बेगमपुल, एमईएस कालोनी(गांधी बाग), डोरली, मेरठ नार्थ, मोदीपुरम स्टेशन का निर्माण हो चुका। विद्युतीकरण, सिग्नलिंग और सौंदर्यीकरण कार्य जारी।
-सराय काले खां स्टेशन का स्ट्रक्चर तैयार। अन्य कार्यो को दिया जा रहा फाइनल टच।
-दिल्ली में सराय काले खां से जंगपुरा, मोदीपुरम से मोदीपुरम डिपो के बीच निर्माण कार्य अंतिम चरण में।
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डिजिट नंबर
मेरठ के दो से 2.5 लाख यात्रियों को होगा फायदा
माना जा रहा है कि दिल्ली से मेरठ के बीच प्रतिदिन करीब दो से ढाई लाख यात्रियों को आने-जाने में फायदा होगा।
- सबसे ज्यादा 50 से 60 हजार छात्रों का हर दिन आना-जाना रहता है दिल्ली-मेरठ के बीच
- 40 से 50 हजार छोटे व्यापारी, उद्यमियों का रहता है आना-जाना
- 15 से 20 हजार सरकारी, निजी कर्मचारी आते-जाते हैं दिल्ली-मेरठ के बीच।
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मेरठ के हर वर्ग को मिलेगी विशेष सुविधा
मेरा और मेरठ के उद्यमियों का मानना है कि रैपिड रेल के संचालन से मेरठ के हर वर्ग को मिलेगी सुविधा। उद्यमियों को आने-जाने में जो दिक्कत थी तो वह समाप्त हो जाएगी। वर्कर और कच्चे माल, बने सामान को लेकर तो बड़ी सुविधा मिलेगी।
-पंकज गुप्ता, पूर्व चेयरमैन, आईआईए।
अब दिल्ली और मेरठ में नौकरी करना होगा आसान
मैं दिल्ली के एक मंत्रालय में काम करता हूं। हर दिन सुबह जाना और शाम को वापस लौटना होता है। आने-जाने में अभी करीब चार घंटे का समय लगता है। रैपिड के संचालन से यह दो घंटे से कम समय में हो जाएगा। दिल्ली और मेरठ में नौकरी करना आसान होगा
-संजीव कुमार मिश्रा, नौकरी पेशा।
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