Hindi Newsएनसीआर न्यूज़Human Rights Commission issued notice to Delhi DM-DCP in Gangster Tillu Tajpuria Murder case in Tihar Jail

तिहाड़ में टिल्लू ताजपुरिया के मर्डर मामले में NHRC की सख्ती, दिल्ली के डीएम-डीसीपी को भेजे नोटिस

मानवाधिकार आयोग ने यह कार्रवाई रामपुर के आरटीआई एक्टिविस्ट दानिश खान के उस पत्र पर की है, जिसमें उन्होंने आयोग से अपील की थी कि आयोग से बार-बार रिमाइंडर के बाद भी संबंधित अधिकारी मामले को दबाने में लगे हैं

Praveen Sharma हिन्दुस्तान, नई दिल्ली/रामपुरWed, 2 Oct 2024 06:02 AM
share Share

दिल्ली की तिहाड़ जेल के अंदर गैंगस्टर टिल्लू ताजपुरिया की नृशंस हत्या के मामले में राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने सख्ती दिखाई है। आधी-अधूरी रिपोर्ट भेजने से नाराज आयोग ने दिल्ली के डीजी जेल, डीएम और डीसीपी को अंतिम नोटिस जारी करते हुए चेतावनी दी है कि 22 नवंबर तक विस्तृत रिपोर्ट साक्ष्यों के साथ आयोग में दाखिल करें अन्यथा उनके खिलाफ आयोग अपनी शक्तियों का इस्तेमाल करते हुए कड़ी कार्रवाई करेगा।

मानवाधिकार आयोग ने यह कार्रवाई रामपुर के आरटीआई एक्टिविस्ट दानिश खान के उस पत्र पर की है, जिसमें उन्होंने आयोग से अपील की थी कि आयोग से बार-बार रिमाइंडर के बाद भी संबंधित अधिकारी मामले को दबाने में लगे हैं और साक्ष्य आयोग में पेश नहीं कर रहे हैं।

Gangster Tillu Tajpuria Murder in Tihar Jail File Photo

रामपुर के आरटीआई एक्टिविस्ट दानिश खां ने एनएचआरसी के अध्यक्ष को शिकायत की थी। इसमें कहा गया था कि दिल्ली स्थित तिहाड़ जेल देश की अति सुरक्षित जेल मानी जाती है, लेकिन वहां आए दिन गैंगवार की घटनाएं हो रही हैं। आरोप लगाया कि यह सब जेल अधीक्षक और जेल प्रशासन की मिलीभगत से ही संभव है। इनकी भूमिका संदिग्ध है। इसी के चलते 2 मई को टिल्लू ताजपुरिया की जेल के अंदर हत्या कर दी गई। इसके सीसीटीवी फुटेज तमाम सोशल मीडिया प्लैटफॉर्म पर वायरल हो रहे हैं। उन्होंने जेल प्रशासन के खिलाफ मामला दर्ज कर कार्रवाई का अनुरोध किया था।

आयोग ने दानिश खां की शिकायत पर केस दर्ज कर राजा गार्डन वेस्ट दिल्ली के डीएम, राजौरी गार्डन के डीसीपी और डीजी जेल से अब तक की कार्रवाई, जांच, पीएम रिपोर्ट, सीसीटीवी फुटेज आदि के साथ छह सप्ताह में स्टेटस रिपोर्ट तलब की थी, लेकिन इस मामले में रिपोर्ट आधी-अधूरी भेजी गई। इस पर शिकायतकर्ता ने आयोग में दोबारा पत्र भेज कर आरोप लगाया कि जेल प्रशासन मामले को दबाने में लगा हुआ है। इस पर आयोग ने मानव अधिकार संरक्षण अधिनियम, 1993 में धारा 13 के तहत पूछताछ और क्रिमनल केस दर्ज करने की चेतावनी जारी की है।

अगला लेखऐप पर पढ़ें