पाकिस्तान में हो जाएगी पानी की इतनी कमी, सिंधु समझौता तोड़ भारत ने कर दिया बड़ा खेल
भारत ने चिनाब नदी पर सलाल और बगलीहार डैम पर गेट बंद कर दिए हैं, जिसके चलते जलस्तर काफी कम हो गया और पाकिस्तान में पानी का बहाव प्रभावित हुआ है। अब खबरें ये भी हैं कि केंद्र सरकार पाकिस्तान के खिलाफ किशनगंगा बांध पर भी इसी तरह के कदम उठाने पर विचार कर रहा है।

सिंधु जल संधि रोकने का भारत का फैसला पाकिस्तान को बड़ा नुकसान पहुंचा सकता है। आशंका जताई जा रही हैं कि इसका बड़ा असर खरीफ सीजन में पड़ सकता है और पाकिस्तान में पानी की 20 प्रतिशत से ज्यादा की कमी हो सकती है। 22 अप्रैल को जम्मू और कश्मीर के पहलगाम में आतंकवादियों ने 25 पर्यटकों और 1 स्थानीय व्यक्ति की हत्या कर दी थी।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, IRSA यानी इंडस रिवर सिस्टम अथॉरिटी की एडवाइजरी कमेटी ने शुरुआती खरीफ सीजन में पाकिस्तान में पानी की 21 फीसदी कमी होने की आशंका है। इसकी वजह चिनाब नदी में पानी में अचानक कमी आना है। इसके अलावा भारत ने चिनाब नदी पर सलाल और बगलीहार डैम पर गेट बंद कर दिए हैं, जिसके चलते जलस्तर काफी कम हो गया और पाकिस्तान में पानी का बहाव प्रभावित हुआ है।
अब खबरें ये भी हैं कि केंद्र सरकार पाकिस्तान के खिलाफ किशनगंगा बांध पर भी इसी तरह के कदम उठाने पर विचार कर रहा है। IRSA की सलाहकार समिति की बैठक हुई थी। उस दौरान मई से लेकर सितंबर 2025 तक खरीफ सीजन की तैयारी को लेकर चर्चाएं की गई थीं।
रिपोर्ट्स के अनुसार, IRSA ने कहा, 'सिंधु नदी सलाहकार समिति ने खरीफ के शुरुआती सीजन के बचे हुए महीने (मई-10 जून) और खरीफ के अंत (11 जून-सितंबर) में जल की स्थिति की समीक्षा की है।' आगे कहा गया है, 'इस बात पर चिंता जताई जा रही है कि मराला में भारत की तरफ से सप्लाई रोके जाने के बादचिनाब नदी में बहाव में अचानक कमी आने के चलते शुरुआती खरीफ सीजन में पानी की ज्यादा कमी हो सकती है।'
समिति ने 'चिनाब नदी में जल आपूर्ति सामान्य रहने की स्थिति में' शुरुआती खरीफ सीजन के दौरान कुल 21 प्रतिशत कमी की घोषणा की है। फिलहाल, स्थिति की समीक्षा की जा रही है। अगर चिनाब नदी में पानी का घटना जारी रहता है, तो कमी में भी इजाफा होगा। खबर है कि बगलीहार और सलाल बांध में गेट बंद किए जाने के चलते अखनूर में जलस्तर में काफी कमी देखी जा रही है।