प्रियंका गांधी ने चुनावी हलफनामे में छिपाई अपनी और पति की संपत्ति, भाजपा का बड़ा आरोप
- वाड्रा ने बुधवार को वायनाड लोकसभा सीट के उपचुनाव के लिए पार्टी के उम्मीदवार के तौर पर नामांकन दाखिल करके अपनी चुनावी पारी का आगाज किया।
भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के राष्ट्रीय प्रवक्ता गौरव भाटिया ने कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी वाड्रा के हलफनामे पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उनका कहना है कि सुप्रीम कोर्ट के एक ऐतिहासिक फैसले के अनुसार, उम्मीदवारों को अपने आपराधिक इतिहास, संपत्ति और अपने परिवार के सदस्यों की संपत्तियों का खुलासा करना अनिवार्य है। उन्होंने आरोप लगाया कि प्रियंका ने ऐसा नहीं किया। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने 12 करोड़ रुपये से अधिक की संपत्ति घोषित की है। वाड्रा ने बुधवार को वायनाड लोकसभा सीट के उपचुनाव के लिए पार्टी के उम्मीदवार के तौर पर नामांकन दाखिल करके अपनी चुनावी पारी का आगाज किया।
गौरव भाटिया ने कहा, “सुप्रीम कोर्ट के यूनियन ऑफ इंडिया बनाम एडीआर मामले में निर्णय के अनुसार, हर उम्मीदवार को अपने और अपने जीवनसाथी तथा निर्भर लोगों की संपत्ति का विवरण देना होता है। हालांकि, प्रियंका गांधी द्वारा दाखिल किए गए हलफनामे में सभी आवश्यक जानकारियां नहीं दी गई हैं।” भाटिया ने गांधी परिवार की कड़ी आलोचना की और कहा कि यह परिवार भ्रष्टाचार के मामले में सबसे आगे है।
उन्होंने दावा किया, "अगर दुनिया में किसी सबसे भ्रष्ट राजनीतिक परिवार की बात की जाए, तो वह गांधी परिवार है। जब अपनी संपत्ति सार्वजनिक करने की बात आती है, तो ये लोग संविधान और कानून को तोड़ने का प्रयास करते हैं और जनता को गुमराह करना चाहते हैं।" बीजेपी प्रवक्ता का आरोप है कि प्रियंका गांधी वाड्रा के हलफनामे में न केवल जरूरी जानकारी का अभाव है, बल्कि यह भी दर्शाता है कि गांधी परिवार पारदर्शिता के सिद्धांतों का सम्मान नहीं करता।
भाटिया के अनुसार, “यह जनता का अधिकार है कि उन्हें यह पता हो कि जो व्यक्ति उनके सामने चुनाव लड़ने आ रहा है, उसकी पारिवारिक संपत्ति और पृष्ठभूमि क्या है। लेकिन गांधी परिवार इस मामले में जवाबदेही से बचता नजर आता है।” चुनाव अधिकारियों द्वारा नामांकन पत्रों की जांच की तारीख 28 अक्टूबर है और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) इस दौरान कांग्रेस महासचिव पर उनके हलफनामे को लेकर निशाना साध रही है। गांधी परिवार द्वारा नेशनल हेराल्ड की संपत्ति कथित तौर पर हड़पने का जिक्र करते हुए भाटिया ने कहा कि प्रियंका गांधी के हलफनामे में कुछ ट्रस्टों के माध्यम से एसोसिएटेड जर्नल्स में उनके शेयरों के स्वामित्व का कोई उल्लेख नहीं है।
उन्होंने कहा कि यह आवश्यक जानकारी का खुलासा न करने के बराबर है। उन्होंने कहा कि हलफनामे में वाड्रा की तीन कंपनियों का जिक्र है, जबकि दो अन्य कंपनियों में उनकी हिस्सेदारी को छोड़ दिया गया है। भाजपा नेता ने कहा कि उनका आरोप "अकाट्य" दस्तावेजों पर आधारित है। उन्होंने प्रियंका गांधी से आरोपों का जवाब देने और मुद्दे पर अपने रुख के बारे में जनता को बताने को कहा। भाटिया ने कहा कि कांग्रेस को कानून का पालन करना होगा, अन्यथा गंभीर परिणाम होंगे। उन्होंने कहा कि भाजपा संविधान का पालन करते हुए सभी आवश्यक और प्रभावी कदम उठाएगी। प्रियंका गांधी की तरफ से इस आरोप पर अभी तक कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है।
प्रियंका गांधी ने 12 करोड़ रुपये की संपत्ति घोषित की
अपने नामांकन पत्र में प्रियंका ने वित्तीय वर्ष 2023-2024 में 46.39 लाख रुपये से अधिक की कुल आय भी घोषित की है, जिसमें किराये की आय और बैंकों और अन्य निवेशों से ब्याज शामिल है। नामांकन पत्र के साथ दाखिल हलफनामे में अपनी संपत्तियों और देनदारियों का विवरण देते हुए प्रियंका गांधी ने कहा कि उनके पास 4.24 करोड़ रुपये से अधिक की चल संपत्ति है, जिसमें तीन बैंक खातों में अलग-अलग राशि की जमा रकम, म्यूचुअल फंड और पीपीएफ में निवेश, उनके पति रॉबर्ट वाद्रा द्वारा उपहार में दी गई होंडा सीआरवी कार और 1.15 करोड़ रुपये मूल्य का 4400 ग्राम (सकल) सोना शामिल है।
उनकी अचल संपत्तियों की कीमत 7.74 करोड़ रुपये से अधिक है, जिसमें नई दिल्ली के महरौली क्षेत्र में विरासत में मिली कृषि भूमि के दो हिस्से और वहां स्थित एक फार्महाउस भवन में आधा हिस्सा शामिल है, जिनकी कुल कीमत अब 2.10 करोड़ रुपये से अधिक है। इसके अलावा, उनके हलफनामे के अनुसार हिमाचल प्रदेश के शिमला में उनके पास एक स्व-अर्जित आवासीय संपत्ति है, जिसकी वर्तमान कीमत 5.63 करोड़ रुपये से अधिक है। प्रियंका ने अपने हलफनामे में अपने पति की चल-अचल संपत्तियों का भी ब्योरा दिया है।
हलफनामे के अनुसार रॉबर्ट वाद्रा के पास 37.9 करोड़ रुपये से अधिक की चल संपत्तियां और 27.64 करोड़ रुपये से अधिक की अचल संपत्तियां है। प्रियंका के पास ब्रिटेन के एक विश्वविद्यालय से दूरस्थ शिक्षा के माध्यम से बौद्ध अध्ययन में स्नातकोत्तर डिप्लोमा तथा दिल्ली विश्वविद्यालय से मनोविज्ञान में बीए ऑनर्स की डिग्री है। उन पर 15.75 लाख रुपये की देनदारियां हैं। उनके हलफनामे में कहा गया है कि वह कर निर्धारण वर्ष 2012-13 के लिए आयकर पुनर्मूल्यांकन कार्यवाही का भी सामना कर रही हैं, जिसके अनुसार उन्हें कर के रूप में 15 लाख रुपये से अधिक का भुगतान करना है।
हलफनामे में कहा गया है कि इसके अलावा उनके खिलाफ दो प्राथमिकी और वन विभाग का नोटिस भी है। इसमें कहा गया है कि मध्य प्रदेश में 2023 में दर्ज प्राथमिकी में से एक आईपीसी की धारा 420 (धोखाधड़ी) और 469 (जालसाजी) के तहत है और यह एक व्यक्ति की शिकायत पर आधारित है जिसमें आरोप लगाया गया है कि उन्होंने (प्रियंका गांधी ने) कुछ भ्रामक ट्वीट पोस्ट किए हैं।
उत्तर प्रदेश में 2020 में दर्ज दूसरी प्राथमिकी आईपीसी की धाराओं 188, 269 और 270 के तहत 2020 के हाथरस की घटना के खिलाफ उनके कथित विरोध के लिए दर्ज की गई है। राहुल गांधी और प्रियंका दोनों पर बलात्कार पीड़िता के परिवार से मिलने के लिए हाथरस की ओर जाने पर सीआरपीसी की धारा 144 के तहत जारी निषेधाज्ञा के कथित उल्लंघन और कोविड-19 प्रकोप के मद्देनजर लगाए गए महामारी रोग अधिनियम से संबंधित आदेशों के उल्लंघन का मामला दर्ज किया गया था।