वाहन पाबंदी पर हुई कार्रवाई की हर तीन माह में रिपोर्ट तैयार होगी
दिल्ली में प्रदूषण को कम करने के लिए वाहनों पर पाबंदियां सख्त की जाएंगी। 1 नवंबर से केवल बीएस चार मानकों वाले, सीएनजी, एलएनजी या इलेक्ट्रिक वाहनों को ही दिल्ली में प्रवेश मिलेगा। आयोग ने परिवहन और...

नई दिल्ली, प्रमुख संवाददाता। दिल्ली में जाड़े के समय होने वाले प्रदूषण से बचाने के लिए वाहनों पर अब पाबंदी पहले से ज्यादा सख्त होने वाली है। केन्द्रीय वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग ने व्यावसायिक वाहनों के दिल्ली में प्रवेश पर एक नवंबर से पाबंदियों को कड़ा किया है, जबकि पाबंदियों को लागू कराने के लिए हर तीन महीने में इसकी रिपोर्ट तैयार करने के संस्थाओं को निर्देश दिए हैं। दिल्ली में प्रदूषण की बड़ी वजहों में वाहनों से निकलने वाले धुएं को शामिल किया जाता है। अलग-अलग शोध बताते हैं कि दिल्ली में होने वाले प्रदूषण में वाहनों के धुएं की हिस्सेदारी 40 फीसदी या उससे ज्यादा है। इसलिए हर साल ग्रैप के तीसरे और चौथे चरण में वाहनों के संचालन पर अलग-अलग पाबंदियां लगाई जाती है। अब कुछ पाबंदियां हमेशा के लिए लागू होने वाली हैं। केन्द्रीय वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग ने एक नवंबर से ऐसे एलजीवी, एमजीवी और एचजीवी वाहनों को ही दिल्ली में प्रवेश दिया जाएगा, जो बीएस चार मानकों वाले, सीएनजी, एलएनजी या इलेक्ट्रिक संचालित हों। अभी तक आवश्यक सेवाओं में लगे ऐसे माल वाहनों को छूट दी जाती थी, लेकिन अब आयोग ने इनके लिए भी 31 अक्तूबर, 2026 की समय सीमा तय कर दी है।
आयोग ने परिवहन विभाग और यातायात विभाग से इन पाबंदियों को लेकर हर तीन महीने में रिपोर्ट तैयार करने को कहा है। ताकि, पाबंदियों को लागू कराना सुनिश्चित हो सके और इसमें आने वाली कमियों को भी दूर किया जा सके। आयोग ने परिवहन विभाग और यातायात विभाग को इन प्रतिबंधों के अनुसार ही दिल्ली की सीमाओं पर आवश्यक तैयारी करने के निर्देश दिए हैं। ताकि, एक नवंबर से इन्हें लागू कराया जा सके।
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