बाल विवाह को विरोध पड़ा भारी, पैरेंट्स ने किशोरी को अपनाने से किया इनकार; CWC मां की कराएंगे काउंसिलिंग
एक किशोरी को उसके परिजन सिर्फ इसलिए अपनाने से इनकार कर रहे हैं क्योंकि उसने बाल विवाह करने से मना कर दिया। किशोरी ने चइल्ड हेल्पलाइन पर इसकी शिकायत की थी जिसकी वजह से शादी रुक गई।
एक किशोरी को बाल विवाह का विरोध करना भारी पड़ गया है। विरोध की वजह से उसके परिजन बेटी को अपनाने से इनकार कर रहे हैं। मामला झरिया के कोइरीबांध का है। किशोरी ने अपनी शादी का विरोध किया और इसकी शिकायत चाइल्डलाइन रांची से की थी। शिकायत पर बुधवार को बाल विवाह रुकवाया गया और लड़की को रेस्क्यू किया गया। धनबाद सीडब्ल्यूसी के अध्यक्ष उत्तम मुखर्जी ने बताया कि झरिया के कोइरीबांध की किशोरी का विवाह बुधवार को चंद्रपुरा के पहाड़ी मंदिर में होना था।
इसकी सूचना चाइल्ड वेलफेयर कमेटी को मिली। स्थानीय पुलिस व चाइल्ड लाइन की टीम को कोइरीबांध भेजा गया। जिस समय टीम पहुंची, उस समय शादी की तैयारी चल रही थी। तमाम नाते-रिश्तेदार पहुंचे थे। शादी के लिए किशोरी समेत परिवार के सदस्य चंद्रपुरा रवाना होने वाले थे। उम्र सत्यापन के बाद 16 वर्षीया किशोरी दुल्हन को रेस्क्यू कर बाल कल्याण समिति के समक्ष पेश किया गया। उसे सरायढेला स्थित बालिका गृह भेज दिया गया है। परिजन अब उसे अपनाने से इनकार कर रहे हैं।
पिता नहीं हुआ हाजिर, मां की होगी काउंसिलिंग
सीडब्ल्यूसी के अध्यक्ष ने बताया कि गुरुवार को किशारी के पिता को बाल कल्याण समिति के समक्ष उपस्थित होना था, लेकिन वह नहीं पहुंचा। मां बालिका गृह से किशोरी को घर ले जाने के लिए तैयार नहीं है। सीडब्ल्यूसी के सदस्य किशोरी के घर जाएंगे और मां की कांउसिलिंग की जाएगी। किशोरी नौवीं कक्षा की छात्रा है। पूछताछ में उसने बताया कि वह शादी नहीं करना चाहती थी और आगे पढ़ाई करना चाहती है, इसलिए उसने किसी अन्य माध्यम से रांची चाइल्डलाइन में शिकायत की थी। जिस लड़के से शादी होने वाली थी वह व्यस्क है और बोकारो में निजी कंपनी में नौकरी करता है। उसपर कार्रवाई के लिए बोकारो बाल कल्याण समिति को पत्राचार किया गया।