आंदोलन कर रहे किसानों को मिला अन्ना हजारे का साथ, नए कृषि कानून के खिलाफ कल से अनिश्चिकालीन अनशन पर
सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने घोषणा की है कि वह केंद्र सरकार के नए कृषि कानूनों के खिलाफ शनिवार को महाराष्ट्र में अपने गांव रालेगांव सिद्धि में अनिश्चितकालीन अनशन शुरू करेंगे। उन्होंने गुरुवार को...
सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने घोषणा की है कि वह केंद्र सरकार के नए कृषि कानूनों के खिलाफ शनिवार को महाराष्ट्र में अपने गांव रालेगांव सिद्धि में अनिश्चितकालीन अनशन शुरू करेंगे। उन्होंने गुरुवार को जारी एक बयान में कहा, मैं कृषि क्षेत्र में सुधारों की मांग करता रहा हूं, लेकिन केंद्र सही फैसले लेते नहीं दिख रहा है।
अन्ना हजारे ने कहा, किसानों को लेकर केंद्र कतई संवेदनशील नहीं है, इसीलिए मैं 30 जनवरी से अपने गांव में अनिश्चितकालीन अनशन शुरू कर रहा हूं। हजारे (83) ने अपने समर्थकों से अपील भी की कि वे कोरोना वायरस महामारी को देखते हुए अहमदनगर जिले में स्थित उनके गांव में एकत्र नहीं हों। उल्लेखनीय है कि केंद्र के तीन कृषि कानूनों के खिलाफ हजारों किसान दिल्ली की सीमाओं पर प्रदर्शन कर रहे हैं।
सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने गुरुवार को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को एक पत्र लिखा था और अपना फैसला दोहराया था कि ''वह जनवरी के अंत में किसानों के मुद्दे पर भूख हड़ताल करेंगे। केंद्र के तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ दिल्ली की सीमाओं पर विभिन्न किसान संगठनों के जारी आंदोलन के बीच हजारे ने यह चिट्ठी लिखी है।
बता दें कि अन्ना हजारे ने पिछले साल 14 दिसंबर को हजारे ने केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर को पत्र लिखकर आगाह किया था कि कृषि पर एम एस स्वामीनाथन कमेटी की सिफारिशों समेत उनकी मांगें नहीं मानी गयीं तो वह भूख हड़ताल करेंगे।