ऑपरेशन सिंदूर की खबर से गूंजे चौक-चौराहे, राष्ट्रभक्ति की लहर में डूबा सिमडेगा
सिमडेगा में ऑपरेशन सिंदूर की सफलता पर लोग गर्व से भरे हुए हैं। चाय की दुकानों, मंदिर-मस्जिदों और स्कूलों में चर्चा का माहौल है। विहिप ने महावीर चौक पर जश्न मनाया और भूतपूर्व सैनिकों ने इसे जरूरी जवाब...

सिमडेगा, प्रतिनिधि। भारत द्वारा पाकिस्तान में किए गए ऑपरेशन सिंदूर की गूंज बुधवार को सुबह से ही शहर के हर गली और चौक-चौराहों पर सुनाई दी। लोग चाय की दुकानों, बैठकों, मंदिर-मस्जिदों और स्कूलों के बाहर जमा होकर चर्चा में लीन नजर आए। हर किसी के चहरे में ऑपरेशन सिंदूर को लेकर गर्व और खुशी का माहौल देखा जा रहा है। हर कोई गर्व के साथ भारतीय सेना के कार्रवाई की सराहना करते हुए कहा कि आखिरकार भारत ने शहीदों का बदला ले लिया। इधर बस स्टेशन पहुंचे यात्रियों ने भी मोबाइल में न्यूज क्लिप दिखाकर जानकारी साझा करते हुए नजर आए।
युवा वर्ग में भी उत्साह देखा गया। युवाओं ने कहा कि ये नया भारत है, जो जवाब देना जानता है। इधर मुस्लिम इलाकों में भी ऑपरेशन सिंदूर की सराहना की गई। यहां के लोगों ने देश के साथ एकजुटता दिखाते हुए मस्जिद में अमन और देश की सुरक्षा के लिए दुआ की। इधर ऑपरेशन सिंदूर का नाम सुनते ही कई महिलाओं की आंखें नम हो गईं। महिला मनीषा अग्रवाल ने कहा कि सिंदूर का मतलब सिर्फ श्रृंगार नहीं, बलिदान और गर्व भी है। सेंट्रल अंजुमन के सदर मो ग्यास, हिंदु बिग्रेड, जिला ओलम्पिक एसोसिएशन के अध्यक्ष श्रीराम पूरी ने कहा कि सेना की कामयाबी पर हम सबको गर्व है। महावीर चौक में विहिप ने मनाया जश्न ऑपरेशन सिंदूर की सफलता पर विहिप ने भी जश्न मनाया। बुधवार की शाम महावीर चौक में विहिप जिलाध्यक्ष कौशल राज सिंह देव के नेतृत्व में जश्न मनाया गया। मौके पर बम पटाखे फोड़ते हुए एक दूसरे में मिठाई बांटी गई। वहीं विहिप जिलाध्यक्ष कौशल राज सिंह देव ने कहा कि सेना की विजय, भारत माता की विजय है। भारतीय सेना ने बता दिया कि आतंक के खिलाफ भारत अब चुप नहीं बैठेगा। भूतपूर्व सैनिकों ने ऑपरेशन को बताया जरूरी जवाब कचहरी परिसर स्थित भूतपूर्व सैनिकों के कार्यालय में सैन्य की कार्रवाई पर जश्न मनाया गया। मौके पर उपस्थित भूतपूर्व सैनिकों ने इस ऑपरेशन को जरूरी जवाब बताया। भूतपूर्व सैनिकों ने अपना जज्बा दिखाते हुए और अपने अनुभव को साझा करते हुए कहा कि आवश्यकता पड़ेगी तो वे भी एक बार फिर से भारत माता की सेवा में अपने प्राणों की आहुति देने को तैयार हैं। भूतपूर्व सैनिक संगठन के अध्यक्ष रिटायर्ड सूबेदार विष्णु महतो ने कहा कि आतंकवाद के खिलाफ युद्ध के लिए सरकार अगर उनको बुलाएगी तो वह सबसे पहले अपना सीना ताने खड़े दिखेंगे। उन्होंने कहा कि ये शुरुआत है, अभी कारवाई बाकी है। उन्होंने कहा कि जरूरत पड़ी तो वे सबसे आगे नजर आएंगे। वहीं शांति बाला केरकेट्टा ने कहा कि अगर सरकार आदेश करे तो वे भी आतंकवाद के खिलाफ इस युद्ध में अपना शौर्य दिखाएंगी। वहीं बीएसएफ रिटायर्ड जवान विश्राम बाड़ा ने 1971 की लड़ाई के रोमांच को साझा करते हुए कहा कि युद्ध के लिए तैयार हैं। रिटायर्ड सूबेदार जेर्मस केरकेट्टा ने कहा कि इस बार मौका मिलेगा तो आतंक के खिलाफ युद्ध में शामिल होंगे। इधर बीएसएफ और सीआरपीएफ के जवानों की छुट्टियां रद्द होने पर उनके परिजनों ने चिंता जताई। साथ ही गर्व भी कि उनके परिवार के सदस्य देश की रक्षा के लिए तत्पर हैं।
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