पूजा खेड़कर ने पहले भी किया है खेल? नखरेबाज ट्रेनी IAS के नाम और दिव्यांग सर्टिफिकेट को लेकर चौंकाने वाला दावा
Trainee IAS Pooja Khedkar: ट्रेनी आईएएस पूजा खेड़कर के कारनामों की लिस्ट काफी लंबी है। ट्रेनी आईएएस के तौर पर ढेर सारी गैरजरूरी डिमांड्स और नखरों के बाद पूजा खेड़कर के बारे में कुछ और खुलासे हुए हैं।
Trainee IAS Pooja Khedkar: ट्रेनी आईएएस पूजा खेड़कर के कारनामों की लिस्ट काफी लंबी है। ट्रेनी आईएएस के तौर पर ढेर सारी गैरजरूरी डिमांड्स और नखरों के बाद पूजा खेड़कर के बारे में कुछ और भी खुलासे हुए हैं। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पूजा खेड़कर को लेकर एक थ्रेड पोस्ट किया गया है। इसमें पूजा खेड़कर को लेकर कई खुलासे किए गए हैं। थ्रेड लिखने वाले शख्स ने पूजा का एक वीडियो भी पोस्ट किया है। यह वीडियो मॉक इंटरव्यू का है, जिसमें पूजा खेड़कर खुद के बारे में जानकारियां दे रही है। इसी वीडियो में पूजा बता रही है कि वह 2019 बैच से एक्स आईआरएस (आईटी) रही है। इसके अलावा उसने स्पोर्ट्स अथॉरिटी ऑफ इंडिया (साई) में असिस्टेंट डायरेक्टर के रूप में नौकरी की बात भी भी कही है। इस थ्रेड में पूजा के नाम और दिव्यांग सर्टिफिकेट को लेकर कई चौंकाने वाली बातें हैं।
पूजा खेड़कर के ऊपर एक्स पर थ्रेड लिखने वाले शख्स की प्रोफाइल पर सूरज नाम मेंशन है। उसने खुद को बीटेक एस्पिरेंट बता रखा है। इस शख्स का दावा है उसने काफी डीप स्टडी करके पूजा के बारे में यह जानकारियां निकाली हैं। इसके मुताबिक पूजा खेड़कर 2019 के सिविल सर्विसेज इंटरव्यू में शामिल हुई। वह इंटरव्यू में साई में असिस्टेंट डायरेक्टर पद के लिए योग्य पाई गई और 2021 में उसे अप्वॉइंटमेंट मिल गया। अब 2019 में यूपीएसी के चयनित उम्मीदवारों पर नजर डालें तो वहां खेड़कर पूजा दिलीपराव का नाम है। उसने प्री और मेन्स क्लियर किया है, लेकिन 2019 के रेकमंडेड कैंडिडेट्स की लिस्ट में उसका नाम नहीं है। इसके अलावा उसने जो दिव्यांग कैटेगरी चुनी है, वह है पीडब्लूबीडी-1 (लो विजन) की है।
अब आते हैं साल 2022 में चयनित यूपीएससी अभ्यर्थियों पर। यहां पर पूजा का नाम रेकमंडेड कैंडिडेट्स की लिस्ट में है, लेकिन यहां उसका नाम पूजा मनोरमा दिलीप खेड़कर है। इतना ही नहीं, 2022 में उसने अपने लिए जो दिव्यांग कैटेगरी बताई है वह पीडब्लूबीडी-5 (मल्टीपल डिसेबिलिटीज)। मात्र दो साल के अंदर नाम और दिव्यांग कैटेगरी दोनों, बदल जाना अपने आप में हैरान करने वाला है। दोनों कैटेगरी में मिलने वाले कटऑफ मार्क्स में भी काफी ज्यादा अंतर है। दावा है कि पूजा ने यह सारा खेल इसलिए किया ताकि प्रीलिम्स और मेन्स एग्जाम में अधिक छूट पाकर वह आसानी से आईएएस बन सके।
अगर पूजा खेड़कर द्वारा कोर्ट में डाली गई विभिन्न पेटिशंस पर निगाह डालें तो नाम बदलने का खेल और स्पष्ट हो जाता है। 2020 में उसने खेड़कर पूजा दिलीपराव वर्सेस यूपीएससी नाम से पेटिशन डाली। यह यूपीएसी प्री एग्जाम को लेकर थी, जिसमें उसने रिवैल्युएशन की मांग की थी। हालांकि ट्रिब्यूनल ने उसकी मांग मानी नहीं और यूपीएससी के पास जाने को कह दिया था। चार दिसंबर 2020 को आईएएस पूजा ने एक अन्य याचिका दाखिल की। इसमें उसने पीडब्लूबीडी कैटेगरी के तहत राहत की मांग की थी।
यह आखिरी याचिका थी, जिसमें उसने खेड़कर पूजा दिलीपराव का नाम का इस्तेमाल किया था। इसके बाद उसने कैट में एक पेटिशन दायर की, जिसमें अपना नाम पूजा मनोरमा दिलीप खेड़कर बताया। उसने दावा किया कि वह मानसिक बीमार और नजर कमजोर है। पूजा ने राइट टू पीडब्लूबीडी के सेक्शन 34(डी) के तहत राहत की मांग की थी।