झारखंड : कोरोना संक्रमण की वजह से बिना सुरक्षा के नहीं खोले जाएं स्कूल
कोरोना संक्रमण की वजह से बंद पड़े स्कूल और शिक्षण संस्थान बिना सुरक्षा मानकों के पूरा किए नहीं खोले जाएंगे। इसके लिए राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग ने मुख्य सचिव और स्कूली शिक्षा और साक्षरता विभाग...
कोरोना संक्रमण की वजह से बंद पड़े स्कूल और शिक्षण संस्थान बिना सुरक्षा मानकों के पूरा किए नहीं खोले जाएंगे। इसके लिए राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग ने मुख्य सचिव और स्कूली शिक्षा और साक्षरता विभाग के सचिव को पत्र लिखकर निर्देश दिया है।
आयोग ने झारखंड सरकार से अनलॉक टू में स्कूल खोलने की तैयारियों की जानकारी भी मांगी है। साथ ही, अगले साल होने वाली मैट्रिक और इंटरमीडिएट की परीक्षा की तैयारी पर भी रिपोर्ट मांगी है।
राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग के चेयरमैन प्रियांक कांगो ने कहा है कि अनलॉक टू में राज्य सरकार की ओर से स्कूलों को खोलने की क्या तैयारियां की गई हैं। स्कूल खुलते हैं तो स्कूल खोलने से पहले और बाद की क्या-क्या व्यवस्था करने का प्रस्ताव है। स्कूलों को बिना सेनिटाइज किए नहीं खोलना है। शिक्षा बच्चों का अधिकार है और उनकी सुरक्षा हमारी जिम्मेदारी है। ऐसे में बच्चों के स्कूल आने पर सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करना है। बच्चे अनिवार्य रूप से मास्क पहने और नियमित अंतराल में हैंड वॉश का इस्तेमाल करें इसे सुनिश्चित करना है। इससे पहले स्कूलों में हर क्लास रूम कॉरिडोर, ग्राउंड आदि जगहों पर साफ-सफाई व सेनिटाइजेशन कराना आवश्यक होगा। आयोग ने अगले साल फरवरी-मार्च में होने वाले मैट्रिक और इंटरमीडिएट की परीक्षा की राज्य स्तर पर क्या तैयारियां की जा रही हैं उसके बारे में पूछा है।
उपलब्ध कराए जा रहे डिजिटल कंटेंट : बाल अधिकार संरक्षण आयोग के पत्र पर राज्य सरकार बच्चों को उपलब्ध कराए जा रहे हैं डिजिटल कंटेंट की जानकारी देने की तैयारी कर रही है। पहली से 12वीं के छात्र-छात्राओं को व्हाट्सएप के जरिए हर दिन डिजिटल कंटेंट उपलब्ध कराया जा रहा है। 45 लाख छात्र-छात्राओं में से यह कंटेंट करीब 11 लाख छात्र-छात्राओं को मिल पा रहा है। इसके अलावा दूरदर्शन के जरिए भी कंटेंट उपलब्ध कराए जा रहे हैं। साथ ही, बच्चों को किताबें उपलब्ध कराई जा रही हैं।