Delhi-Jaipur Highway : दिल्ली-जयपुर हाईवे पर बने 4 अंडरपास में कई खामियां, GMDA की जांच रिपोर्ट में खुलासा
फरीदाबाद के अंडरपास में बैंक के दो कर्मचारियों की मौत के बाद हिंदुस्तान ने रविवार को दिल्ली-जयपुर हाईवे के अंडरपास की स्थिति जाकर देखी। इन अंडरपास की सड़क और दीवारों में दरार हैं। जिन पिलर के ऊपर शेड लगा हुआ है, वह भी जर्जर अवस्था में है। यह खुलासा जीएमडीए की जांच रिपोर्ट में हुआ।
फरीदाबाद के अंडरपास में जलभराव के कारण निजी बैंक के दो कर्मचारियों की मौत के बाद हिंदुस्तान ने रविवार को दिल्ली-जयपुर हाईवे (Delhi-Jaipur Highway) के अंडरपास की स्थिति जाकर देखी। इन अंडरपास की सड़क और दीवारों में दरार हैं। जिन पिलर के ऊपर शेड लगा हुआ है, वह भी जर्जर अवस्था में है। यह खुलासा जीएमडीए की जांच रिपोर्ट में हुआ। फरवरी में इन कमियों को ध्यान में रखते हुए गुरुग्राम महानगर विकास प्राधिकरण (जीएमडीए) ने इफको चौक, सिग्नेचर टावर, राजीव चौक और हीरो होंडा चौक अंडरपास को रखरखाव के लिए अपने अधीन लेने से इनकार कर दिया था। फिलहाल इसकी देखरेख एनएचएआई कर रहा है। पेश है रिपोर्ट
दिल्ली-जयपुर हाईवे स्थित इफ्को चौक, सिग्नेचर टावर, मेदांता अस्पताल, राजीव चौक और हीरो होंडा चौक अंडरपास में कई खामियां हैं। इन सभी अंडरपास को जलभराव से बचाने के लिए भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) ने पप लगाए हैं, अधिक बारिश होने पर इनमें पानी भर जाता है।
11 अगस्त की सुबह भी मेदांता अस्पताल अंडरपास में ढाई से तीन फीट पानी भरने के बाद इसे यातायात के लिए बंद कर दिया था। बारिश रुकने के बाद अतिरिक्त पंप लगाकर बाहर निकाला गया था। करीब सात घंटे के बाद इस अंडरपास को यातायात के लिए खोला गया था। एनएचएआई के परियोजना अधिकारी की तरफ से जीएमडीए अधिकारियों को इन अंडरपास को रखरखाव के लिए अपने अधीन लेने के लिए कई बार पत्र लिखा जा चुका है। जीएमडीए ने जब इन अंडरपास को अपने अधीन लेने से इनकार कर दिया तो एनएचएआई अध्यक्ष संतोष कुमार यादव ने हरियाणा के तत्कालीन मुख्य सचिव संजीव कौशल को पत्र लिख दिया था।
कौशल की अध्यक्षता में इस सिलसिले में फरवरी माह में एक बैठक हुई थी। इसमें एनएचएआई अधिकारी भी मौजूद थे। बैठक में जीएमडीए अधिकारियों ने इन अंडरपास में व्याप्त खामियों को रखा था। इसमें कहा था कि जब तक एनएचएआई की तरफ से इन खामियों को दुरुस्त नहीं किया जाता है, तब तक अंडरपास को रखरखाव के लिए अपने अधीन नहीं ले सकते हैं।
जीएमडीए के एक अधिकारी ने बताया कि इन अंडरपास की देखरेख एनएचएआई की तरफ से की जा रही है। कमियों की जानकारी एनएचएआई अधिकारियों को दी जा चुकी है।
जीएमडीए की जांच रिपोर्ट में यह खुलासा हुआ
जीएमडीए ने अपनी जांच रिपोर्ट में कहा था कि इफको चौक अंडरपास में बरसाती पानी की निकासी का बंदोबस्त ठीक नहीं है। इससे इस अंडरपास की एक दीवार में सीलन आ गई है। इफको चौक के साथ-साथ सिग्नेचर टावर, राजीव चौक अंडरपास में दीवारों में दरार आ गई है। यदि जल्द संज्ञान नहीं लिया जाता है तो भविष्य में इसकी वजह से बड़ी दिक्कत हो सकती है। अंडरपास की कंक्रीट सड़क में जगह-जगह दरार आई हैं। फुटपाथ क्षतिग्रस्त हो चुके हैं। सिग्नेचर टावर और इफको चौक पर राष्ट्रीय राजमार्ग को पार करने के लिए बनाए गए फुट ओवरब्रिज (एफओबी) के एस्केलेटर काम नहीं करते हैं। अंडरपास के ऊपर लगी शेड क्षतिग्रस्त है। जिन पिलर पर शेड लगे हैं, वह टूटे हुए हैं। यह कभी भी बड़े हादसे का कारण बन सकते हैं।
वर्ष 2018 में हीरो होंडा चौक पूरी तरह डूब गया था
अगस्त 2018 में बारिश के दौरान हीरो होंडा चौक पानी से डूब गया था। पानी को निकालने में करीब 36 घंटे का समय लगा था। पानी निकलने के बाद इसमें से नौ वाहन बरामद हुए थे। इनमें पांच बाइक, दो कार, एक कैंटर और एक ऑटो था। गनीमत रही थी कि पानी भरने के दौरान लोग अपने वाहनों को छोड़कर भाग निकले थे। इससे व्यवस्था की पोल खुल गई थी।
जीएमडीए के मुख्य अभियंता राजेश बंसल ने कहा, ''मॉनसून से पहले सभी अंडरपास में मॉक ड्रिल करवाई गई थी। सभी पंप चालू हालत में हैं। इस बार मॉनसून में सिर्फ मेदांता अंडरपास में थोड़ा पानी भर गया था, जिसमें यातायात को कुछ देर के लिए बंद करना पड़ा था। शहर में जल निकासी के पर्याप्त इंतजाम हुए हैं।''