अफजल गुरु के भी सम्मान में लगा था टुकड़े-टुकड़े गैंग, संसद पर हमले की बरसी पर बोले गिरिराज सिंह
- केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने कहा कि देश का दुर्भाग्य है कि लोकतंत्र के मंदिर पर हमला हुआ और टुकड़े-टुकड़े गैंग के लोगों ने हमलावर का सम्मान किया।
संसद पर हमले की 23वीं बरसी पर केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने विपक्ष पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि भगवान ना करे किसी को यह दिन देखना पड़े कि लोकतंत्र के मंदिर पर हमला हो और हमलावर को सम्मानित किया जाए। पाकिस्तान के आतंकवादी संगठन लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद के आतंकवादियों ने 2001 में आज ही के दिन संसद परिसर पर हमला किया था, जिसमें नौ लोग मारे गए थे। सुरक्षा बलों ने सभी पांच आतंकवादियों को भी मार गिराया था।
संसद भवन परिसर में गिरिराज सिंह ने कहा, भगवान ना करे कभी किसी को ऐसे दृश्य देखने पड़ें। लोकतंत्र के मंदिर पर हमला हुआ। दुर्भाग्य है कि टुकड़े-टुकड़े गैंग के लोगों ने हमलावर अफजल गुरु को भी सम्मानित किया। यह देश का दुर्भाग्य है। आज टुकड़े-टुकड़े गैंग के लोग मस्तक तो टेक रहे हैं लेकिन इसी जेएनयू में टुकड़े-टुकड़े वालों ने क्या नहीं किया। इसकी जितनी निंदा की जाए कम है।
संविधान पर चर्चा को लेकर उन्होंने कहा, मैं नरेंद्र मोदी जी को धन्यवाद दूंगा कि उन्होंने संविधान दिवस के रूप में एक दिन को मनाने का फैसला किया। देश के नौजवानों को याद रहे कि संविधान केवल मौखिक में नहीं बल्कि इसे व्यवहार में लाने की जरूरत है। आज इसपर चर्चा होनी है। उन्होंने वन नेशन, वन इलेक्शन को लेकर कहा कि 1967 में भी यही होता था। उस समय कांग्रेस थी तो सब बहुत अच्छा था। तुम पियो तो पुण्य मैं पियूं तो पाप।
राष्ट्रपति ने भी शहीदों को दी श्रद्धांजलि
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने भी संसद हमले में शहीद हुए जवानों को श्रद्धांजलि दी। मुर्मू ने आतंकवाद से लड़ने के भारत के अटूट संकल्प को दोहराते हुए कहा कि राष्ट्र आतंकवादी ताकतों के खिलाफ एकजुट है। राष्ट्रपति ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ‘मैं उन वीरों को अपनी विनम्र श्रद्धांजलि अर्पित करती हूं जिन्होंने 2001 में आज ही के दिन हमारी संसद की रक्षा करते हुए अपने प्राणों की आहुति दी थी। उनका साहस और निस्वार्थ सेवा हमें प्रेरित करती रहेगी। राष्ट्र उनके और उनके परिवारों के प्रति हृदय से आभारी है।’