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MP: लव मैरिज के बाद लड़की ने घरवालों को नहीं पहचाना, भाई ने मरा मान निभाई रस्में; भावुक वजह बताई

  • कार्यक्रम को रखने का मकसद बताते हुए युवती के भाई ने कहा ‘हम इससे यही संदेश देना चाहते हैं कि कोई बहन अपने भाई के साथ ऐसा नहीं करे और अपने परिवार का भी सोचे। इससे घरवालों की बहुत बदनामी होती है।’

Sourabh Jain लाइव हिन्दुस्तान, मंदसौर, मध्य प्रदेशSat, 16 Nov 2024 08:28 PM
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मध्यप्रदेश के मंदसौर में बहन के प्रेम विवाह से नाराज भाई ने जीवित बहन का सांकेतिक क्रियाकर्म करते हुए मृत्यु भोज तक दे डाला। इसके लिए युवती के भाई ने बकायदा गोरनी (मृत्युभोज) आयोजन की पत्रिका छपवाकर रिश्तेदारों में बंटवाईं और फिर शनिवार 16 नवंबर को बहन की फोटो लगी तस्वीर पर माला पहनाकर मौत के बाद निभाई जाने वाली रस्में भी अदा कर दीं। बहन ने शादी करने के बाद परिजनों को पहचानने से इनकार कर दिया था। इस बात से भाई को बहुत ठेस पहुंची और उसने यह कदम उठा लिया।

यह मामला मंदसौर जिले की सीतामऊ तहसील के दलावदा गांव का है, जहां रहने वाली रानू नाम की एक युवती 12 नवंबर को अपने प्रेमी के साथ घर से भाग गई थी और फिर उन दोनों ने प्रेम विवाह कर लिया था।

युवती ने पहचानने से इनकार किया

युवती के लापता होने पर परिजनों ने सीतामऊ थाने में युवती की गुमशुदगी की शिकायत दर्ज करवाई थी। जिसके अगले दिन पुलिस युवती और उसके प्रेमी को खोज कर थाने ले आई। यहां युवती ने अपने बयान में कहा कि वो किसी को नहीं जानती है, उसका कोई परिवार नहीं है। उसके इस तरह परिवार से मुंह फेर लेने से नाराज परिजनों ने उसे मरा मानकर उससे रिश्ता तोड़ लिया और इसके बाद उसके क्रियाकर्म का कार्यक्रम कर दिया।

मां और दादी ने की समझाने की कोशिश

युवती के पिता नहीं हैं ऐसे में थाने में युवती की मां और दादी ने उसे समझाने की कोशिश की और उसकी पसंद के लड़के से ही शादी कराने का आश्वासन भी दिया। यहां तक कि युवती की 80 साल की दादी ने उसके पैर तक पकड़ लिए और कहा कि बेटी घर चलो हम दो दिन बाद लगन निकलवाकर इसी लड़के से तेरी शादी करवा देंगे। लेकिन फिर भी युवती नहीं मानी। परिवार ने समाज के मान सम्मान की बात कहते हुए भी उसे समझाया लेकिन वह नहीं मानी।

बेटी के सामान को क्रियाकर्म में जलाया

युवती के बात नहीं मानने पर परिवार ने अपनी जीवित बेटी का सांकेतिक क्रिया कर्म करते हुए घर में रखे उसके सामान को जला दिया। साथ ही अन्य शोक पत्रिका छपवाते हुए मृत्युभोज का भी आयोजन कर दिया। इस बारे में जानकारी देते हुए युवती के मामा ने बताया कि हमने रानू को बहुत लाड़ प्यार से बड़ा किया था। दो महीने बाद उसकी शादी होने वाली थी। इससे पहले ही उसने पास के गांव गुराड़िया गौड़ के रहने वाले एक युवक के साथ भागकर शादी कर ली।

परिजनों ने बेटी को मरा मानकर गोरनी का कार्यक्रम भी रखा और बकायदा इसके लिए पत्रिका भी छपवाई।

भाई बोला- उसने हमें पहचानने से इनकार किया

उधर युवती के भाई विनोद ने जानकारी देते हुए कहा कि 'वो बिना बताए कहीं चली गई थी, जिसके बाद हमने उसे खूब ढूंढा और गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई। इसके बाद जब पुलिस उसे लेकर आई तो उसने अपने बयान में हमें पहचानने से इनकार कर दिया। उसने कहा कि मैं किसी को नहीं जानती। ना मेरा कोई भाई है, ना मम्मी, ना मासाजी, ना मामाजी। जिसके बाद हमने यह गोरनी का कार्यक्रम रखा। जिसमें 200 से 300 लोग शामिल हुए।'

भाई ने अन्य बहनों को दिया सन्देश

कार्यक्रम को रखने का मकसद बताते हुए युवती के भाई ने कहा कि 'हम इससे यही संदेश देना चाहते हैं कि कोई बहन अपने भाई के साथ ऐसा नहीं करे और अपने परिवार का भी सोचे। जब कोई बहन ऐसा करती है तो भाई को बहुत शर्मिंदगी महसूस होती है। परिवार जनों की बहुत बदनामी होती है।' युवक ने आगे कहा, 'आज पापा नहीं है तो पूरे घर की जवाबदारी मेरी थी, और उसके ऐसा करने से मैं शर्मिंदा महसूस कर रहा हूं।'

रिपोर्ट विजेन्द्र यादव

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