ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी में ममता बनर्जी के भाषण के दौरान हंगामा, 'वापस जाओ' के लगे नारे; देखें VIDEO
- विरोध प्रदर्शन का नेतृत्व वामपंथी छात्र संगठन स्टूडेंट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया (एसएफआई-यूके) के सदस्यों ने किया, जिन्होंने बनर्जी और उनकी सरकार पर भ्रष्टाचार और लोकतांत्रिक अधिकारों को दबाने का आरोप लगाया।

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को 27 मार्च को ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी के केलॉग कॉलेज में अपने भाषण के दौरान छात्रों के विरोध का सामना करना पड़ा। इस विरोध के जवाब में ममता ने 1990 के दशक की शुरुआत की अपनी एक पुरानी तस्वीर दिखाई, जिसमें उनके सिर पर पट्टी बंधी हुई थी। उन्होंने दावा किया कि विपक्ष में रहने के दौरान उनकी हत्या की कोशिश की गई थी। इस पूरे घटनाक्रम की शुरुआत तब हुई जब एक दर्शक ने उनसे लाखों करोड़ के निवेश प्रस्तावों के बारे में पूछा। जैसे ही ममता ने जवाब देने की कोशिश की, दर्शकों में से एक अन्य सदस्य ने हस्तक्षेप किया। इस दौरान पूर्व भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान सौरव गांगुली भी दर्शकों में मौजूद थे।
यह यहीं नहीं रुका। इसके बाद कुछ सदस्यों ने उनसे कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज में हुए बलात्कार और हत्या मामले के बारे में सवाल पूछे। उन्होंने सवाल पूछने वालों पर राजनीतिक एजेंडा रखने का आरोप लगाते हुए कहा, "यह मामला न्यायालय में विचाराधीन है, यह मामला केंद्र सरकार के पास है। यहां राजनीति न करें। यह मंच राजनीति के लिए नहीं है। आप झूठ बोल रहे हैं। इसे राजनीतिक मंच न बनाएं।"
वीडियो में ममता बनर्जी बोलती हैं, “आप बंगाल जाएं और अपनी राजनीतिक पार्टी को और मजबूत बनने के लिए कहें। मैं आपको जवाब दूंगी। पहले मेरी तस्वीर देखिए कि कैसे मुझे मारने की कोशिश की गई।”
दर्शकों में से किसी ने बंगाल में हिंदुओं के साथ हो रहे व्यवहार के बारे में सवाल उठाया। ममता बनर्जी ने जवाब दिया, "मैं सभी के लिए हूं। हिंदू और मुसलमान सभी के लिए" इसके बाद दर्शकों के एक वर्ग ने "ममता बनर्जी वापस जाओ" के नारे लगाए।
विरोध प्रदर्शन का नेतृत्व वामपंथी छात्र संगठन स्टूडेंट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया (एसएफआई-यूके) के सदस्यों ने किया, जिन्होंने बनर्जी और उनकी सरकार पर भ्रष्टाचार और लोकतांत्रिक अधिकारों को दबाने का आरोप लगाया।
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ने दर्शकों के एक वर्ग पर "अति वामपंथी और सांप्रदायिक" होने का आरोप लगाते हुए कहा, "आपको मुझे बोलने का मौका देना चाहिए। आप मेरा अपमान नहीं कर रहे हैं। आप अपने संस्थान का अपमान कर रहे हैं। ये लोग हर जगह ऐसा करते हैं। मैं जहां भी जाती हूं, वे ऐसा करते हैं। मैं हर धर्म का समर्थन करती हूं। मैं हिंदू, मुस्लिम, सिख, ईसाई का समर्थन करती हूं। किसी एक जाति का नाम मत लीजिए। सभी का नाम लीजिए। आप लोग जो कर रहे हैं, वह सही नहीं है। आप लोग जो राजनीति कर रहे हैं, मेरे अति वामपंथी मित्र और सांप्रदायिक मित्र ऐसा नहीं करते हैं।"
इस सबके बीच ममता बनर्जी ने 1990 के दशक की अपनी एक तस्वीर निकाली, जिसमें उनके सिर पर गंभीर चोट और पट्टियां बंधी हुई दिखाई दे रही थीं। ममता बनर्जी ने बोलते हुए तस्वीर को दिखाते हुए कहा, "पहले मेरी तस्वीर देखिए, कैसे मुझे मारने की कोशिश की गई थी।"
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