Hindi Newsएनसीआर न्यूज़bjp might announce name of new delhi chief along with 70 candidates list kamaljeet dushyant yogendra name in race

किसके सिर सजेगा दिल्ली BJP अध्यक्ष का ताज? रेस में 3 नाम, उम्मीदवारों की लिस्ट के साथ ऐलान संभव

भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) इन दिनों आगामी दिल्ली विधानसभा चुनाव के मद्देनजर 70 उम्मीदवारों की लिस्ट फाइनल करने में जुटी हुई है। माना जा रहा है कि प्रत्याशियों के साथ ही पार्टी राज्य के नए बीजेपी अध्यक्ष का नाम भी घोषित कर सकती है।

Sneha Baluni लाइव हिन्दुस्तान, नई दिल्लीTue, 24 Dec 2024 12:00 PM
share Share
Follow Us on

भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) इन दिनों आगामी दिल्ली विधानसभा चुनाव के मद्देनजर 70 उम्मीदवारों की लिस्ट फाइनल करने में जुटी हुई है। माना जा रहा है कि प्रत्याशियों के साथ ही पार्टी राज्य के नए बीजेपी अध्यक्ष का नाम भी घोषित कर सकती है। सूत्रों के अनुसार, एससी, एसटी या ओबीसी समुदाय के व्यक्ति को कार्यकारी अध्यक्ष बनाया जा सकता है। इसके जरिए पार्टी का मकसद डैमेज कंट्रोल करना है क्योंकि ससंद में अंबेडकर को लेकर दिए अमित शाह की वजह से पार्टी विपक्ष के निशाने पर है।

इंडियन एक्सप्रेस के अनुसार, बीजेपी दिल्ली इकाई की कमान एससी, एसटी या ओबीसी समुदाय के किसी वरिष्ठ नेता को सौंप सकती है। पार्टी के एक सूत्र ने कहा, 'पार्टी के अंदर धीरे-धीरे इस विचार पर मजबूती से विमर्श हो रहा है कि एससी/एसटी/ओबीसी समुदाय का नेता - जो दिल्ली से लोकसभा सांसद हो सकता है - को कार्यकारी अध्यक्ष नियुक्त किया जाना चाहिए क्योंकि (वर्तमान राज्य प्रमुख) वीरेंद्र (सचदेवा) जी के चुनाव में उतारने की संभावना है।'

इन नामों पर चर्चा

पार्टी के एक दूसरे सूत्र ने कहा, 'कुछ वरिष्ठ नेताओं के अलावा, चुनाव से जुड़ी गतिविधियों को दिल्ली के हमारे सात सांसद भी संभाल रहे हैं। संभावित अध्यक्ष को लेकर कई संभावित नामों पर चर्चा की गई है, जिनमें उत्तर-पश्चिम दिल्ली के सांसद योगेंद्र चंदोलिया, पश्चिम दिल्ली की सांसद कमलजीत सेहरावत और पूर्व राज्यसभा सांसद दुष्यंत गौतम का नाम शामिल है।' सहरावत जाट समुदाय से हैं, जिसका आबादी के लिहाज से दिल्ली में काफी दबदबा है। इसके अलावा यह दिल्ली में रहने वाले सबसे पुराने समुदायों में से एक है। गौतम, भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और पूर्व राज्यसभा सांसद हैं। वहीं चंदोलिया अनुसूचित जाति समुदाय से हैं।

लिस्ट जारी करने में क्यों हो रही देरी

पार्टी नेता के अनुसार, कई सीटें ऐसी हैं, जहां चल रहे सर्वे और पिछले चुनावों में पार्टी के वोट शेयर के आधार पर हम मजबूत स्थिति में हैं। इसके अलावा हमें उन नेताओं को भी समायोजित करना है जो लोकसभा चुनावों और हाल-फिलहाल में दूसरे दलों से हमारे यहां आए हैं। ऐसे कई नेताओं की उन सीटों पर अच्छी पकड़ है, जिनका वे पहले प्रतिनिधित्व करते थे और उन्हें आप के प्रमुख मौजूदा विधायकों या मंत्रियों के खिलाफ मैदान में उतारा जा सकता है। तीसरी कारण कुछ सीटों पर 'विकल्पों की कमी' है। सूत्रों के अनुसार, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता वाली भाजपा की केंद्रीय चुनाव समिति इस हफ्ते उम्मीदवारों के नामों की घोषणा से पहले उम्मीदवारों की महत्वपूर्ण और अंतिम समीक्षा के लिए बैठक कर सकती है।

अगला लेखऐप पर पढ़ें