मणिपुर में '10 उग्रवादियों' के मारे जाने पर असम-मिजोरम तक फैला विरोध, AFSPA फिर से लागू
- आइजॉल में MNF ने इन मृतकों को शहीद बताते हुए आरोप लगाया कि CRPF और पुलिस की संयुक्त टीम ने ग्रामीण स्वयंसेवकों को मार गिराया और उन्हें उग्रवादी बताकर पेश किया।
मणिपुर के जिरीबाम जिले में 11 नवंबर को सुरक्षाबलों के साथ मुठभेड़ में 10 "सशस्त्र उग्रवादियों" के मारे जाने से उपजे असंतोष की लहर अब दक्षिण असम और मिजोरम तक फैल गई है। बुधवार को सिलचर मेडिकल कॉलेज (SMC) के बाहर बड़ी संख्या में जनजातीय संगठनों ने जमा होकर "लंबी खिंचती शव परीक्षण प्रक्रिया" पर सवाल उठाए, जबकि मिजो नेशनल फ्रंट (MNF) ने इन मौतों को "न्यायेतर हत्याएं" (एक्स्ट्रा ज्यूडिशियल किलिंग) करार दिया है।
MNF ने इन मृतकों को “शहीद” बताया
SMC में मंगलवार शाम तक 10 में से 6 मृतकों के शवों का परीक्षण हो गया था और शेष 4 के परीक्षण की प्रक्रिया बुधवार तक चली। इस बीच, जनजातीय प्रदर्शनकारियों के गुस्से के साथ उनकी संख्या बढ़ती गई। कैचर जिले के SP नुमाल महट्टा ने इस मुद्दे पर उठते सवालों का जवाब देते हुए कहा कि "शव परीक्षण में जान-बूझकर देरी नहीं की जा रही है"। वहीं, आइजॉल में MNF ने इन मृतकों को “शहीद” बताते हुए आरोप लगाया कि CRPF और पुलिस की संयुक्त टीम ने "ग्रामीण स्वयंसेवकों" को मार गिराया और उन्हें "उग्रवादी" बताकर पेश किया।
MNF ने बयान में कहा, “CRPF की कार्रवाई ने पक्षपात को उजागर किया है, जिससे मणिपुर की नाजुक स्थिति और बिगड़ सकती है। हम उनकी इस पक्षपातपूर्ण कार्रवाई की निंदा करते हैं और चेतावनी देते हैं कि यदि हम जिंदा रहेंगे तो सभी साथ रहेंगे, और मरेंगे तो किसी को अकेला नहीं मरने देंगे।” MNF ने यह भी कहा कि मृतकों के शव सिलचर से मिजोरम के रास्ते उनके घर भेजे जाएंगे।
AFSPA फिर से लागू
मणिपुर में उभरते हुए हिंसा के हालात के चलते, राज्य के 5 जिलों के 6 पुलिस थाना क्षेत्रों में सशस्त्र बल (विशेषाधिकार) अधिनियम (AFSPA) को पुनः लागू कर दिया गया है। गृह मंत्रालय ने गुरुवार को घोषणा की कि इम्फाल वेस्ट, इम्फाल ईस्ट, जिरीबाम, कंगपोकपी और बिष्णुपुर जिलों के कुछ क्षेत्रों को ‘अशांत क्षेत्र’ घोषित कर दिया गया है। जिन पुलिस थाना क्षेत्रों में AFSPA पुनः लागू हुआ है, वे हैं इम्फाल वेस्ट का सेक्माई और लामसांग, इम्फाल ईस्ट का लामलाई, जिरीबाम का जिरीबाम, कंगपोकपी का लैमाखोंग और बिष्णुपुर का मोइरंग है। केंद्र ने अक्टूबर 1, 2024 से अगले छह महीने तक AFSPA अधिनियम को राज्य के अधिकांश हिस्सों में बढ़ा दिया था, हालांकि 19 पुलिस थाना क्षेत्रों को अपेक्षाकृत शांत देखते हुए इस अधिसूचना से बाहर रखा गया था।
मणिपुर के जिरीबाम और चुराचांदपुर से हथियार एवं गोला-बारूद बरामद
सुरक्षा बलों ने मणिपुर के जिरीबाम और चुराचांदपुर जिलों से हथियारों और गोला-बारूद का जखीरा जब्त किया है। पुलिस ने बृहस्पतिवार को एक बयान में यह जानकारी दी। बयान में कहा गया कि सुरक्षा बलों ने बुधवार को जिरीबाम जिले के चंपानगर, नारायणपुर और थांगबोईपुंजरे इलाकों में घेराबंदी एवं तलाश अभियान के दौरान मोर्टार और कारतूस बरामद किए। बयान में कहा गया है कि चुराचांदपुर जिले के एच कोटलियान गांव से सुरक्षा बलों ने एक राइफल, एक पिस्तौल, स्थानीय रूप से निर्मित कम दूरी वाली दो तोप, स्थानीय रूप से निर्मित लंबी दूरी की दो तोप, एके 47 की पांच गोलियां आदि जब्त की हैं।