सोहना में जलभराव की रोकथाम के लिए दो नोडल अधिकारी नियुक्त
सोहना नगर परिषद ने जलभराव की समस्या से निपटने के लिए दो नोडल अधिकारी नियुक्त किए हैं। ये अधिकारी 21 वार्डों में जलभराव का समाधान करेंगे। ग्रामीण क्षेत्र में जलभराव को तालाबों और नालों में डाला जाएगा।...
सोहना। नगर परिषद ने शहर में होने वाले जलभराव की समस्या से निपटने के लिए दो नोडल अधिकारी नियुक्त किए हैं। दोनों नोडल अधिकारियों को परिषद के सभी 21 वार्ड के किसी भी स्थान पर होने वाले जलभराव का समाधान करने के लिए तीन-तीन कर्मचारियों की बनाई चार टीमों को सौंपा है। नगर परिषद की इस योजना से सोहना के लोगों को बारिश के दौरान होने वाले जलभराव से राहत मिलेगी। वहीं जलभराव वाली जगहों का भी समाधान हो पाएगा। बता दें कि नगर परिषद प्रशासन ने अभी तक शहरी क्षेत्र में होने वाले जलभराव की समस्या से निपटने के लिए टीमें बनाई थी, लेकिन अब परिषद ने सभी 21 वार्डों में होने वाले जलभराव की समस्या से निपटने की योजना बनाई है। ताकि किसी भी वार्ड के निवासी जलभराव की समस्या से परेशान नहीं हो। परिषद के ग्रामीण क्षेत्र में होने वाले जलभराव को नालियों से लेकर गंदे पानी के नाले और गांव से बाहर जाने वाले बरसाती पानी के नालों में डाला जाएगा। इसके अलावा जलभराव के पानी को गांवों में बनें तालाब में डाला जाएगा। जिससे जलभराव की समस्या को तुरंत समाप्त किया जा सके।
इन अधिकारियों को दी गई जिम्मेदारी
नगर परिषद ने जलभराव की समस्या से निपनटने के दो जेई दिगंबर सिंह और अब्दुल खान को नोडल अधिकारी बनाया है। जेई दिगंबर को वार्ड नंबर एक से 11 तक और अब्दुल खान को 12 से 21 वार्ड का नोडल अधिकारी बनाया गया है। इन दोनों ही अधिकारियों को इन वार्डों में होने वाले जलभराव से लोगों को राहत दिलानी है। ताकि बारिश के समय में लोगों को किसी भी प्रकार की कोई परेशानी नहीं हो।
इन गांव में होता है सबसे ज्यादा जलभराव
नगर परिषद सीमा क्षेत्र के गांव सिरसका, हरिनगर, लाखूवास, जखोपुर में बरसात के मौसम में सबसे ज्यादा जलभराव होता है। इसके अलावा वार्ड एक की राम नगर ढाणी के मुख्य रास्ते में भी जलभराव होता है। इसके अलावा शहरी क्षेत्र में पुरानी सब्जी मंडी मार्ग से लेकर अस्पताल, बस स्टैंड मार्ग, मंगलनगर, बालूदा मार्ग, अग्रसैन चौक आदि मार्गों पर जलभराव होता है। यहां जलभराव होने से राहगीरों समेत वाहन चालकों को भी भारी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। जिससे सबसे ज्यादा शिकायतें इन क्षेत्र से ही लोग करते हैं।
बरसात या बिना बरसात के यदि किसी भी वार्ड में जलराव की समस्या पैदा होती है। उसे तुरंत समाप्त किया जाएगा। इसके लिए नोडल अधिकारियों की नियुक्ति कर दी है। आमजन को किसी भी प्रकार की समस्या नहीं होने दी जाएगी। इसको लेकर अधिकारियों को पहले से ही दिशा-निर्देश दिए हुए हैं।
- सुमन लता, कार्यकारी अधिकारी, नप
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