मांगे जानने को रिप्लाई करें...हफ्ते में दूसरी बार दिल्ली के स्कूलों मिली धमकी; पुलिस जांच में कुछ नहीं मिला
दिल्ली के कम से कम 16 स्कूलों को शुक्रवार सुबह एक ईमेल के जरिए बम की धमकी मिली। जिसके बाद अफरा-तफरी मच गई और पुलिस और बम निरोधक दस्ते ने तलाशी ली। पुलिस ने कहा कि धमकियां झूठी थीं और कुछ भी संदिग्ध नहीं मिला। स्कूलों को बम से उड़ाने की धमकी वाला यह एक हफ्ते के अंदर दूसरा ईमेल था।
दिल्ली के कम से कम 16 स्कूलों को शुक्रवार सुबह एक ईमेल के जरिए बम की धमकी मिली। जिसके बाद अफरा-तफरी मच गई और पुलिस और बम निरोधक दस्ते ने तलाशी ली। पुलिस ने कहा कि धमकियां झूठी थीं और कुछ भी संदिग्ध नहीं मिला। स्कूलों को बम से उड़ाने की धमकी वाला यह एक हफ्ते के अंदर दूसरा ईमेल था। इससे पहले सोमवार 9 दिसंबर को 40 से ज्यादा स्कूलों को ऐसे ही ईमेल भेजे गए थे।
पुलिस के अनुसार, अज्ञात आरोपी ने दिल्ली पब्लिक स्कूल, मयूर विहार के सलवान पब्लिक स्कूल, पश्चिम विहार के भटनागर इंटरनेशनल स्कूल और श्रीनिवास पुरी के कैम्ब्रिज स्कूल समेत कई स्कूलों को धमकी भरे ईमेल भेजे। ईमेल में स्कूलों को सेंडर की क्या मांगे हैं उनका पता लगाने के लिए (रिप्लाई बैक) 'जवाब देने' के लिए कहा गया।
पुलिस अधिकारियों ने बताया कि बम की धमकी सुबह 4.30 बजे एक ईमेल के जरिए मिली, जिसके बाद दमकल विभाग, पुलिस और बम निरोधक टीमों के साथ-साथ डॉग स्क्वॉड की टीमें स्कूल पहुंचीं और जांच शुरू की। धमकी भरे ईमेल के बाद स्कूलों के अधिकारियों ने छात्रों के अभिभावकों को मैसेज भेजा कि वे अपने बच्चों को क्लास के लिए नहीं भेजें। कई स्कूलों ने घोषणा की है कि शुक्रवार को ऑनलाइन कक्षाएं ली जाएंगी।
8 दिसंबर को, दिल्ली के 44 से अधिक स्कूलों को, जिनमें आरके पुरम स्थित दिल्ली पब्लिक स्कूल और पश्चिम विहार स्थित जीडी गोयनका पब्लिक स्कूल शामिल हैं, ई-मेल के जरिए बम की झूठी धमकियां मिलीं। दिल्ली पुलिस के अनुसार, ये मेल scottielanza@gmail.com आईडी से भेजे गए थे। इन स्कूलों से 30 हजार अमेरिकी डॉलर की मांग की गई। पैसे नहीं देने पर स्कूलों में डेटोनेटर के जरिए ब्लास्ट करने की धमकी दी गई।
पुलिस के मुताबिक, दिल्ली के स्कूलों को ये मेल रविवार रात करीब 11.38 बजे भेजी गई थी। रात का वक्त होने के कारण ज्यादातर स्कूलों ने इसे नहीं देखा। सुबह बच्चे अपने-अपने स्कूलों में पहुंच गए, जिसके बाद उन्हें वापस घर भेजकर सभी स्कूलों की जांच की गई। एक मई को भी करीब 150 स्कूलों को ई-मेल भेजकर इसी तरह की धमकी दी गई थी।